Posts Tag: गीतिका 403 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 2 Next Godambari Negi 26 Feb 2024 · 1 min read प्रभात वर्णन देख सूरज लालिमा को, रात उठकर के चली। अब यहाँ क्या काम मेरा , सोचकर आँखें मली।। व्योम में फैला उजाला, खिल रही है हर दिशा। आँख फाड़े देखती है,... Hindi · गीतिका 1 110 Share surenderpal vaidya 26 Feb 2024 · 1 min read * किसे बताएं * ** गीतिका ** ~~ किसे बताएं मन की बातें, कौन सुनेगा यार। इस जीवन ने हर पल देखो, बहुत सहे हैं खार। सहन करेंगे स्वयं सभी कुछ, आगे भी चुपचाप।... Hindi · गीतिका · सरसी छंद 70 Share surenderpal vaidya 21 Feb 2024 · 1 min read * मुस्कुराना * ** गीतिका ** ~~ है जरूरी जिन्दगी में मुस्कुराना। हो सके तो अश्रु खुशियों के बहाना। कष्ट का अवसाद का आता समय जब। है कठिन तब आंसुओं को रोक पाना।... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · सार्द्धमनोरम 1 1 57 Share surenderpal vaidya 19 Feb 2024 · 1 min read * सुन्दर फूल * ** गीतिका ** ~~ सुन्दर फूल जगा देते हैं, मन में प्यार। लेकिन अल्प समय इनका है, जीवन सार। खिला खिला जीवन लाता प्रिय, मन में भाव। किंतु शूल हेतु... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · निश्चल छंद 3 1 60 Share surenderpal vaidya 19 Feb 2024 · 1 min read * बातें मन की * ** गीतिका ** ~~ बातें मन की कह डालो तुम, मन से आज। नहीं रहेगा देखो छुपकर, कोई राज। प्यार भरे शब्दों में होगी, जब फरियाद। बिना बताए कर डालेंगे,... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · निश्चल छंद 2 1 54 Share surenderpal vaidya 18 Feb 2024 · 1 min read * हिन्दी को ही * ** गीतिका ** ~~ हिन्दी को ही गले लगाएं, नित यह ध्यान धरें हम। अंग्रेजी का भूत भगाएं, यह शुभ कर्म करें हम। आजाद देश प्रिय भारत की, महिमा का... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · सार छंद · हिन्दी 2 1 83 Share राहुल रायकवार जज़्बाती 18 Feb 2024 · 1 min read मुझे छूकर मौत करीब से गुजरी है... आंसुओं से कोई तस्वीर पिघली है, हाल ही में मुझे छूकर मौत गुजरी है ।। यहां रास्तों पर मुझे ठोकर मिली है, आज भी होंठो की हंसी बिखरी है ।।... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · ग़ज़ल · गीतिका · पुस्तक समीक्षा · संस्मरण 2 67 Share manjula chauhan 17 Feb 2024 · 1 min read तपकर तपकर लोहा बन गए जब, तो सोने मे ढलने की चाहत नहीं। जीवन संघर्ष बना रहे तो ही सही है, मधुबन मे रहने की अब चाहत नहीं। Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 1 35 Share surenderpal vaidya 17 Feb 2024 · 1 min read * जिन्दगी की राह * ** गीतिका ** ~~ जिन्दगी की राह में होती मधुर अनुभूतियाँ। खिलखिलाते स्नेह की चढ़ते सहज हम सीढियाँ। चुन लिया करते सहज ही लोग अक्सर देखिए। जब कभी दिखती उन्हें... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · छंद गीतिका 1 1 62 Share surenderpal vaidya 16 Feb 2024 · 1 min read * मुस्कुराते नहीं * ** गीतिका ** ~~ आप क्यों मुस्कुराते नहीं हैं। स्नेह मन में जगाते नहीं हैं। छोड़ कर देखिए उलझनों को। आप हिम्मत जुटाते नहीं हैं। आस का एक दीपक जलाकर।... