Sahityapedia
Sign in
Home
Your Posts
QuoteWriter
Account
11 Feb 2022 · 1 min read

भिंडी ने रपट लिखाई (बाल कविता )

भिंडी ने रपट लिखाई (बाल कविता )
**********************************
एक बार भिंडी ने
थाने जाकर रपट लिखाई ,
“मोटा आलू रौब गाँठता
उसकी करो ठुकाई “।।

आलू बोला “यह चिढ़ती
क्यों इसके संग न खेला ,
मेरी सब्जी मटर-संग है
या मैं रहा अकेला ।।

थानेदार समझकर सारी बात
खूब गरमाया,
बोला “भिंडी ! क्यों झूठा
तुम ने आरोप लगाया ।।

होता है अपराध
झूठ कोई आरोप लगाना,
गलती की फिर अगर
जेल में होगा तुमको जाना।।”
*******************************
रचयिता: रवि प्रकाश, बाजार सर्राफा, रामपुर (उत्तर प्रदेश) मोबाइल 99976 15451

Loading...