ग़ज़ल
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
माधव मालती (28 मात्रा ) मापनी युक्त मात्रिक
ज़माने वाले जिसे शतरंज की चाल कहते हैं
ज़िन्दा होना ही काफ़ी नहीं
‘ विरोधरस ‘---10. || विरोधरस के सात्विक अनुभाव || +रमेशराज
अशोक वाटिका मे सीता संग हनुमान वार्ता भाषा
जो बिगड़ा अतीत तुम्हारा, छुपाया न जाए,जिसे स्वीकारे तुम्हें,
ऐसा क्यों होता है कि एक व्यक्ति एक के बाद एक सफलता हासिल करत