आतम अनुभव
आतम अनुभव
आतम अनुभव करना रे भाई !
सप्त तत्व का ज्ञान सु धरना,
मिथ्यातम को हरना रे भाई ,
आतम अनुभव करना रे भाई !।।
क्रोध-मान-माया-लोभादिक,
नहीं आतमा का गहना,
शुद्ध स्वरूपी सत्-चित-आनंद
का ही आश्रय करना रे भाई!
आतम अनुभव करना रे भाई ! ।।
सम्यग्दर्शन ज्ञान चरणमय,
मुक्तिरमा को वरना !
निराकुल सुख कंद मनोहर,
निज स्वरूप को लखना रे भाई !
आतम अनुभव करना रे भाई ! ।।