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · बाला छंद 1 1 60 Share surenderpal vaidya 15 Feb 2024 · 1 min read * सामने आ गये * ** गीतिका ** ~~ सामने आ गये मुस्कुराते हुए। जल उठे हैं ह्रदय में अनेकों दिए। अब हमें यह पता चल गया क्या कहें। हम निशा में भटकते हुए क्यों... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · वाचिक स्त्रग्विणी 1 1 80 Share Bodhisatva kastooriya 15 Feb 2024 · 1 min read अनुराग मुझे तुमसे अनुराग कितना है? पुष्प में मीठा पराग जितना है!! भ्रमर स्वादन चाहे कितना करे, पुनर्निर्माण का सम्भाग उतना है!! मुझे तुमसे... माँ की ममता दूध से बहती है... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 75 Share surenderpal vaidya 15 Feb 2024 · 1 min read * हो जाओ तैयार * ** गीतिका ** ~~ हो जाओ तैयार, कठिन पथ पर चलना है। मत करना आराम, अहर्निश जब बढ़ना है। ऊंचे शिखर विशाल, चुनौती देंगे हमको। कर लेंगे सब पार, जोश... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · रोला छंद 1 1 42 Share surenderpal vaidya 15 Feb 2024 · 1 min read * भावना स्नेह की * ** गीतिका ** ~~ भावना स्नेह की क्यों छिपाते रहे। खूबसूरत अधर मुस्कुराते रहे। देखकर डालियों पर खिले फूल हैं। गीत हम स्नेह से गुनगुनाते रहे। मधुर खूब ऋतुराज का... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · वाचिक स्त्रग्विणी 1 77 Share surenderpal vaidya 15 Feb 2024 · 1 min read * नहीं पिघलते * ** गीतिका ** ~~ नहीं पिघलते हैं कभी, पत्थर दिल इन्सान। मुखड़े पर आती नहीं, स्नेह भरी मुस्कान। प्रस्तर प्रतिमा भी सहज, मन को लेती जीत। उससे बढ़ जाती सदा,... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · दोहा गीतिका 1 1 49 Share डी. के. निवातिया 10 Feb 2024 · 2 min read जिस दिन से बिटिया रानी - डी के निवातिया जिस दिन से बिटिया रानी, मेरे आँगन छोड़कर चली गयी, मिलन को तरस रहे है नैना, क्यों बाबुल की गली भूल गयी !! निर्झर बरसते है मेरे नैना, जैसे सागर... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · गीत · गीतिका 1 61 Share डी. के. निवातिया 10 Feb 2024 · 1 min read मिला जो इक दफा वो हर दफा मिलता नहीं यारों - डी के निवातिया विधा: ग़ज़ल बह्र का नाम: बहरे हज़ज मुसम्मन सालिम अरकान: मुफाईलुन मुफाईलुन मुफाईलुन मुफाईलुन मात्राएँ: 1222 1222 1222 १२२२ ***** मिला जो इक दफा वो हर दफा मिलता नहीं यारों,... Hindi · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका · गीत · गीतिका · शेर 58 Share surenderpal vaidya 5 Feb 2024 · 1 min read * राष्ट्रभाषा हिन्दी * ** हिन्दी का सम्मान ** शासन के सब कार्यों में जब हिन्दी का सम्मान न होगा। तब तक दुनियां में भारत का सबसे ऊंचा स्थान न होगा। अपनी भाषा बिन... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · गीतिका · राष्ट्रभाषा हिन्दी 1 84 Share Aman Sinha 5 Feb 2024 · 2 min read जीवन साथी जीवन साथी है वो मेरी, साथ हमेशा रहती है सुख हो या हो दुःख के दिन, पास सदा वो रहती है साथ फेरों का बंधन बांधे, घर मेरे जब आई... Hindi · कविता · गीत · गीतिका · मुक्तक 76 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Feb 2024 · 1 min read साजन तुम आ जाना... सावन के आने से पहले, साजन तुम आ जाना। बदरा घिर आने से पहले, साजन तुम आ जाना। जो ना तुम आए तो प्रियतम, आँसू आ जाएँगे। कजरा बह जाने... