Neelam Sharma 660 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 12 Next Neelam Sharma 12 Jun 2017 · 1 min read समंदर समंदर क्या कभी तुमने समंदर में शहर देखा है? क्या कभी तुमने समंदर में बसर देखा है? कहते हैं कृष्ण की द्वारका को समंदर ने था समाया खुद में ।... Hindi · कविता 227 Share Neelam Sharma 12 Jun 2017 · 1 min read मुक्तक मुक्तक अनुराग मृदुल मन की लता हिलती है, अनुराग उसमें है। विरहन विरहा में जो जलती है,, त्याग उसमें है। किसी भी रूप को दूं, कौन सी रंगीन उपमा मैं,... Hindi · मुक्तक 363 Share Neelam Sharma 12 Jun 2017 · 1 min read दर्द दर्द...... सादर प्रेषित। काव्य की किसी भी विद्या में कह पाना मुश्किल है। हृदय की वेदना समझा पाना मुश्किल है। कैसे मैं अपने दर्द के सायों को करूं बयां? दिल... Hindi · गीत 369 Share Neelam Sharma 11 Jun 2017 · 1 min read मुक्तक हूं चंचल चपल नदि मैं,बहूं या न बहूं? उर दर्द है वेदना है सहूं या न सहूं। डूबे हैं दर्द की स्याही में गीत मेरे अनमनी सी व्यथा है कहूं... Hindi · मुक्तक 280 Share Neelam Sharma 11 Jun 2017 · 1 min read उल्लाला छंद उल्लाला छंद मृगनयनी है राधिका,मोहन चंचल मन अधीर। लाज हया सब भूलकर,मिलते हैं यमुना तीर। जाने जो बात हिय की, सुमीत उसे कहते हैं। छू जाये सबका हृदय, संगीत उसे... Hindi · तेवरी 1 2 1k Share Neelam Sharma 11 Jun 2017 · 1 min read महफ़िल आज का हासिल- महफ़िल रोज सजती है महफ़िल वर्णों की "काव्य सरिता"में कभी स्वर डूबते मिल व्यंजनों संग कव्य सरिता में तो कभी संग एक दूसरे के अक्षर तैर जाते... Hindi · कविता 490 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read गज़ल चराग मैं बनके चराग-ए-चमन जलती ही रही महबूब बड़ी शिद्धतों से अहले वफा तुमने निभाई खूब...... l ए काश कि हमभी सनम होते तेरी तरह फिर देखते हमभी कि ये... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 311 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read मां हाँ बहुत करती हूँ प्रयास कर नयन बन्द ईश्वर वंदन को न जाने क्यों अनायास ही तेरी य़ाद चली आती है माँ ..... कि कैसे हर पल मुझको तुम बैठाकर... Hindi · कविता 481 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read मुक्तक नहीं आता मुझे किसी के ह्रदय पट को भेदना आत्मग्लानी बची नहीं कहीं, है खत्म होगई वेदना l अंतर्मन की शांति ढूंड रहा हर कोई देवालय में किंतु अपनी त्रूटियों... Hindi · मुक्तक 257 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read इंसान इंसान क्यों न रहा इंसान तू बता ए मानुष मनुष्य, तू क्यों रहा न आदमी बता यह नर रहस्य l एेसा हुआ क्या जो बना तू असुर और निशाचर, है... Hindi · कविता 749 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read वक्त वक्त वक्त बर्बाद करना ही, जिंदगी बर्बाद करना है लिया है जन्म आज तो, फिर एक रोज़ मरना है मेहनतीऔर कर्मठ का सखा यह वक्त होता है मगर जो आलसी... Hindi · कविता 444 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read कारवां जिंदगी का। कुछ इस तरह बढ़ता रहा कारवां जिंदगी का, न तुमने याद किया और न हमने मुडकर देखा। हां बस दीवार ही होती रही खड़ी बीच रिश्तों के दिल में घर... Hindi · कविता 514 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read याद आई अहा! कि फिर आज अरसे बाद, तेरी कुछ बीती बातें