डॉ.सीमा अग्रवाल Tag: कविता 99 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 2 डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jul 2021 · 1 min read बीत चले अब दिन वे सुहाने..... बीत चले अब दिन वे सुहाने रही कहाँ वह बसंत बहार ! सुख के सारे स्रोत सूख गए सह ले मन पतझर की मार ! कोयल कूका करती कभी थी... Hindi · कविता 1 470 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jul 2021 · 1 min read क्यों न खिलखिलाएँ आप.... क्यों न खिलखिलाएँ आप, आपकी किस्मत बुलंद है । अपने यहाँ तो आजकल, खुशियों का आना बंद है । आपके हर भाव से, टपकता है रस श्रंगार का । अपने... Hindi · कविता 3 2 334 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jun 2021 · 1 min read निर्मम !क्यूँ ऐसे ठुकराया... निर्मम ! क्यूँ ऐसे ठुकराया... निर्मम ! क्यूँ ऐसे ठुकराया जरा भी मुझपे तरस न आया खड़ी रही मैं द्वार तुम्हारे निर्मल स्नेह- डोर सहारे थक गयी आस, दरस न... Hindi · कविता 2 304 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 25 Jun 2021 · 1 min read खींच मत अपनी ओर..... खींच मत अपनी ओर अतीत। साथ हमारा गया अब बीत। माना तू सुहाना बहुत है। पर अब मुझसे दूर बहुत है। आकर्षण में बँध मैं आती, दिखता तुझमें नूर बहुत... Hindi · कविता 4 2 517 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 17 Jun 2021 · 1 min read स्मृति-बिम्ब उभरे नयन में.... स्मृति-बिम्ब उभरे नयन में .... दुआ-बद्दुआ जिस-जिस से मिली फलती रही किस्मत भी टेढ़ी-मेढ़ी चाल अपनी चलती रही झुलसता रहा जीवन संघर्ष-अनल-आवर्त में प्रीत-वर्तिका भी मद्धम बीच रिदय जलती रही... Hindi · कविता 3 4 216 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 17 Jun 2021 · 1 min read सहमी सी है आज कलम.... सहमी-सी है आज कलम शब्द उदास हैं खोए-खोए अथाह गमों का सागर है आखिर कोई कितना रोए ! मानव ही जब मानव की पीड़ा समझ न पाता है शब्द अगर... Hindi · कविता 4 4 341 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 13 Jun 2021 · 1 min read दीदार चाँद का... दीदार चाँद का... रात जब ढलने लगी, दीदार हुआ चाँद का साँस जब थमने लगी, दीदार हुआ चाँद का यूँ तो गम पहले से ही, कम न थे जिंदगी में... Hindi · कविता 5 4 383 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 12 Jun 2021 · 1 min read हम बढ़ें शिखर की ओर.... मशाल ज्ञान की लिए हाथ में हम चलें प्रगति की ओर ! अथक गति चरणों में भरकर हम बढ़ें शिखर की ओर ! दें कुरूप को रूप सलोना उजला हो... Hindi · कविता 3 2 229 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 11 Jun 2021 · 1 min read किस्मत की निठुराई.... किस्मत की निठुराई... पलभर पाया साथ खुशी का, अब लम्बी तन्हाई। हँसता मुखड़ा नहीं सुहाया, किस्मत की निठुराई। बाहर शांत मगर मन - भीतर, चलती थी फेंटेसी। छाया बढ़कर मुझ... Hindi · कविता 3 2 555 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 9 Jun 2021 · 1 min read सोच रही गौरैया.... सोच रही गौरैया..... सींखचे पर खिड़की के आज आ बैठी एक गौरैया देख रही थी टुकुर-टुकुर खामोश थे भाभी-भैया चिंतामगन बैठे थे दोनों बीच में थी एक गज की दूरी... Hindi · कविता 3 239 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 9 Jun 2021 · 1 min read कितना सच अनजाना तुमसे.... कितना सच अनजाना तुमसे, कितना कुछ अनकहा। क्या करना कुछ कहकर अब, रहने दो जो नहीं कहा। कौन सुखी है इस दुनिया में, जो दर्द मैं अपना रोऊँ। बना लूँ... Hindi · कविता 3 311 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 8 Jun 2021 · 1 min read कृपाण घनाक्षरी... कृपाण घनाक्षरी (सुन ले श्याम पुकार)... करूँ श्याम मनुहार, सुन ले पीन पुकार, चली आई तेरे द्वार, कर दे रे बेड़ा पार। तू ही जीवन आधार, तुझसे ही ये संसार... Hindi · कविता 1 251 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 8 Jun 2021 · 1 min read कहमुकरियाँ कहमुकरियाँ... आगबबूला