कवि, लेखक, विचारक, समीक्षक, सम्पादक एवं प्रशासनिक अधिकारी : साहित्य वाचस्पति-डॉ. किशन टण्डन क्रान्ति का...
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कवि, लेखक, विचारक, समीक्षक, सम्पादक एवं प्रशासनिक अधिकारी : साहित्य वाचस्पति-डॉ. किशन टण्डन क्रान्ति का जन्मस्थान- ग्राम-मस्तूरी, जिला-बिलासपुर, छत्तीसगढ़ (भारत) है। राष्ट्रीय-अन्तर्राष्ट्रीय, राज्यीय एवं अन्तर्राज्यीय सहित कुल 22 सम्मान एवं अलंकरण प्राप्त डॉ. किशन टण्डन क्रान्ति जी के अब तक 15 काव्य-संग्रह (जिसमें 2 छत्तीसगढ़ी कविता-संग्रह शामिल हैं), 2 उपन्यास, 9 कहानी-संग्रह (जिसमें 2 छत्तीसगढ़ी कहानी-संग्रह शामिल है), 5 लघुकथा-संग्रह, 2 हास्यव्यंग्य-संग्रह, 1 ग़ज़ल-संग्रह एवं 2 बाल कविता-संग्रह इसप्रकार कुल 36 पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं। अभी आपकी 7 किताबें प्रकाशनाधीन हैं। इसके अलावा 7 साझा काव्य संकलन भी प्रकाशित हो चुके हैं, इनमें से 5 आपके सम्पादन में प्रकाशित साझा संकलन हैं।आपकी लेखनी के केन्द्र बिन्दु गाँव, गरीब, किसान, मजदूर, दस्तकार एवं विविध सामाजिक-आर्थिक समस्याएँ हैं। राष्ट्रीय पटल पर आपकी रचनाओं को बहुत सराहा जा रहा है। आपके द्वारा वेश्यावृत्ति के सन्दर्भ में सेक्स वर्करों की दर्द में डूबी जिन्दगी को लेकर रचित ‘अदा’ उपन्यास विश्व में सर्वाधिक पढ़े जाने वाले उपन्यासों में से एक है। हाल ही में आपको असाधारण साहित्यसेवा के लिए डॉ. नेल्सन मंडेला ग्लोबल ब्रिलियंस अवार्ड और मैजिक बुक ऑफ रिकॉर्ड द्वारा ‘डॉक्टरेट’ की मानद उपाधि प्रदान की गई है। इसके अलावा जैकी बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड द्वारा ‘विश्व के सर्वाधिक होनहार लेखक’ के रूप में नाम दर्ज कर टैलेंट आइकॉन-2022 प्रदान किये गये हैं। हरफनमौला साहित्य लेखन हेतु आपको 2022-23 के लिए देश का प्रतिष्ठित सम्मान- ‘भारत भूषण सम्मान’ प्रदान किया गया है। ग्लोबल ह्यूमन राइट्स फाउण्डेशन द्वारा डॉ. किशन टण्डन क्रान्ति को भारत के 100 महान व्यक्तित्व में शामिल करके राष्ट्रीय महात्मा गांधी रत्न अवार्ड प्रदान करने हेतु चयन किया गया है। आप वर्तमान में छत्तीसगढ़ शासन से पंजीकृत ‘छत्तीसगढ़ कलमकार मंच’ (लाभ निरपेक्ष समिति) के संस्थापक एवं प्रदेशाध्यक्ष हैं।
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