हम सभी
जिंदगी और जीवन और हम सभी…
अपनी सोच और समझे हम सभी….
बस धन और दौलत रखें हम सभी…
हां सबका साथ बचपन हम सभी….
सोच हमारी अपनी हो हम सभी……
लालच स्वार्थ फरेब और हम सभी….
शारीरिक संबंध और सुख हम सभी…
काया माया का भ्रम और हम सभी….
सोचे तो सही इंसान हैं हम सभी…
नीरज