सदा वह रहता पारा दिन भर चढ़ा ही रहता गरम मिजाज हठीला ठेठ क्या सखि साजन ! ना सखि जेठ सही-गलत क्या, वही सिखाए मंजिल तक मुझको पहुँचाए... Hindi · कविता 1 171 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 8 Jun 2021 · 1 min read घनाक्षरी ( श्रंगार गीत ) घनाक्षरी ( श्रंगार गीत )... जीवन हुआ है भारी,खो रहीं खुशियाँ सारी, विरह-विदग्धा नारी, प्रिय को पुकारती। कहाँ गए तुम नाथ, क्यों छोड़ गए यूँ साथ, झुकाऊँ कहाँ ये माथ,... Hindi · कविता 2 2 424 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jun 2021 · 1 min read करुणा की बरसात...(दोहे) करुणा की बरसात... सावन आया देखकर, हर्षित दादुर मोर। बदली में चंदा छुपा, ढूँढे कहाँ चकोर।।१।। अबके सावन करो प्रभु, करुणा की बरसात। शाख ना टूटे कोई, घर-घर हुलसें पात।।२।।... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 5 8 570 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 31 May 2021 · 1 min read सावन बरसे... अँखियाँ बरसें सावन बरसे फिर भी मनवा प्यासा तरसे गुजर न होती इक पल जिस बिन उसको देखे बीते अरसे याद सताए रहा न जाए बिंध गया मन मनसिज शर... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 2 2 342 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 31 May 2021 · 1 min read कैसी झमाझम सारी रात हुई.... कैसी झमाझम सारी रात हुई... बिन मौसम ही बरसात हुई अँखियों से सारी रात हुई मन-किसान झूला फाँसी पर सुख की खेती बरबाद हुई ! पसरा हर सूं गहन अँधेरा... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 4 8 490 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 31 May 2021 · 1 min read जब आया बरसात का मौसम.... जब आया बरसात का मौसम... जब आया बरसात का मौसम घिर आया जज्ब़ात का मौसम उँगली अधर पर धरता आया मन से मन की बात का मौसम खड़ा द्वार ज्यों... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 2 2 528 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 16 Feb 2021 · 1 min read ये कैसा मधुमास आया... ये कैसा मधुमास आया... बुझे-बुझे से दिन मन उचाट उन्मन न कोई उमंग न तरंग ये कैसा मधुमास आया ! सूझे न कोई काज लुटे सकल सुख-साज स्वप्न हुए सब... Hindi · कविता 3 277 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 16 Feb 2021 · 1 min read ज्ञान की देवी माँ शारदे के श्री चरणों में.... अज्ञता हरो माँ शारदे... वागेश्वरी ज्ञानेश्वरी रागेश्वरी माँ शारदे बुद्धि विमल मन शुद्ध करो संशय हरो माँ शारदे स्वरात्मिका भावात्मिका शब्दात्मिका माँ शारदे जग-मन अमित उल्लास भरो कृपा करो माँ... Hindi · कविता 2 227 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 14 Feb 2021 · 1 min read इश्क आसान नहीं होता है.... इश्क आसान नहीं होता है ------ मन-सीपी याद सँजोता है कभी हँसता कभी रोता है सुख चैन खुदी सब खोता है इश्क आसान नहीं होता है उसकी यादें उसकी बातें... Hindi · कविता 6 4 387 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 9 Feb 2021 · 1 min read कैसे चाँद जमीं पर लाऊँ.... कैसे चाँद जमीं पर लाऊँ... बहुत सुनी मन मैंने तेरी अब न एक चलेगी तेरी किस्मत में जो लिखा न तेरी वो सुख बता कहाँ से लाऊँ बात-बात पर मचल... Hindi · कविता 1 285 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 5 Feb 2021 · 1 min read आखर-आखर नाम पे जिसके... आखर-आखर नाम पे जिसके गीत मैं नित रचती जाती हूँ क्या कोई पल ऐसा होता होगा सुधि उसको मेरी आती होगी क्या सरल अब भी वह पहले जैसा या बन... Hindi · कविता 6 4 286 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 3 Feb 2021 · 1 min read #कुछ खत मौहब्बत के मन कर रहा आज यह मेरा... मन कर रहा आज ये मेरा ख़त एक तुम्हारे नाम लिखूँ बिन तुम्हारे कट रहीं कैसे मेरी सुबहें औ शाम लिखूँ आए हर पल... "कुछ खत मोहब्बत के" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 6 65 400 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Feb 