जीवन जीना अभी तो बाक़ी है
यूँ ही गुज़रती जिंदगी में जीवन जीना अभी तो बाक़ी है।
जिन हालातों ने पटका जमीन पर ज़वाब देना उनको बाक़ी है।।
चला जा रहा हूँ मंजिल की तरफ़ मंजिल को पाना अभी तो बाक़ी है।
कितने करोगे चरचे मेरी हार के कामयाबी का शोर मचाना तो बाक़ी है।।
कितनी भी कर ले वक़्त मनमानी पर मेरा वक़्त अभी आना बाक़ी है।
खुश हो रहे हैं जो मेरी नाकामयाबी पर उनको जवाब देना बाक़ी है।।
ज़िंदगी के सफ़र में कितने ही किरदार निभाना भी तो अभी बाक़ी है।
मंच पर परदा गिरने पर तालियाँ बजाना भी तो अभी बाक़ी है।।
कहे विजय बिजनौरी जीवन में सबको किरदार निभा कर जाना है।
सबको हालातों के दम पर ही अपने मुकाम को हासिल कर पाना है।।
विजय कुमार अग्रवाल
विजय बिजनौरी।