Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
20 Jan 2022 · 2 min read

क्या हम भी उनसे कुछ अपेक्षा करते हैं?

क्या हम भी उनसे कुछ अपेक्षा करते हैं?
???????????

हम पर भरोसा तो सभी करते हैं….
हमारी राह सदा वे आसान करते हैं ,
हमारे लिए खुद ही कितने कष्ट सहते हैं ,
फिर क्यों हम उनसे दूर ही रहते हैं !
ये अहम प्रश्न है पूरी तरह से अनुत्तरित !
क्यों न उनकी हम कोई परवाह करते हैं !!

क्या हम भी उनसे कुछ अपेक्षा करते हैं?
हाॅं, हम भी उनसे कुछ अपेक्षा करते हैं !!

जो जन हमारा आदर-सत्कार करते हैं….
दिन-रात ही हमारी सेवा-सुश्रुषा करते हैं ,
हर पल वे खुशी से हमारी राह तकते हैं ,
हमसे भी वो अपनी कुछ आस रखते हैं ,
हमपे भी उनके सुनहरे भविष्य टिके होते हैं !
फिर क्यों हम सब उनकी अवहेलना करते हैं??

क्या हम भी उनसे कुछ अपेक्षा करते हैं?
हाॅं, हम भी उनसे कुछ अपेक्षा करते हैं !!

इंसान इतने लालची प्रवृत्ति के होते हैं ,
हर पल तो वे खुद के बारे में ही सोचते हैं ,
क्या सबकी सेवा का मूल्य हम चुका पाते हैं?
क्या लंबे सफ़र में सबका कर्ज़ हम उतार पाते हैं?
हर मोड़ पे हम सब अपना काम बनाते फिरते हैं!
सफ़र के साथी को झूठी दिलासा देते फिरते हैं !
क्या औरों के लिए भी कभी कुछ हम करते हैं?
क्या खुद के दायरे से हटकर कभी सोचते हैं??

ये ज्वलंत प्रश्न है पूरी तरह से अनुत्तरित….
क्यों न उन सबकी हम कोई परवाह करते हैं….
क्यों हम किसी से कभी विश्वासघात करते हैं ?
जाने-अनजाने हम खुद पे ही आघात करते हैं !!

क्या हम भी उनसे कुछ अपेक्षा करते हैं ??
क्यों…हम भी उनसे कुछ अपेक्षा करते हैं??

स्वरचित एवं मौलिक ।
अजित कुमार “कर्ण” ✍️✍️
किशनगंज ( बिहार )
दिनांक : 20/01/2022.
“””””””””””””””””””””””””””””
?????????

Language: Hindi
7 Likes · 2 Comments · 361 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
*आई काम न संपदा, व्यर्थ बंगला कार【कुंडलिया】*
*आई काम न संपदा, व्यर्थ बंगला कार【कुंडलिया】*
Ravi Prakash
■ कविता-
■ कविता-
*Author प्रणय प्रभात*
बंदर मामा
बंदर मामा
Dr. Pradeep Kumar Sharma
कोई साया
कोई साया
Dr fauzia Naseem shad
कहमुकरी
कहमुकरी
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
खुश-आमदीद आपका, वल्लाह हुई दीद
खुश-आमदीद आपका, वल्लाह हुई दीद
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
मुल्क
मुल्क
DR ARUN KUMAR SHASTRI
दुनिया
दुनिया
Jagannath Prajapati
जनाब बस इसी बात का तो गम है कि वक्त बहुत कम है
जनाब बस इसी बात का तो गम है कि वक्त बहुत कम है
Paras Mishra
प्रिय
प्रिय
The_dk_poetry
चेतावनी हिमालय की
चेतावनी हिमालय की
Dr.Pratibha Prakash
सफलता का लक्ष्य
सफलता का लक्ष्य
Paras Nath Jha
तूफ़ान और मांझी
तूफ़ान और मांझी
DESH RAJ
*** पल्लवी : मेरे सपने....!!! ***
*** पल्लवी : मेरे सपने....!!! ***
VEDANTA PATEL
दूर अब न रहो पास आया करो,
दूर अब न रहो पास आया करो,
Vindhya Prakash Mishra
12. घर का दरवाज़ा
12. घर का दरवाज़ा
Rajeev Dutta
🥀 #गुरु_चरणों_की_धूल 🥀
🥀 #गुरु_चरणों_की_धूल 🥀
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
ईश्वर से साक्षात्कार कराता है संगीत
ईश्वर से साक्षात्कार कराता है संगीत
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
जिंदगी
जिंदगी
Bodhisatva kastooriya
प्यार में आलिंगन ही आकर्षण होता हैं।
प्यार में आलिंगन ही आकर्षण होता हैं।
Neeraj Agarwal
इक पखवारा फिर बीतेगा
इक पखवारा फिर बीतेगा
Shweta Soni
One day you will realized that happiness was never about fin
One day you will realized that happiness was never about fin
पूर्वार्थ
लेकर सांस उधार
लेकर सांस उधार
विनोद वर्मा ‘दुर्गेश’
"सब्र"
Dr. Kishan tandon kranti
मैं सरिता अभिलाषी
मैं सरिता अभिलाषी
Pratibha Pandey
जाने क्या-क्या कह गई, उनकी झुकी निग़ाह।
जाने क्या-क्या कह गई, उनकी झुकी निग़ाह।
sushil sarna
वाल्मिकी का अन्याय
वाल्मिकी का अन्याय
Manju Singh
गांव की सैर
गांव की सैर
जगदीश लववंशी
तुम
तुम
Punam Pande
मैं छोटी नन्हीं सी गुड़िया ।
मैं छोटी नन्हीं सी गुड़िया ।
लक्ष्मी सिंह
Loading...