2021 · 1 min read अधर मौन थे, मौन मुखर था... अधर मौन थे, मौन मुखर था... कितना सुखद हसीं अवसर था। अधर मौन थे, मौन मुखर था। पूर्ण चंद्र था, उगा गगन में। राका प्रमुदित, मन ही मन में। टुकुर-टुकुर... Hindi · कविता 14 16 634 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 19 Jan 2021 · 1 min read छीज रही है धीरे-धीरे... छीज रही है धीरे-धीरे मेरी साँसों की डोर अधरों पर है हास भीग रही नैनों की कोर बाहर पसरा सन्नाटा है भीतर कितना शोर तकूँ तुझे मैं ऐसे चंदा को... Hindi · कविता 3 369 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 10 Jan 2021 · 1 min read विश्व हिंदी दिवस पर विशेष... हिंदी दिवस पर विशेष ऐसा पर्व मनाए हिंदी --- ----------------------------- भारती के भाल सजे, सम्मान जग में पाए हिंदी स्वर्णिम इतिहास अपना, फिर से दोहराए हिंदी मात्र भाषा ही नहीं... Hindi · कविता 2 2 227 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 7 Jan 2021 · 1 min read बनाओ स्वयं अपनी पहचान... बनाओ स्वयं अपनी पहचान --- जग में जीना नहीं आसान आते पग-पग पर इम्तहान बुद्धि-ज्ञान में एक अकेला सकल गोचर जग में इंसान चूमेगी बुलंदी कदम तुम्हारे करते रहो जो... Hindi · कविता 2 2 225 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Dec 2020 · 1 min read बसंत का आगम क्या कहिए.... बसंत का आगम क्या कहिए.... बसंत का आगम क्या कहिए दिन चमचम रात उजाली है नत यौवन-भार से आज धरा हुई मद में गजब मतवाली है घाम ने अंगों को... Hindi · कविता 3 4 518 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Dec 2020 · 1 min read तुम मलयज शीतल चंदन हो...। तुम मलयज शीतल चंदन हो ... जीवन मेरा तपती दुपहरी तुम मलयज शीतल चंदन हो ! तुमसे मिलकर जाना यह मैंने तुम जीवन का आकर्षन हो ! शब्दों में तुम्हें... Hindi · कविता 3 2 313 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 26 Dec 2020 · 1 min read मन कर रहा आज यह मेरा... मन कर रहा आज ये मेरा...... मन कर रहा आज ये मेरा ख़त एक तुम्हारे नाम लिखूँ बिन तुम्हारे कट रहीं कैसे मेरी सुबहें औ शाम लिखूँ आए हर पल... Hindi · कविता 3 5 271 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 26 Dec 2020 · 2 min read वे दिन भी क्या सुंदर दिन थे... वे दिन भी क्या सुंदर दिन थे बाँहों में जब चाँद की हम चाँदनी ओढ़कर सोते थे पंख पसारे कल्पनाओं के स्वप्न लोक में विचरा करते दूर से ही छवि... Hindi · कविता 2 2 282 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 25 Dec 2020 · 1 min read महापुरुष अटल बिहारी वाजपेयी जी की जयंती पर..... एक नाम राजनीति में चमका ऐसे जैसे ध्रुवतारा विरोधी पक्ष ने भी सहज भाव से जिसे स्वीकारा देशद्रोहियों के प्रति सदा ही विरोध जताया तीखा राजनीति के दलदल में खिला... Hindi · कविता 3 5 322 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 22 Dec 2020 · 1 min read बसा नयनों में साजन हो.... बसा नयनों में साजन हो.... बसा नयनों में साजन हो और साजन का आँगन हो संग साजन के हिलमिल प्यार से छाई छाजन हो माथे बिंदिया कर में कंगन पैरों... Hindi · कविता 2 2 477 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 22 Dec 2020 · 1 min read रहे चिर नूतन नेह हमारा... रहे चिर नूतन नेह हमारा... रात निखर उठती है जैसे, चंदा को निज अंक लगाकर। मैं भी निखर उठूँगी वैसे ही, साथ तुम्हारा अद्भुत पाकर। नहला चाँदनी में अपनी तुम,... Hindi · कविता 5 6 348 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 16 Dec 2020 · 1 min read जान है तो जहान है.... ("कोरोना" विषय पर काव्य प्रतियोगिता हेतु) जान है तो जहान है.... न सँभले हैं हालात अभी और कुछ दिन घर में रहो ख्याल रखो अपना-अपनों का न बीच शहर में रहो संयम से रह किसी तरह... "कोरोना" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 11 57 752 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 