Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
4 May 2024 · 1 min read

“सावित्री बाई फुले”

“सावित्री बाई फुले”
भारत की प्रथम महिला शिक्षिका
सावित्रीबाई फुले नाम,
नारी शिक्षा और अधिकारों के लिए
किए अनुकरणीय काम।
विरोधी उन पर गोबर फेंक देते
कभी बरसाते पत्थर भी,
लेकिन पथ से विचलित ना हुई
सारे जुल्म सहकर भी।

3 Likes · 3 Comments · 223 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Dr. Kishan tandon kranti
View all

You may also like these posts

चंद शेर
चंद शेर
Shashi Mahajan
किसी को किसी से फ़र्क नहीं पड़ता है
किसी को किसी से फ़र्क नहीं पड़ता है
सोनम पुनीत दुबे "सौम्या"
*सहकारी युग हिंदी साप्ताहिक के प्रारंभिक पंद्रह वर्ष*
*सहकारी युग हिंदी साप्ताहिक के प्रारंभिक पंद्रह वर्ष*
Ravi Prakash
पुरवाई
पुरवाई
Seema Garg
बारिश मे प्रेम ❣️🌹
बारिश मे प्रेम ❣️🌹
Swara Kumari arya
पलकों में ही रह गए,
पलकों में ही रह गए,
sushil sarna
"अवसाद का रंग"
Dr. Kishan tandon kranti
औपचारिक सच
औपचारिक सच
Rashmi Sanjay
यारो हम तो आज भी
यारो हम तो आज भी
Sunil Maheshwari
अपना मान जो खोता है
अपना मान जो खोता है
jyoti jwala
याद तुम्हारी
याद तुम्हारी
इंजी. संजय श्रीवास्तव
कहानी
कहानी
Rajender Kumar Miraaj
अनगणित भाव है तुम में , तुम ही हर भाव में बसी हो ,
अनगणित भाव है तुम में , तुम ही हर भाव में बसी हो ,
पूर्वार्थ देव
रिश्ते के सफर जिस व्यवहार, नियत और सीरत रखोगे मुझसे
रिश्ते के सफर जिस व्यवहार, नियत और सीरत रखोगे मुझसे
पूर्वार्थ
জয় শঙ্করের জয়
জয় শঙ্করের জয়
Arghyadeep Chakraborty
दीप
दीप
Karuna Bhalla
..
..
*प्रणय प्रभात*
Mr. Abu jahangir
Mr. Abu jahangir
Abu Jahangir official
पृथ्वी की दरारें
पृथ्वी की दरारें
Santosh Shrivastava
हर प्रेम कहानी का यही अंत होता है,
हर प्रेम कहानी का यही अंत होता है,
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
कोई भी
कोई भी
Dr fauzia Naseem shad
वज़्न -- 2122 2122 212 अर्कान - फ़ाइलातुन फ़ाइलातुन फ़ाइलुन बह्र का नाम - बह्रे रमल मुसद्दस महज़ूफ़
वज़्न -- 2122 2122 212 अर्कान - फ़ाइलातुन फ़ाइलातुन फ़ाइलुन बह्र का नाम - बह्रे रमल मुसद्दस महज़ूफ़
Neelam Sharma
जो हैं रूठे मैं उनको मनाती चली
जो हैं रूठे मैं उनको मनाती चली
शालिनी राय 'डिम्पल'✍️
Preshan zindagi
Preshan zindagi
रुचि शर्मा
मेरी नजरो में बसी हो तुम काजल की तरह।
मेरी नजरो में बसी हो तुम काजल की तरह।
Rj Anand Prajapati
जीवन का दीप
जीवन का दीप
कवि अनिल कुमार पँचोली
ख़ुद पे गुजरी तो मेरे नसीहतगार,
ख़ुद पे गुजरी तो मेरे नसीहतगार,
ओसमणी साहू 'ओश'
ऑनलाइन शॉपिंग
ऑनलाइन शॉपिंग
Shekhar Chandra Mitra
जरा सी बात को लेकर कभी नाराज मत होना
जरा सी बात को लेकर कभी नाराज मत होना
कृष्णकांत गुर्जर
आनंद
आनंद
Rambali Mishra
Loading...