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 1 84 Share Godambari Negi 3 Feb 2024 · 1 min read 'मुट्ठीभर रेत' चमकता चाँदी सा बालू का खेत। भर लाऊँ मैं बस मुट्ठीभर रेत।। नदिया का सुंदर सा किनारा। प्रकृति का अद्भुत इक नजारा।। मचलता है मन होकर बैचेन। ये ईश्वर की... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 33 Share Godambari Negi 1 Feb 2024 · 1 min read 'प्रभात वर्णन' देख सूरज लालिमा को, रात उठकर के चली। अब यहाँ क्या काम मेरा , सोचकर आँखें मली।। व्योम में फैला उजाला, खिल रही है हर दिशा। आँख फाड़े देखती है,... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 48 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jan 2024 · 1 min read इस तरह क्या दिन फिरेंगे.... जो छलेंगे, वो फलेंगे। इस तरह क्या दिन फिरेंगे ? डग न सीधे भर रहे जो, पर लगा नभ में उड़ेंगे। आज हम उस राह पर हैं, जिस राह बस... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 1 101 Share विक्रम कुमार 30 Jan 2024 · 1 min read बिहार अब बिहार में राजनीति का रहा न कोई जोड़ फिर से भागे चाचाजी एक बार भतीजा छोड़ बड़ी -बडी़ बातें करते थे बड़े - बड़े थे दावे कुर्सी के लालच... Hindi · कविता · ग़ज़ल/गीतिका · गीतिका 99 Share Dr.Pratibha Prakash 29 Jan 2024 · 1 min read अनंत का आलिंगन न जाने किसकी आँखों से बरस रहा सावन बिन सावन बूंदे अति शीतल हैं फिर भी छलनी सीना होता क्यों साजन न जाने किसकी आँखों से.................... झर-झर झर-झर बरसे नैना... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · गीतिका 9 243 Share Dr.Pratibha Prakash 29 Jan 2024 · 1 min read इक तेरे सिवा तुमसे हटकर सोचूं भी क्या, इक तेरे सिवा जगत रखा क्या पंचतत्व में तुम ही समाये , तुमसे सुन्दर जगत में और क्या ......... ये तारे, नज़ारे सब तुम्हारे इशारे,सागर... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · गीतिका 10 2 161 Share Dr.Pratibha Prakash 29 Jan 2024 · 1 min read मेरे कलाधर श्यामल शस्य भू नीला अम्बर , शोभित मध्य मेरे कलाधर शास्वत सत्य डारि बाघम्बर, गुंजित बम-बम और हर-हर स्वर शोभित मध्य मेरे कलाधर ................ अजानुबाहु आशीष को देते, मन निर्मल... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · गीतिका 9 147 Share Dr.Pratibha Prakash 28 Jan 2024 · 1 min read मिलन की वेला सायंकाल फिर मिलन की वेला, तेरी राह निहारेगी मैं तोडूंगा धीर स्वयं का, तू वेसुध होकर आएगी ............ लाज से भरे तेरे नैनन में, प्रेम रिक्त रह जाएगा अपने हाथों... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 9 167 Share surenderpal vaidya 27 Jan 2024 · 1 min read * मिल बढ़ो आगे * ** आगे निरन्तर ** ~~ देश हित की जिन्दगी को सब जियो आगे निरन्तर, मात कर सब संकटों को मिल बढ़ो आगे निरन्तर। हाथ में थामें तिरंगा नित बढ़ें आगे... Poetry Writing Challenge-2 · आह्वान · गीतिका 1 1 56 Share surenderpal vaidya 27 Jan 2024 · 1 min read * सुन्दर झुरमुट बांस के * * गीतिका * ~~ हर मौसम को सह जाते हैं सुन्दर झुरमुट बांस के हर धरती पर उग आते हैं सुन्दर झुरमुट बांस के मैदानी भागों से लेकर पर्वत वाली... