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Tag: मुक्तक
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मर्यादा पुरुषोत्तम राम
मर्यादा पुरुषोत्तम राम
Ramji Tiwari
मुक्तक
मुक्तक
Akash Agam
तुम हमारा हो ख़्वाब लिख देंगे
तुम हमारा हो ख़्वाब लिख देंगे
Dr Archana Gupta
*लज्जा*
*लज्जा*
sudhir kumar
किस तिजोरी की चाबी चाहिए
किस तिजोरी की चाबी चाहिए
भरत कुमार सोलंकी
गंगा की जलधार
गंगा की जलधार
surenderpal vaidya
केवल “ॐ” कार है
केवल “ॐ” कार है
Neeraj Mishra " नीर "
क्यो नकाब लगाती हो
क्यो नकाब लगाती हो
भरत कुमार सोलंकी
pita
pita
Dr.Pratibha Prakash
तेरे इश्क में इस कदर गुम हुए
तेरे इश्क में इस कदर गुम हुए
Sunil Suman
संस्कार
संस्कार
Dr.Pratibha Prakash
कठोर व कोमल
कठोर व कोमल
surenderpal vaidya
राधा-मोहन
राधा-मोहन
ओमप्रकाश भारती *ओम्*
मैं सब कुछ लिखना चाहता हूँ
मैं सब कुछ लिखना चाहता हूँ
Neeraj Mishra " नीर "
ऊपर चढ़ता देख तुम्हें, मुमकिन मेरा खुश हो जाना।
ऊपर चढ़ता देख तुम्हें, मुमकिन मेरा खुश हो जाना।
सत्य कुमार प्रेमी
जो दूरियां हैं दिल की छिपाओगे कब तलक।
जो दूरियां हैं दिल की छिपाओगे कब तलक।
सत्य कुमार प्रेमी
पुजारी शांति के हम, जंग को भी हमने जाना है।
पुजारी शांति के हम, जंग को भी हमने जाना है।
सत्य कुमार प्रेमी
इंडिया ने परचम लहराया दुनियां में बेकार गया।
इंडिया ने परचम लहराया दुनियां में बेकार गया।
सत्य कुमार प्रेमी
वो केवल श्रृष्टि की कर्ता नहीं है।
वो केवल श्रृष्टि की कर्ता नहीं है।
सत्य कुमार प्रेमी
हार से भी जीत जाना सीख ले।
हार से भी जीत जाना सीख ले।
सत्य कुमार प्रेमी
आप लिखते कमाल हैं साहिब।
आप लिखते कमाल हैं साहिब।
सत्य कुमार प्रेमी
किलकारी गूंजे जब बच्चे हॅंसते है।
किलकारी गूंजे जब बच्चे हॅंसते है।
सत्य कुमार प्रेमी
तू नहीं है तो ये दुनियां सजा सी लगती है।
तू नहीं है तो ये दुनियां सजा सी लगती है।
सत्य कुमार प्रेमी
मजबूरन पैसे के खातिर तन यौवन बिकते देखा।
मजबूरन पैसे के खातिर तन यौवन बिकते देखा।
सत्य कुमार प्रेमी
न दें जो साथ गर्दिश में, वह रहबर हो नहीं सकते।
न दें जो साथ गर्दिश में, वह रहबर हो नहीं सकते।
सत्य कुमार प्रेमी
वतन से हम सभी इस वास्ते जीना व मरना है।
वतन से हम सभी इस वास्ते जीना व मरना है।
सत्य कुमार प्रेमी
जीवन रथ के दो पहिए हैं, एक की शान तुम्हीं तो हो।
जीवन रथ के दो पहिए हैं, एक की शान तुम्हीं तो हो।
सत्य कुमार प्रेमी
ढोलकों की थाप पर फगुहा सुनाई दे रहे।
ढोलकों की थाप पर फगुहा सुनाई दे रहे।
सत्य कुमार प्रेमी
ये ढलती शाम है जो, रुमानी और होगी।
ये ढलती शाम है जो, रुमानी और होगी।
सत्य कुमार प्रेमी
आप चुन लीजिए अपने आकाश को, तो सितारे भी हिस्से में आ जाएंगे
आप चुन लीजिए अपने आकाश को, तो सितारे भी हिस्से में आ जाएंगे
Dr Archana Gupta
ये ढलती शाम है जो, रुमानी और होगी।
ये ढलती शाम है जो, रुमानी और होगी।
सत्य कुमार प्रेमी
खुले आम जो देश को लूटते हैं।
खुले आम जो देश को लूटते हैं।
सत्य कुमार प्रेमी
गोमुख
गोमुख
D.N. Jha
तुम्हारे इश्क में इतने दीवाने लगते हैं।
तुम्हारे इश्क में इतने दीवाने लगते हैं।
सत्य कुमार प्रेमी
सबने सलाह दी यही मुॅंह बंद रखो तुम।
सबने सलाह दी यही मुॅंह बंद रखो तुम।
सत्य कुमार प्रेमी
प्रेम हो जाए जिससे है भाता वही।
प्रेम हो जाए जिससे है भाता वही।
सत्य कुमार प्रेमी
मुक्तक - यूं ही कोई किसी को बुलाता है क्या।
मुक्तक - यूं ही कोई किसी को बुलाता है क्या।
सत्य कुमार प्रेमी
हो हमारी या तुम्हारी चल रही है जिंदगी।
हो हमारी या तुम्हारी चल रही है जिंदगी।
सत्य कुमार प्रेमी
कर्म
कर्म
Dr.Pratibha Prakash
दरार
दरार
D.N. Jha
विनती
विनती
D.N. Jha
तमन्ना
तमन्ना
D.N. Jha
शिकवा
शिकवा
D.N. Jha
मुहब्बत भी करके मिला क्या
मुहब्बत भी करके मिला क्या
डी. के. निवातिया
होली
होली
नवीन जोशी 'नवल'
मनमीत
मनमीत
D.N. Jha
मुक्तक
मुक्तक
प्रीतम श्रावस्तवी
हो हमारी या तुम्हारी चल रही है जिंदगी।
हो हमारी या तुम्हारी चल रही है जिंदगी।
सत्य कुमार प्रेमी
राधे राधे बोल
राधे राधे बोल
D.N. Jha
महावर
महावर
D.N. Jha
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