कौन आए ये बताने के लिए
क्या सही है इस ज़माने के लिए
कौन आए ये बताने के लिए
खाने वाले घर में सौ होंगे मगर
आदमी इक ही कमाने के लिए
साँस से बढ़कर नहीं दौलत यहाँ
और क्या है फिर गँवाने के लिए
हाथ मिलते हैं मगर दिल दूर हैं
रह गया सब कुछ दिखाने के लिए
बात मतलब की फ़कत मिलती नहीं
हैं बहुत किस्से सुनाने के लिए
—सागर