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · बांस 1 1 62 Share surenderpal vaidya 23 Jan 2024 · 1 min read * आओ ध्यान करें * ** गीतिका * ~~ दशरथ नंदन राम का, आओ ध्यान करें। भावपूर्ण शुभ भक्ति का, हम रसपान करें। हर्षित होकर देखते, प्रभु निज धाम स्वयं। दिव्य रूप छवि भव्य है,... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका · जय श्रीराम 1 1 97 Share Dr.Pratibha Prakash 23 Jan 2024 · 1 min read तुम सत्य हो तुम सत्य हो तुम नित्य हो, शाश्वत तुम ही शिव अर्थ हो तुमसे ही मेरे अर्थ सारे, बिन तेरे सबकुछ व्यर्थ हो तुम सत्य हो तुम नित्य हो,शाश्वत तुम ही... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · गीतिका 13 1 588 Share surenderpal vaidya 22 Jan 2024 · 1 min read * आए राम हैं * राष्ट्रीय पर्व महोत्सव ** जय श्रीराम ** ~~~~~~~~~~~~~~~~~~~ ** गीतिका ** ~~ धर्म का जय रथ लिए निज धाम आए राम हैं। विश्व नभ पर आज हर्षित खूब छाए राम... Hindi · गीतिका · गीतिका छंद · राम हैं 1 1 80 Share surenderpal vaidya 21 Jan 2024 · 1 min read * प्रभु राम के * ** गीतिका ** ~~ उठा राम का जन के मन में, भक्तिभाव शुभ ज्वार। प्रभु राम के हृदय में जागा, भक्तों के हित प्यार। राम आ गये अवधपुरी में, नैसर्गिक... Hindi · गीतिका · श्रीराम · सरसी छंद 1 1 105 Share surenderpal vaidya 15 Jan 2024 · 1 min read * पहचान की * ** गीतिका ** ~~ है जरूरत नहीं आज पहचान की। देख लो रौशनी खूब दिनमान की। फूल खिलने लगे मुस्कुराने लगे। खूब कीमत रही आज मुस्कान की। मुश्किलें जब कभी... Hindi · २१२×४ · गीतिका · वाचिक स्त्रग्विणी 1 1 86 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 15 Jan 2024 · 1 min read क्या यही संसार होगा... चरम पर व्यभिचार होगा। बढ़ रहा अँधियार होगा। सात्विकता क्षीण होगी, तमस का विस्तार होगा। गालियों से बात होगी, अस्मिता पर वार होगा। ध्वस्त होंगीं सभ्यताएँ, मूल्य मन पर भार... Hindi · गीतिका · सजल 2 83 Share डाॅ. बिपिन पाण्डेय 11 Jan 2024 · 1 min read गीतिका काव्य को अनुभूति का अध्याय लिखते रह गए। हर दुखी की पीर का व्यवसाय लिखते रह गए।। लोग आए निर्धनों की फूंक डाली झोपड़ी, और हम बैठे विवश बस न्याय... Hindi · गीतिका 1 61 Share Aman Sinha 9 Jan 2024 · 2 min read वो सुहाने दिन कभी लड़ाई कभी खिचाई, कभी हँसी ठिठोली थी कभी पढ़ाई कभी पिटाई, बच्चों की ये टोली थी एक स्थान है जहाँ सभी हम, पढ़ने लिखने आते थे बड़े प्यार से... Hindi · कविता · गीत · गीतिका · मुक्तक · संस्मरण 98 Share Aman Sinha 7 Jan 2024 · 3 min read भारत का लाल शत शत प्रणाम हैं उन वीरों को, जिन्होंने सबकुछ अपना वार दिया देकर बलिदान अपने प्राणो का, हमें विजय दिवस का उपहार दिया सुबह सौम्य थी शांत दोपहरी शाम भी... Hindi · कविता · गीत · गीतिका · मुक्तक · शेर 1 54 Share surenderpal vaidya 6 Jan 2024 · 1 min read * संसार में * ** गीतिका ** ~~ हर तरह के लोग हैं संसार में। किन्तु है आनंद केवल प्यार में। पास आएं और बतियाएं सहज। है मजा देखो बहुत इजहार में। पालना कर्तव्य... Hindi · आनन्दवर्धक छंद · गीतिका 1 1 109 Share सुशील मिश्रा ' क्षितिज राज ' 6 Jan 2024 · 1 min read मैं तुम्हें लिखता रहूंगा क्षितिज हूं पर क्षिति पर हूं मैं तुम्हें लिखता रहूंगा गढ़ता रहूंगा शब्दों के मौन अभिविन्यास में , भाव की अभिव्यक्तियों में , सृजन की नव सृष्टियों में , उपवनों... Hindi · कविता · गीतिका 104 Share चक्षिमा भारद्वाज"खुशी" 31 Dec 2023 · 1 min read खुशी की खुशी खुशी को खुशी से खुशी एक मिली थी, मगर मुश्किलों में वो खोई कहीं थी। ना साथी था कोई ना कोई सहारा, कठिन इस नदी का न मिलता किनारा, खुशी... Hindi · कविता · गीत · गीतिका 120 Share surenderpal vaidya 27 Dec 2023 · 1 min read * मुस्कुराते हुए * ** गीतिका ** ~~ सामने आ गये मुस्कुराते हुए। जल उठे हैं ह्रदय में अनेकों दिए। अब हमें यह पता चल गया क्या कहें। हम निशा में भटकते हुए क्यों... Hindi · गीतिका · वाचिक स्त्रग्विणी 1 3 89 Share Surinder blackpen 26 Dec 2023 · 1 min read उम्र के हर पड़ाव पर उम्र के हर पड़ाव पर,मेरा ख्याल कीजियेगा। गिला शिकवा हो ग़र,खुद से सवाल कीजियेगा ताज मेरे लिए बनवा न पाओ,तो ग़म नहीं चाहत हो गहरी ,बस इतना कमाल कीजियेगा साथ... Hindi · गीतिका 76 Share surenderpal vaidya 26 Dec 2023 · 1 min read * चान्दनी में मन * ** गीतिका ** ~~ हृदय में स्नेह की मृदु भावनाओं को जगाता है। निशा है चान्दनी में मन हमेशा डूब जाता है। बिखरती चन्द्रिका भू-पर रजत आभा लिए जब भी।... Hindi · गीतिका · चन्द्रिका · ज्योत्सना · विधाता छंद 78 Share surenderpal vaidya 24 Dec 2023 · 1 min read * प्रेम पथ पर * ** गीतिका ** ~~ प्रेम के पथ पर कदम आगे बढ़ाएं। सुप्त अपनी भावनाओं को जगाएं। जान लेना कौन है अपना पराया। व्यर्थ में यूं ही कभी ठोकर न खाएं।... Hindi · गीतिका · सार्द्धमनोरम 1 1 118 Share surenderpal vaidya 24 Dec 2023 · 1 min read * गीत मनभावन सुनाकर * ** गीतिका ** ~~ गीत मनभावन सुनाकर जाइये। और सबके खूब मन को भाइये। जिन्दगी में है बहुत दुश्वारियां। चाहते हो तो हमें बतलाइये। काम हिम्मत से तनिक अब लीजिए।... Hindi · आनंदवर्धक छंद · गीतिका 1 1 82 Share surenderpal vaidya 22 Dec 2023 · 1 min read * भोर समय की * ** गीतिका ** ~~ जब प्राची में रक्तिम आभा, ऊषा ने है बिखरायी। भोर समय की शुभ वेला में, सुन्दर कलियां मुस्कायी। खिल जाती जब धूप सहज ही, धुंध सिमटने... Hindi · गीतिका · लावणी छंद 1 1 91 Share डाॅ. बिपिन पाण्डेय 22 Dec 2023 · 1 min read गीतिका ताटंक छंद आधृत गीतिका आधार छंद -ताटंक (16-14पर यति,अंत में मगण अनिवार्य ) जहाँ जिस समय जो होना है, वह होता ही होता है। जान रहा ये मनुज बावला,फिर क्यों... Hindi · गीतिका 70 Share surenderpal vaidya 15 Dec 2023 · 1 min read * जगो उमंग में * ** गीतिका ** ~~ विशाद से भरी हरेक बात को भुलाइए। जगो उमंग में जरा नया निखार लाइए। सुगंध से भरे हुए खिले खिले गुलाब हैं। कली दिखा रही नये... Hindi · गीतिका · ज र ज र ज ग · पंच चामर छंद 1 1 131 Share Previous Page 2 Next