Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
1 May 2024 · 1 min read

*लव यू ज़िंदगी*

#लव यू ज़िंदगी
—————————————————
ऐ हरफनमौला ज़िंदगी,
है पहेली सी हमसायगी।

तू एक हसीं अहसास,
तू रहती….है मेरे पास।
कभी मिश्री लगती हो,
कभी इमली लगती हो।
कभी लगती हो कड़वी सी,लव यू ज़िंदगी।

तू चाहे दग़ा दे मुझको,
तू चाहे वफ़ा दे मुझको।
कभी दुःख पहुंचाती हो,
कभी सुख पहुंचाती हो।
कभी ओढ़े यूं ख़ामोशी सी,लव यू ज़िंदगी।

तू कभी करामात करती,
तू कभी कभी यूं छलती।
तू कभी सब बर्बाद करे ,
तू कभी सब आबाद करे।
कभी लगती हो अजनबी सी,लव यू ज़िंदगी।

कभी दर-हक़ीक़त सी लगी,
कभी फ़साना बन कर जगी।
कभी अंधेरों में जा छुपी तू,
कभी उजालों में जा मिली तू।
तेरी तबीयत भी आदमी सी,लव यू ज़िंदगी।
————————————————–
सुधीर कुमार
सरहिंद फतेहगढ़ साहिब पंजाब।

Language: Hindi
3 Likes · 165 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.

You may also like these posts

कविता
कविता
Nmita Sharma
"जन्नत का रास्ता"
Dr. Kishan tandon kranti
"बस फैसले के इंतज़ार में'
©️ दामिनी नारायण सिंह
हिंदी
हिंदी
Sudhir srivastava
चरित्र
चरित्र
विशाल शुक्ल
एजाज़ लिख दूँ
एजाज़ लिख दूँ
शक्ति राव मणि
बिल्ली
बिल्ली
Vijay kumar Pandey
जिंदगी बिलकुल चिड़िया घर जैसी हो गई है।
जिंदगी बिलकुल चिड़िया घर जैसी हो गई है।
शेखर सिंह
प्यार ऐसा हो माता पिता के जैसा
प्यार ऐसा हो माता पिता के जैसा
Rituraj shivem verma
आईना
आईना
Sûrëkhâ
हम तुम
हम तुम
Sandhya Chaturvedi(काव्यसंध्या)
वक्त गुजर जायेगा
वक्त गुजर जायेगा
Sonu sugandh
रंग बिरंगी दुनिया होती हैं।
रंग बिरंगी दुनिया होती हैं।
Neeraj Kumar Agarwal
तूफ़ान कश्तियों को , डुबोता नहीं कभी ,
तूफ़ान कश्तियों को , डुबोता नहीं कभी ,
Neelofar Khan
आज बच्चों के हथेली पर किलकते फोन हैं।
आज बच्चों के हथेली पर किलकते फोन हैं।
सत्यम प्रकाश 'ऋतुपर्ण'
स्त्री है शक्ति
स्त्री है शक्ति
krishna waghmare , कवि,लेखक,पेंटर
जय अयोध्या धाम की
जय अयोध्या धाम की
Arvind trivedi
गुपचुप-गुपचुप कुछ हुए,
गुपचुप-गुपचुप कुछ हुए,
sushil sarna
मेरे इन लबों पे तेरा नाम
मेरे इन लबों पे तेरा नाम
gurudeenverma198
सत्य की खोज
सत्य की खोज
Neha
अमिर -गरीब
अमिर -गरीब
Mansi Kadam
जाने क्यों भागती है दुनिया खूबसूरती के पीछे।
जाने क्यों भागती है दुनिया खूबसूरती के पीछे।
Annu Gurjar
4807.*पूर्णिका*
4807.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
कहानी, बबीता की ।
कहानी, बबीता की ।
Rakesh Bahanwal
मृत्यु शैय्या
मृत्यु शैय्या
सुशील मिश्रा ' क्षितिज राज '
आकाश दीप - (6 of 25 )
आकाश दीप - (6 of 25 )
Kshma Urmila
खामोशियाँ
खामोशियाँ
कल्पना सोनी "काव्यकल्पना"
ये खुदा अगर तेरे कलम की स्याही खत्म हो गई है तो मेरा खून लेल
ये खुदा अगर तेरे कलम की स्याही खत्म हो गई है तो मेरा खून लेल
Ranjeet kumar patre
भभक
भभक
Dr.Archannaa Mishraa
बारिश
बारिश
मनोज कर्ण
Loading...