ईश्वर दयाल गोस्वामी Tag: गीत 97 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 2 ईश्वर दयाल गोस्वामी 12 Jun 2022 · 1 min read मृगतृष्णा / (नवगीत) सिलबट्टे पर चटनी जैसा घिसता रहता आदमी । एक यहाँ की, एक वहाँ की डींग मारता । जाने किसकी कहाँ-कहाँ की हींग फाँकता ? ख़ुद जाले में मकड़ी जैसा उलझा... Hindi · गीत 9 12 559 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 10 Jun 2022 · 1 min read पीला पड़ा लाल तरबूज़ / (गर्मी का गीत) पीला पड़ा लाल तरबूज़ । रार पिघलती है ढोलक की, लपट खा गई है सारंगी । नीबू भीतर सब रस सूखा, कुम्हला गई कली-नारंगी । तार गए वीणा के सूज... Hindi · गीत 9 10 655 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 9 Jun 2022 · 1 min read गरम हुई तासीर दही की / (गर्मी का नवगीत) ग़जब दाँद है सही-सही की, गरम हुई तासीर दही की । बिजली गरम, गरम पंखा है कूलर फेंके गरम हवाएँ । पूरब-पश्चिम, उत्तर-दक्षिण से आती हैं उष्ण सदाएँ । छाती... Hindi · गीत 12 12 466 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 8 Jun 2022 · 1 min read अब भी श्रम करती है वृद्धा / (नवगीत) नवदशकों को धता बताकर । मन पर यौवन लेप चढ़ाकर । अब भी श्रम करती है वृद्धा । ममता भरी नदी यह माँ की और सास है सुगर सयानी ।... Hindi · गीत 14 26 400 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 7 Jun 2022 · 1 min read मुँह इंदियारे जागे दद्दा / (नवगीत) लादे सिर पर घर की चिंता मुँह-इँदियारे जागे दद्दा । गहरी साँसें राम नाम ले गाय, बैल को चारा देते । आग जला गुरसी में थोड़ी हाथ सेंकते, पाँव सेंकते... Hindi · गीत 15 18 489 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 6 Jun 2022 · 1 min read नर्मदा के घाट पर / (नवगीत) चल रही पूजा पुरातन नर्मदा के घाट पर । नर्मदा से भी अधिक प्राचीन मंत्रों का सहारा ले,पुरोहित बह रहा है कर्म की विपरीत धारा । कथा है ये सत्य... Hindi · गीत 15 24 464 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 4 Jun 2022 · 1 min read उतरते जेठ की तपन / (गर्मी का नवगीत) जाते-जाते और ज्यादा तप रहा है जेठ अब । चिलचिलाती धूप,लिखती ताप की कविता,कहानी । तिलमिलाती आँख लेकर आई है गर्मी रिसानी । साँस लेते भाप निकले, सिकुड़ता है पेट... Hindi · गीत 8 10 756 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 3 Jun 2022 · 1 min read ठनक रहे माथे गर्मीले / (गर्मी का नवगीत) ठनक रहे माथे गर्मीले । भीतर तपता, बाहर तपता । मिट्टी तपती, पत्थर तपता । पत्ते हरे हुए सब पीले । बिछिया तपती, बिंदिया तपती । आँगन तपता, कुटिया तपती... Hindi · गीत 8 8 414 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 1 Jun 2022 · 1 min read कैसा हो सरपंच हमारा / (समसामयिक गीत) कैसा हो सरपंच हमारा ? टंच-फंच हो, सहनशील हो । कोट पहनकर नोट भरे जो, चोटिल करके चोट भरे जो । पहले मारे फिर पुचकारे, हाथ जोड़ ले फिर धुतकारे... Hindi · गीत 11 16 633 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 31 May 2022 · 1 min read किसकी पीर सुने ? (नवगीत) किससे अपना दर्द कहें हम, किसकी पीर सुनें ? जैसा मैं हूँ वैसा तू है ऐंसे ही हैं हम सब । जितना मैं हूँ उतना तू है इतने ही हैं... Hindi · गीत 12 16 597 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 28 May 2022 · 1 min read नदी की पपड़ी उखड़ी / (गर्मी का नवगीत) तपे, घाट के पाट, नदी की पपड़ी उखड़ी ।। कि उठती गरम-गरम अब पीर , नदी के तप्त हृदय से । कि रीता रस-रस मीठा नीर , रेत पर लिखे... Hindi · गीत 10 10 655 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 27 May 2022 · 1 min read गर्मी का