Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
0
Notifications
Settings
शेखर सिंह
22 Followers
Follow
Report this post
16 Apr 2024 · 1 min read
जिस्मों के चाह रखने वाले मुर्शद ,
जिस्मों के चाह रखने वाले मुर्शद ,
रूह से मोहब्बत नहीं करते.
🙂🙂
Tag:
Quote Writer
Like
Share
151 Views
Share
Facebook
Twitter
WhatsApp
Copy link to share
Copy
Link copied!
You may also like these posts
धर्म युद्ध जब चलना हो तो
ललकार भारद्वाज
मिले हम तुझसे
Seema gupta,Alwar
मुखौटा
Yogmaya Sharma
3012.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
आक्रोष
Aman Sinha
*बचकर रहिएगा सॉंपों से, यह आस्तीन में रहते हैं (राधेश्यामी छंद
Ravi Prakash
शैतानी दिमाग
Rambali Mishra
नववर्ष संकल्प
Shyam Sundar Subramanian
आपने खो दिया अगर खुद को
Dr fauzia Naseem shad
किस तरिया रोने तै डट ज्या बैठा बाजी हार के
Baldev Chauhan
दोहा त्रयी. . .
sushil sarna
रोक दो ये पल
Surinder blackpen
क़िस्मत हमारी ख़ुद के ही पहलू से आ मिली
अंसार एटवी
भले ई फूल बा करिया
आकाश महेशपुरी
Ever heard the saying, *"You are the average of the five peo
पूर्वार्थ
शुभ दिवाली
umesh mehra
अपना नैनीताल...
डॉ.सीमा अग्रवाल
ढूंढा तुम्हे दरबदर, मांगा मंदिर मस्जिद मजार में
Kumar lalit
आल्हा छंद
seema sharma
Prayer to Absolute
Sanjay Narayan
कुछ नहीं
Kunal Kanth
मेरे दिल ओ जां में समाते जाते
Monika Arora
"किस पर लिखूँ?"
Dr. Kishan tandon kranti
■ क्यों ना उठे सवाल...?
*प्रणय*
इंसान बहुत सोच समझकर मुक़ाबला करता है!
Ajit Kumar "Karn"
यूं साया बनके चलते दिनों रात कृष्ण है
Ajad Mandori
सूख कर कौन यहां खास ,काँटा हुआ है...
sushil yadav
नवरात्रा तीसरा ★ तृतीय अंक ★* 3* दो स्तुतियां
मधुसूदन गौतम
तमगा
Bodhisatva kastooriya
काली भजन
श्रीहर्ष आचार्य
Loading...