याद आई। हां, हैं अब तक जो अधूरी तुमसे, वो कुछ खास मुलाकातें याद आई। कि थी मंजिल भी अलग... Hindi · कविता 228 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read खत ख़त, चिट्ठी/डाकिया,हरकारा विरहिन का दर्द क्या जाने डाकिया वो तो बस हरकारा है। इंतज़ार की घड़ियाँ बहुत कठिन हैं बस ख़त ही सहारा है। व्हाट्स ऐप, ईमेल, फेसबुक और वीडियो... Hindi · कविता 318 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read दोहे दोहे कृष्ण नाम शुभ नाम है, जो सुमिरै सिधि होय। जप जप मीरा पार तरि,पार न पाया कोय। अपनी राहें खुद बनें,करो काम से प्रीत। लग्न परिश्रम कर्म से, होती... Hindi · दोहा 465 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read प्रेम गीत प्रेम हे प्रेम,तू सप्तसुरी सरगम का राग है, हर प्रेमी के जीवन में इन्द्रधनुषी फाग है तू है माथे की बिन्दिया,तू अमर सुहाग है तू ही ताप है जीवन का... Hindi · गीत 688 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read प्रेम आज का हासिल हाइकु-प्रेम है प्रेम राग मधुर अनुराग लाग जिया की। प्रेम राग से सुरभित जीवन थिरके मन। प्रेम लपटें जिंदगी को संवारें हों वारे न्यारे। प्रीति की भाषा... Hindi · हाइकु 1 504 Share Neelam Sharma 10 Jun 2017 · 1 min read अदा आज का हासिल- अदा कहां से शुरू करूं कान्हा और कहां खत्म कान्हा। तेरी हर एक अदा है दिलकश ज़माने से जुदा जुदा। जिस अदा से तू देखे, अदा वो... Hindi · गीत 611 Share Neelam Sharma 9 Jun 2017 · 1 min read मां चिड़िया कोटि-कोटि आभार ईश्वर!!! वाह!!! क्या सृष्टि रचाई। मूक अमूक सभी जीवों में, मां की ममता बसाई। अहा...!!! देख हृदय हुआ अत्यंत प्रफुल्लित यह विहंगम सुंदर और मोहक दृश्य। मां चिड़िया... Hindi · कविता 273 Share Neelam Sharma 9 Jun 2017 · 1 min read हृदय "ह्रदय"- है अथाह गहरा, नीला समुद्र सा मेरा ह्रदय जिसमें सोच भी लहरों सी है जो कभी गिनी ही नहीं जाती . चाहा बहुत ठहर जाऊँ अब पर मेरी सोच... Hindi · कविता 365 Share Neelam Sharma 9 Jun 2017 · 1 min read हाइकु हाइकु जल उफ़ ये प्यास चिलचिलाती धूप सूखे हैं कूप। बढ़ा संताप हैं ताकते आकाश जल की आस। नीर अमि सा मिश्री सा खरबूजा पेय मधुर। पानी जीवन है वसुंधरा... Hindi · हाइकु 1 293 Share Neelam Sharma 8 Jun 2017 · 1 min read अनुराग प्रणय स्नेह अनुरक्ति प्रेम और अनुराग जीवन की बगिया खिलाते जैसे पुष्प पराग। अनुराग है कण कण में, अनुराग है जन्म मरण में। अनुराग है नभ और थल में, है... Hindi · कविता 1 1 1k Share Neelam Sharma 8 Jun 2017 · 2 min read अन्न सारगर्भित लेख हमारी भारतीय संस्कृति कर्म प्रधान संस्कृति है। पूरे विश्व में भारत अपनी संस्कृति और परंपरा के लिये प्रसिद्ध देश है। ये विभिन्न संस्कृति और परंपरा की भूमि है।... Hindi · लेख 545 Share Neelam Sharma 8 Jun 2017 · 1 min read जब चांद घिरा बादलों में। देख अकेला रजनीश को एक दिन आ घेरा मेघों ने। परिवेश भयावह बना दिया होकर एकजुट घने काले मेघों ने। विशाल गगन में था चांद अकेला नहीं साथ थे तारे।... Hindi · कविता 674 Share Neelam Sharma 8 Jun 2017 · 1 min read चांद का दर्पण चांद का दर्पण पूर्ण चंद्र की दिव्य आभा से हुआ नील वर्ण पर्यावरण डूबा प्रेम में देख रहा है शशि, देखो क्षीर सिन्धु में दर्पण। चांदनी हुलस रही प्रिय संग,... Hindi · कविता 329 Share Neelam Sharma 7 Jun 2017 · 