रेखा-गणित / (समकालीन नवगीत) खींचती है उष्ण-चतुर्भुज, गर्मी अपने बिन्दु-बिन्दु से ।। खींचती है वक्र रेखाएँ लपट कीं पसीने के कोण पर यह । बनाती है वृत्त लू के बाह्य,भीतर गली,घर औ' मोड़ पर... Hindi · गीत 12 12 386 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 26 May 2022 · 1 min read तपों की बारिश (समसामयिक नवगीत) नीर बरसा, तपतपाते जेठ में भी । रोहिणी में शीतला के, मेघ बरसे घरघराते । कुरितु आई बूँद लेकर, तड़ित चमकी कड़कड़ाते । अँध उड़ती, हवा चलती, पेड़ उखड़े, तार... Hindi · गीत 10 11 318 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 22 May 2022 · 1 min read रूखा रे ! यह झाड़ / (गर्मी का नवगीत) रूखा रे ! यह झाड़, धूप में खड़ा, भरोसे ।। चट-चट करती शाख, तने से छाल उतरती । पत्ते गिरे ज़मीन, तपन से आँच उभरती ।। वर्षा की उम्मीद हृदय... Hindi · गीत 15 20 399 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 20 May 2022 · 1 min read गर्म साँसें,जल रहा मन / (गर्मी का नवगीत) गर्म साँसें, जल रहा मन । चढ़ रहा पारा,उपरितन । नाक ढकते, कान ढकते, नख बराबर बंद हैं, पर, दग्ध-वायु जोर देकर खोल देती देह के दर । चिपचिपाता स्वेद... Hindi · गीत 8 10 606 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 17 May 2022 · 1 min read उफ ! ये गर्मी, हाय ! गर्मी / (गर्मी का नवगीत) उफ ! ये गर्मी, हाय ! गर्मी, झर चुके सब पात, सुख के । चिटचिटाती शाख, मन की, चिपचिपाती धाक, तन की । तड़फड़ाते जीव-जन्तु, कसमसाते प्रेम-तन्तु । उफ !... Hindi · गीत 10 8 708 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 14 May 2022 · 1 min read तप रहे हैं दिन घनेरे / (तपन का नवगीत) भाप बहती है सबेरे, तप रहे हैं दिन घनेरे । आँख तपती, कान तपते, तप रही है वात बहती । साँझ तपती, याम तपते, तप रही है रात ढहती ।... Hindi · गीत 10 18 424 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 10 May 2022 · 1 min read सूरज से मनुहार (ग्रीष्म-गीत) अरे ! भाई सूरज समझ,सोच,गुन । अजब तेरी भक्ति, गजब तेरी शक्ति । मगर यार मेरी जरा टेर सुन । अजब तेरी किरणें, गजब तेज उनमें । मगर यार धरती... Hindi · गीत 8 10 312 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 8 May 2022 · 1 min read तप रहे हैं प्राण भी / (गर्मी का नवगीत) गर्मियों में तपी धरती तप रहे हैं प्राण भी । झकर उतरी जंगलों की झुलसतीं हैं पत्तियाँ सब, ठूँठ-से ठाँड़े हैं बिरछा, सिसकतीं हैं डालियाँ सब । लपट लेकर हवा... Hindi · गीत 9 16 504 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 6 May 2022 · 1 min read बूँद-बूँद को तरसा गाँव बूँद-बूँद को तरसा गाँव । बोर खुदे पाइपलाइन है, घरों-घरों में टोंटी नल है । कुएँ बहुत हैं ताल खुदे हैं, कहीं न लेकिन किंचित जल है । सूखे पत्ते... Hindi · गीत 12 12 488 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 16 Apr 2022 · 1 min read पिता मेरे / :: पिता मेरे :: ---------------- क्या सही है ? क्या गलत है ? जानते थे पिता मेरे । दे रही थी एक पैनी दृष्टि हम पर रोज पहरा । मुस्कुराहट... “पिता” - काव्य प्रतियोगिता एवं काव्य संग्रह · गीत 36 74 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 11 Apr 2022 · 1 min read नैनन छाए मेघ / नैनन छाए मेघ हृदय की बारिश नहीं हुई । आना-जाना लगा बराबर माथे पर बादल का । गिरगिट जैसा लगा बदलने रूप-कोर-काजल का । कल तक तो गुलमोहर खिले थे,... Hindi · गीत 8 6 206 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 8 Apr 2022 · 1 min read बूँद-बूँद बरसी मन,पीड़ा / बूँद-बूँद बरसी मन,पीड़ा । आँख पड़ी किरकिरी दृष्टि की, कान थके पर