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28 Dec 2017 · 1 min read

“पिरामिड”

“पिरामिड”

रे
गुँजा
बावरी
मदमाती
उन्मुक्त बाँदी
घुँघराले बाल
लहराए नागिन॥-1

रे
गुँजा
भ्रामरी
सुनयना
घुँघची अली
मनचली गली
नव खेल खिलाती॥-2

महातम मिश्र, गौतम गोरखपुरी

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