1 min read कविता समाज हमारा बन रहा क्यों प्रताड़ना का बाजार मानवता हों रही कलंकित बनी वासना का औजार हो रहा निस काल विसंगत, बढ़ रहा व्यभिचार प्रलय घटा बन काम वासना कर... Hindi · कविता 374 Share Neelam Sharma 7 Jun 2017 · 1 min read अक्स परछाई.....। स्नेहिल हो सजल नयनों से है कोटि-कोटि आभार व्यक्त। संग मेरे रहती ये सदा अदृश्य होकर,हर पल और हर वक्त। साथ नहीं देता जीवन में हर पल कोई भी... Hindi · गीत 263 Share Neelam Sharma 7 Jun 2017 · 1 min read गीत आरे आरे। सुन, कहीं मत जाइयो दिलबर, मेरा दिल पुकारे आरे आरे। सुनो, नहीं सुनता दिल ये किसी की, अब तू ही समझा रे आरे आरे। वक्त थाम कर तुमको... Hindi · गीत 289 Share Neelam Sharma 6 Jun 2017 · 1 min read लगा है। फिलबदीह -१३५ मिसरा- मरेंगे बिन तेरे लगने लगा है। काफिया- अने। रदीफ- लगा है। दिल मेरा तो है, आज़ाद पंछी, होकर उन्मुक्त, ये उड़ने लगा है। जब से तुमसे मोहब्बत... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 324 Share Neelam Sharma 6 Jun 2017 · 1 min read लगी हैं। उन्वान- जब से खामोशियां मुस्कुराने लगी हैं। जिंदगी भी मधुर गीत गाने लगी हैं। जब से खामोशियां मुस्कुराने लगी हैं। हुई शांत तृष्णा जो धधकती थी दिल में बिलखती ज़िन्दगी... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 331 Share Neelam Sharma 6 Jun 2017 · 1 min read देखते हैं। रद़ीफ- देखते हैं। चुरा के वो हमको, नज़र देखते हैं। वो घड़ी दो घड़ी में गज़र देखते हैं। क्या रही मोहब्बत में मेरी,कसर देखते हैं। चलो आज मोहब्बत का,असर देखते... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 461 Share Neelam Sharma 6 Jun 2017 · 1 min read अधूरी आस अधूरी आस......। सुनो, है सब कुछ पास मेरे फिर भी कुछ नहीं है पास । कुछ अधूरे से ख़्वाब हैं साथ न पूरे होने का अहसास। इक अधूरी सी है... Hindi · गीत 551 Share Neelam Sharma 6 Jun 2017 · 1 min read मुक्तक जवानों चूक मत जाना, पडौसी घात करता है। फकत वो यार जूतों का न मुख से बात करता है। चलो फिर आज मिलके करदें, धूर्त के दांत हम खट्टे। जय-विजय... Hindi · मुक्तक 569 Share Neelam Sharma 5 Jun 2017 · 1 min read गुस्सा क्रोध गुस्सा नाराज़गी नहीं ये है तेरी सज़ा की फरमानगी....... लाड लड़ाती है प्रेम जताती,देती तेरी उड़ान को परवाज़ मां जब भी गिरता लड़खड़ाता बच्चा, लेती उसे संभाल मां अगले... Hindi · कहानी 432 Share Neelam Sharma 5 Jun 2017 · 1 min read बूंदें हाइकु मेघ/बूंदें मेघ हैं छाये घनघोर घटाएं बूंदें बरसीं। काले नयना हैं बूंदें बरसाते अरमानों की। लेकर आया रिमझिम सीं बूंदें मेघ श्यामल। पीलीं धरा ने पुलकित है मन ओक... Hindi · हाइकु 1 311 Share Neelam Sharma 5 Jun 2017 · 1 min read दरमियां उन्वान- दरमियां......। हर रोज़ न सही मगर कभी कभी दरमियां तेरे मेरे कुछ तो है अजनबी खींचता है मुझे किसी चुंबक की तरह। है अंजाना सा जो रिश्ता, मैं क्या... Hindi · कविता 1 411 Share Neelam Sharma 5 Jun 2017 · 2 min read सरहद के हालात सरहद के हालात शूरवीर निर्भीक वीर और पराक्रमी योद्धा नौजवां सैनिक वो सुहाग,भाई और भारत मां के योग्य बेटे खोद देते हैं शत्रु की कबर सरहद पर टूटता है जब... Hindi · कविता 271 Share Neelam Sharma 5 Jun 2017 · 1 min read पर्यावरण प्रकृति वसुधा परिवेश पर्यावरण पीड़ा में रहें हैं कबसे पुकार। अब तो अति हो