निंदा सुन-सुन । पोर-पोर विक्षत अँगुलियाँ, आरामी खटिया को बुन-बुन । खून चूसता सुख का कीड़ा । पाँव... Hindi · गीत 6 4 195 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 7 Apr 2022 · 1 min read मुँह इंदियारे जागे दद्दा / लादे सिर पर घर की चिंता मुँह-इँदियारे जागे दद्दा । गहरी साँसें राम नाम ले गाय, बैल को चारा देते । आग जला गुरसी में थोड़ी हाथ सेंकते, पाँव सेंकते... Hindi · गीत 8 6 203 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 7 Apr 2022 · 1 min read सीमा रेखा स्वार्थ,लोभ की फसल उग रही चरनोई की अब धरती पर । गैयें भूखीं, क्षुधित बैल हैं, कुत्तों का भी भोजन छीना । पीड़ित हैं बकरियाँ,भेड़ भी, बिल्ली को आ रहा... Hindi · गीत 7 6 225 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 5 Apr 2022 · 1 min read ओ मेरे !.... ओ मेरे ! अवकाशवादी मन, ओ मेरे ! अवसादवादी मन , घुट-घुट कौन जिए ? आँसू रोक लिए हैं तूने, मुस्कानें कैसे आएँगीं ? दुविधा थाम रखी है तूने, सुविधाएँ... Hindi · गीत 8 6 348 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 5 Apr 2022 · 1 min read ढिग धर बोए गए जवारे / लीपे गए आज घर सारे, ढिग धर बोए गए जवारे । माँ के आने की उत्कंठा । बजने लगीं घंटियाँ,घंटा । जाग गई हैं सुगर नारियाँ, गाती जातीं मधुर गारियाँ... Hindi · गीत 8 6 213 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 4 Apr 2022 · 1 min read आश्वासन भरपूर / आश्वासन भरपूर जितने चाहो,उतने ले लो । सूरज ले लो, चंदा ले लो, ध्रुव-तारा भी तोड़ लाऊँगा । धूम्रकेतु औ' पुच्छल तारे, हर-घर में लटका जाऊँगा । अंतरिक्ष का नूर... Hindi · गीत 8 6 200 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 4 Apr 2022 · 2 min read देश हमारा बदल रहा है / देश हमारा बदल रहा है । राजपथों पर टहल रहा है । कंकड़, पत्थर बाली गलियाँ । बिना खिले ही सूखी कलियाँ । बगिया फिर भी अजर-अमर है । नवयुग... Hindi · गीत 8 8 222 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 2 Apr 2022 · 1 min read व्यथित आस्था ढारती है जल सबेरे एक माता मूर्तियों पर । आर्द्र तन है शुष्क मन है, वेदना में भी लगन है । पीर सबकी माँ हरेगी । धान्य से कुटिया भरेगी... Hindi · गीत 6 4 361 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 14 Jun 2021 · 1 min read नहीं चाहिए अच्छे दिन ये नहीं चाहिए अच्छे दिन ये, मुझे दिला दो फिर से कोई वही पुराने दिन बुरे । जीभ जला देता है काढ़ा । तीखा-तीखा गाढ़ा-गाढ़ा । घर का खाना रोज़-रोज़ मैं... Hindi · गीत 9 8 321 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 5 Jan 2020 · 2 min read कैसे कह दूँ , है नया वर्ष ? कैसे कह दूँ , है नया वर्ष ? प्रकृति में दिखता नहीं हर्ष । ये धुंध कुहासा छट जाए । बे-मौसम बादल हट जाए ।। ठिठुरन ये ज़रा मंद भी... Hindi · गीत 8 10 420 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 31 Jul 2018 · 1 min read प्यार तेरा न आया है (नवगीत) इस घर की चौखट पर अब-तक प्यार तेरा न आया है । चींटीं आईं , चींटे आए ; छिपकलियों की गश़्त भीत पर । दीमक लगते, बिच्छू आते ; मक्खी... Hindi · गीत 6 4 335 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 16 May 2017 · 1 min read फिर से बचपन आ जाता गीत जाने क्यों लगता है मुझको ? फिर से बचपन आ जाता । खोई हुई ख़ुशी जीवन की और प्यार मैं पा जाता । रोज़ बनाना नये घरौंदे और मिटाना... Hindi · गीत 6 2 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 30 Mar 2017 · 1 min read नहीं हुआ स्पर्श धूप का गीत नहीं हुआ स्पर्श धूप का , मेरे घर और आंगन में । किया न चुंबन रवि किरणों ने , झड़ती इन पंखुड़ियों का । अज़ब निराशा में है, जीवन,... Hindi · गीत 4 2 954 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 30 Mar 2017 · 1 min read आंगन को भी जरा लीप दो बिटिया ! रांगोली रचकर तुम , आंगन को भी जरा लीप दो । मुद्दत से उखड़ा-उखड़ा ये , वर्षों से उजड़ा-उजड़ा ये ; आंगन तुम्हें निहार रहा है. । कोमल... Hindi · गीत 3 4 892 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 29 Mar 2017 · 1 min read एम.