Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
29 Jun 2024 · 1 min read

बुंदेली दोहे- छरक

बुंदेली दोहा- छरक (अरुचि, घृणा )

#राना राखौ तुम छरक ,लबरा जितै दिखाँय।
चुगलन जैसे काम कर ,सबरन खौं भरमाँय।।

#राना मोरी बात खौं ,तनिक समझियौ आप।
बिच्छू सैं लैतइ छरक, कौन लैत है चाप।।

उनसे भी हौतइ छरक, संगत गलत दिखाय।
#राना विष की बेल भी,सिर पै कौन चढ़ाय।।

#राना काँतक लै छरक, दुष्ट सामने आय।
वेश बदलकर सामने, बातन से भरमाय।।

छू लैतइ है गंदगी ,#राना लापरवाह।
चलैं छरक कर जौ यहाँ ,सुथरी ऊकी राह।।

एक हास्य दोहा

धना कात #राना सुनौ ,काय छरक रय आज।
घर कौ करो उसार तुम ,करौ न कौनउँ लाज।।
*** ©दिनांक-29.6.2024
✍️ राजीव नामदेव”राना लिधौरी”
संपादक “आकांक्षा” पत्रिका
संपादक- ‘अनुश्रुति’ त्रैमासिक बुंदेली ई पत्रिका
जिलाध्यक्ष म.प्र. लेखक संघ टीकमगढ़
अध्यक्ष वनमाली सृजन केन्द्र टीकमगढ़
नई चर्च के पीछे, शिवनगर कालोनी,
टीकमगढ़ (मप्र)-472001
मोबाइल- 9893520965
Email – ranalidhori@gmail.com

2 Likes · 2 Comments · 282 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
View all

You may also like these posts

व्यवहार वह सीढ़ी है जिससे आप मन में भी उतर सकते हैं और मन से
व्यवहार वह सीढ़ी है जिससे आप मन में भी उतर सकते हैं और मन से
Ranjeet kumar patre
यूँ झूटी कहावत का क्या फ़ायदा
यूँ झूटी कहावत का क्या फ़ायदा
Shilpi Singh
तुम्हारे इश्क में इतने दीवाने लगते हैं।
तुम्हारे इश्क में इतने दीवाने लगते हैं।
सत्य कुमार प्रेमी
*** लम्हा.....!!! ***
*** लम्हा.....!!! ***
VEDANTA PATEL
साथ हूँ।
साथ हूँ।
लक्ष्मी सिंह
सम्मान नहीं मिलता
सम्मान नहीं मिलता
Dr fauzia Naseem shad
सवाल
सवाल
Ruchi Sharma
जब तक मुमकिन था अपनी बातों को जुबानी कहते रहे,
जब तक मुमकिन था अपनी बातों को जुबानी कहते रहे,
jyoti jwala
दस्तावेज बोलते हैं (शोध-लेख)
दस्तावेज बोलते हैं (शोध-लेख)
Ravi Prakash
आबाद यहाँ लोग हो
आबाद यहाँ लोग हो
gurudeenverma198
भीष्म के उत्तरायण
भीष्म के उत्तरायण
Shaily
KHafef musaddas maKHbuun mahzuuf maqtuu.a
KHafef musaddas maKHbuun mahzuuf maqtuu.a
sushil yadav
आया होली पर्व
आया होली पर्व
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
"करारी हार के ‌शिकार लोग ही,
पूर्वार्थ
महिला खिलाड़ी
महिला खिलाड़ी
Indu Singh
मेरी सुख़न-गोई बन गई है कलाम मेरा,
मेरी सुख़न-गोई बन गई है कलाम मेरा,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
गीत
गीत
भगवती प्रसाद व्यास " नीरद "
नूर ओ रंगत कुर्बान शक्ल की,
नूर ओ रंगत कुर्बान शक्ल की,
ओसमणी साहू 'ओश'
माला फेरें राम की,
माला फेरें राम की,
sushil sarna
नेता जी
नेता जी
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
मुझे घोर नफ़रत है,
मुझे घोर नफ़रत है,
*प्रणय प्रभात*
*मजदूर*
*मजदूर*
Dushyant Kumar
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
आज तो मेरी हँसी ही नही रूकी
आज तो मेरी हँसी ही नही रूकी
MEENU SHARMA
प्रारब्ध का सत्य
प्रारब्ध का सत्य
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
4887.*पूर्णिका*
4887.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
मेरी स्मृति...
मेरी स्मृति...
NAVNEET SINGH
Ghazal
Ghazal
shahab uddin shah kannauji
ब निगाहें करम मुस्कुरा दो तुम(नज़्म)
ब निगाहें करम मुस्कुरा दो तुम(नज़्म)
Dushyant Kumar Patel
आनन्द का आनंद
आनन्द का आनंद
Mahesh Tiwari 'Ayan'
Loading...