तन्हाई में हम ज्यादा निखरते है

तन्हाई में हम ज्यादा निखरते है
सुकून की एक राह चुनते है
भीड़ में अक्सर गुम हो जाते है हम
और अकेलेपन में खुद के वजूद से मिलते हैं✍️
तन्हाई में हम ज्यादा निखरते है
सुकून की एक राह चुनते है
भीड़ में अक्सर गुम हो जाते है हम
और अकेलेपन में खुद के वजूद से मिलते हैं✍️