ए.पास न होता (गीत) दिन भर करता काम-काज मैं, रात नींद भर सोता । कितना अच्छा होता जो मैं एम.ए. पास न होता ।। गांव छोड़कर क्यों मैं रहता इस शहरी माहौल में ?... Hindi · गीत 3 2 832 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 26 Mar 2017 · 1 min read शायद ! तुमने मुस्काया है. (नवगीत) स्वच्छंद गगन , सुरभित है चमन, शायद ! तुमने मुस्काया है । झरने का कल-कल,छल-छल ; जैसे- लहराता हो आँचल । ये झंकृत होता मंद पवन , संगीत हुआ मेरा... Hindi · गीत 3 2 796 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 25 Mar 2017 · 1 min read वक्त आ गया है जबाव का वक्त आ गया है, जब़ाब का । हुए बहुत दिन घिसते-पिसते , वेईमानी का जीवन जीते । अब यह ढर्रा नहीं चलेगा , सही माल ही यहाँ गलेगा । लेख-जोख... Hindi · गीत 3 2 769 Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 17 Mar 2017 · 1 min read फाग गीत आओ मिलकर गाएं फाग । छेड़ें समरसता का राग । । हुए बहुत दिन लड़ते-लड़ते , बात-बात पर खूब झगड़ते । लेकिन बात बनी न अब तक, फिर क्यों ?... Hindi · गीत 3 2 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 1 Jan 2017 · 1 min read ग़ुजरा साल पुराना नई-नई सौगातें देकर, ग़ुजरा साल पुराना । नोटों को भी बंद करा कर , बाजारों को मंद करा कर । नयी व्यवस्था की कोशिश में, तुगलकी फ़रमान दिला कर ।... Hindi · गीत 3 4 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 31 Dec 2016 · 1 min read आदमी (नवगीत) नवगीत श्याम-पट पर अक्षरों-सा नहीं चमकता आदमी । अक्षरों पर श्याम-पट-सा काला दिखता । ज़हर ज़माने का काग़ज पर है यह लिखता । अंधकार में जुगनू जैसा नहीं दमकता आदमी... Hindi · गीत 3 2 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 20 Dec 2016 · 1 min read नवगीत शिशिर अब, रोमांस नहीं , गुनगुनाती धूप में । आँख की गहराई में आँसुओं का जलधि है । ज्वार- जैसा उछल जाना सदा इसकी. नियति है । वर्जना की काई... Hindi · गीत 3 6 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 16 Dec 2016 · 1 min read ज़िंदग़ी सिगरेट का धुआँ (नवगीत) ज़िंदग़ी सिगरेट का धुआँ । कहीं खाई, कहीं कुआँ । ज़रदे जैसी यह ज़हरीली , लाल - हरी और नीली-पीली । बढ़ती देख सदा जलती है , जैसे जले रुआँ... Hindi · गीत 4 11 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 8 Dec 2016 · 1 min read यश के पाँवों में छाले हैं जो भी घर के रखवाले है, उनके होंठों पर ताले हैं । धूल सभ्यता की आँखों में, यश के पाँवों में छाले हैं । कल तक हम जिन पर थे... Hindi · गीत 4 14 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 25 Nov 2016 · 1 min read मेरा हर्ष मनाया जाए (शाश्वत-गीत) जिस दिन मैं दुनियाँ से जाऊँ, मेरा हर्ष मनाया जाए। हुए बहुत दिन जिंदा रहते, अब तो मरना ही होगा । साँसों के आने-जाने को, अब तो थमना ही होगा।... Hindi · गीत 3 14 1k Share ईश्वर दयाल गोस्वामी 18 Nov 2016 · 1 min read रचा नहीं कोई गीत नया हुए बहुत दिन सुनो दोस्तो, रचा नहीं कोई गीत नया । किसी साँप की तरह रेंगता, ग़ुजर रहा है , दिन मेरा । विच्छू जैसा डंक उठाये , अस्थिर है... Hindi · गीत 2 11 1k Share Previous Page 2