25 Nov 2020 · 1 min read जागो-उठो हे कमलाकांत.... जागो-उठो हे, कमला-कांत .... पाप शमित हों, ग्रह हों शांत जागो-उठो हे, कमला-कांत ! आषाढ़ शुक्ल- एकादशी चले चातुर्मास शयन को दुख-भँवर में घिर गये हम दर्शन दुर्लभ हुए नयन... Hindi · कविता 2 358 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 25 Oct 2018 · 1 min read कातिक पूनम की चांदनी... कातिक पूनम की चाँदनी छिटकी मदिर उन्मादिनी ढुलका रही अमृत-कलश हुई रात नशीली कासनी जुन्हाई न्हाई गुराई निशा कोमल कमनीय कामिनी देख रूप मंद-मंद मुस्काए हो आत्मविमुग्धा यामिनी पसरी अलसाई... Hindi · कविता 2 255 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 10 Apr 2018 · 1 min read आरक्षण... आरक्षण के नाम पर, प्रतिभा का हो रहा हनन ! क्या यह अन्याय नहीं है, मन में करो मनन !! मन में करो मनन, ए ! कानून बनाने वालों !... Hindi · कविता 1 305 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 7 Apr 2018 · 1 min read हुईं आज से हम-तुम समधन.... पाया हम दोनों ने सम धन हुईं आज से हम-तुम समधन मैंने तुमसे और तुमने मुझ से पाया न रत्तीभर भी कम धन 'सभ्या' मिसाल है सभ्यता की मूरत ये... Hindi · कविता 2 702 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 6 Apr 2018 · 1 min read तब दर्द तो दिल को होता है .... झूठ के जब पाँव पसरते सच एक कोने में रोता है । गम खाने वाला, रात को आँसू पीकर जब सोता है । तब दर्द तो दिल को होता है... Hindi · कविता 1 246 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jul 2017 · 1 min read आई पावस ऋतु मनभावन आई पावस ऋतु मनभावन घनन-घनन-घन बरसे सावन हुलस रहा सृष्टि का कन-कन अद्भुत ये कुदरत का आँगन सूखतीं नदियाँ, ताल, सरोवर सूखी हरियाली, सूखे उपवन इतना बरसो आज तुम बदरा... Hindi · कविता 1 359 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 24 Nov 2016 · 1 min read कहाँ गए मेरे दिन वे सुनहरे.... कहाँ गए मेरे दिन वे सुनहरे ! संबंध सुखों से जब थे गहरे ! स्वच्छंद गोद में प्रकृति की, होती थीं अनगिन क्रीडाएँ ! सुख से पटी दिल की जमीं... Hindi · कविता 2 569 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 24 Nov 2016 · 1 min read तुम हो चाँद गगन के..... मनमोहक ये छवि तुम्हारी इस मन में बसा ली है ! पल पल जपता नाम तुम्हारा दिल बन गया पुजारी है ! बेवफा ना हमें तुम मानो हमें बस लगन... Hindi · कविता 1 390 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 24 Nov 2016 · 1 min read अपनी जमीं पर..... आसमां-सा ऊँचा उठकर झिलमिल सपनों में खो जाऊँ ! अपनों की ही आर्त पुकार एक बधिर वत् सुन न पाऊँ ! सागर - सी गहराई पाकर अपने सुख में डूबूँ... Hindi · कविता 1 182 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 24 Nov 2016 · 1 min read तेरी शुभ्र धवल मुसकान मेरे गम के तम पर तेरी, शुभ्र धवल मुस्कान ! चाँदनी बिखर जाती है, ज्यों अँधेरी रात में ! स्वप्न सुनहरे आ ह्रदय में, गम के बादल देते चीर !... Hindi · कविता 2 348 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 24 Nov 2016 · 1 min read तेरी- मेरी एक कहानी तेरी-मेरी एक कहानी --- विरह की देखो तोप दगी है दिल में बादल के चोट लगी है ! नेत्रमय हो गया तन सारा अश्कों की कैसी झड़ी लगी है !... Hindi · कविता 2 2 523 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 23 Nov 2016 · 1 min read मन मेरे तू सावन सा बन मन मेरे तू सावन-सा बन ! मृदुल मधुर भावों से अपने कर दे जग को पावन-पावन मन मेरे तू सावन-सा बन ! मिट जाए चाहे तेरी हस्ती हरी-भरी हो जग... Hindi · कविता 1 456 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 10 Nov 2016 · 1 min read 500 और 1000 के नोट बंद होने पर - कैसी विवशता आई, खुल गयी भरी तिजोरी पाई- पाई निकल गयी जोड़ी जो चोरी- चोरी जोड़ी जो चोरी-चोरी, खुल गयी उसकी पोल मोदी जी क्या समझेंगे, गाढ़ी कमाई का मोल... Hindi · कविता 1 285 Share Previous Page 2