गई मानव, अपना व्यवहार सुधार। मुक्तक अश्रुपात अभियोग शोक संग प्रकृति करे विलाप। क्यूं हुआ खल... Hindi · मुक्तक 258 Share Neelam Sharma 4 Jun 2017 · 1 min read चांदनी रात है। आज चांदनी रात है, पिया भी साथ हैं। इठला रही रजनी मन में सहेजे असीम उल्लास हैं। देखो प्रेमी युगलों का आया, आज मधुमास है। हो मगन दो मन आनंद... Hindi · गीत 450 Share Neelam Sharma 4 Jun 2017 · 1 min read धागे धागे मजबूत डोर होते हैं, अनमोल रिश्तों के धागे। कभी भी जो नहीं टूटे, हैं मजबूत जोड़ ये धागे। हर समस्या का हैं होते,सफल तोड़ ये धागे प्रीत का बंधन... Hindi · कविता 1 1k Share Neelam Sharma 3 Jun 2017 · 1 min read सीख लिया है। ज़ख्मों पर पैमंद। सुनो, आजकल मैंने ज़ख्मों का मेकप करना सीख लिया है। तेरी भूली बिसरी यादों से मैंने ब्रेकअप करना सीख लिया है। आंखों में तैरते एकाकीपन को, मुस्कान... Hindi · गीत 357 Share Neelam Sharma 3 Jun 2017 · 1 min read वियोग वियोग। इसका मिलन ही इलाज है, है ये लाइलाज, दिल का रोग। हैं बहुत से सहते इसे,सारी उमर और लेते कुछ रिश्तों से जोग। जो तड़पाता विरह की पीड़ा में... Hindi · गीत 321 Share Neelam Sharma 3 Jun 2017 · 1 min read प्रकृति हाइकु प्रकृति सुंदर सृष्टि सींचे इंद्रधनुष खुशी सिंदुरी। फैला गंदगी शोध समीक्षा करें मानव। बुढाये ख्वाब साझा धरा का कोना रोती प्रकृति। ढूंढते बच्चे खुशहाल प्रकृति खोजें न मिली। दुखी... Hindi · हाइकु 1 649 Share Neelam Sharma 3 Jun 2017 · 1 min read देखो खिली मन की कली। देखो खिली मन की कली......! मैं चंचला चपला अति हूं कल-कल हर्ष सी बहती नदी। मैं प्रीत के मधुर नाद सी प्रेमी युगल संवाद सी। मेरा नाम क्या तुमको है... Hindi · कविता 212 Share Neelam Sharma 3 Jun 2017 · 1 min read प्रकृति से संवाद। प्रकृति से संवाद......। वाह! अद्भुत! अप्रतीम ! अतीव सुंदर है अचला मेरी। क्या खूब कुदरत-सृष्टि एवं प्रकृति ने सजाई धरा मेरी। हे मां प्रकृति आज तुम मेरा स्नेहिल संवाद ले... Hindi · गीत 584 Share Neelam Sharma 2 Jun 2017 · 1 min read तस्वीर तस्वीर खींचकर कुछ आड़ी तिरछी लकीरें इक दिन कोरे कागज पर। मुझसे भोला बचपन बोला यह तस्वीर तुम्हारी है मां , और मुझे नन्हे हाथों से झंझोला। फिर से पेंसिल... Hindi · कविता 1 590 Share Neelam Sharma 2 Jun 2017 · 1 min read दीवारों के कान। दीवारों के कान। निंदा करना छिपकर सुनना,इंसानों का अरमान। करते बदनाम दीवारों को कि इनके लग गये कान निंदा रस की चाशनी कानों में रस सा घोले कहते दीवारें सुनलेगीं,तो... Hindi · कविता 482 Share Neelam Sharma 1 Jun 2017 · 1 min read बेवफा हाइकु बेवफा शाम सिंदुरी हरजाई सूरज घर न लौटा। बसी रूह में कुछ यादें सुहानी बेवफा पिया। भोला मनवा हरजाई बालम रोज सताए। बूंदें शक की हरजाई मन में बेचैनी... Hindi · हाइकु 1 314 Share Neelam Sharma 1 Jun 2017 · 1 min read शर्म हाइकु शरम/शर्म पर्दा न कर, शर्म आंखों की काफी खुद से डर। मन बांवरा शरम छोड़कर रहा मचल। शरम हया बस नाम के बचे कहते लोग। बनते नेता शरम बेचकर... Hindi · हाइकु 1 236 Share Neelam Sharma 1 Jun 2017 · 2 min read किताबें किताब का बदलता स्वरूप। आधुनिकता और अपने बदलते स्वरूप से विचलित कल पुस्तक मेरे सपने में आई। बैठ समीप मेरे मुझको फिर अपनी व्यथा सुनाई। बोली- बहुत विस्मित विचलित अचंभित... Hindi · लेख 436 Share Previous Page 12 Next