लहरों सी होती हैं मुश्किलें यारो,
आज का इन्सान हर *पहर* मर रहा है ।।
*रामपुर से प्रकाशित हिंदी साप्ताहिक पत्र*
वेलेंटाइन डे समन्दर के बीच और प्यार करने की खोज के स्थान को
हुनर का नर गायब हो तो हुनर खाक हो जाये।
उल्फत अय्यार होता है कभी कबार
वैसे थका हुआ खुद है इंसान
यदि मुझे काजल लगाना पड़े तुम्हारे लिए, बालों और चेहरे पर लगा
स्त्री
Dr. Chandresh Kumar Chhatlani (डॉ. चंद्रेश कुमार छतलानी)
सच्चे हमराह और हमसफ़र दोनों मिलकर ही ज़िंदगी के पहियों को सह