Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
24 Mar 2024 · 1 min read

“आत्मावलोकन”

“आत्मावलोकन”
सारे तीरथ घूम कर,
घर आये सिर मुड़ाय;
उर अन्तस झाँके नहीं,
कैसे बैकुण्ठ को जाय।

3 Likes · 3 Comments · 109 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Dr. Kishan tandon kranti
View all

You may also like these posts

कलम , रंग और कूची
कलम , रंग और कूची
Dr. Kishan tandon kranti
Life
Life
Neelam Sharma
Modular rainwater harvesting
Modular rainwater harvesting
InRain Construction Private Limited
Janab hm log middle class log hai,
Janab hm log middle class log hai,
$úDhÁ MãÚ₹Yá
बड़ी शान से नीलगगन में, लहर लहर लहराता है
बड़ी शान से नीलगगन में, लहर लहर लहराता है
Dr Archana Gupta
*** आप भी मुस्कुराइए ***
*** आप भी मुस्कुराइए ***
Chunnu Lal Gupta
'कह मुकरी'
'कह मुकरी'
Godambari Negi
गुरु और गुरू में अंतर
गुरु और गुरू में अंतर
Subhash Singhai
कविता
कविता
Nmita Sharma
भारत रत्न
भारत रत्न
Khajan Singh Nain
साँझ का बटोही
साँझ का बटोही
आशा शैली
प्रिय किताब
प्रिय किताब
SATPAL CHAUHAN
थोड़ा सा तो रुक जाते
थोड़ा सा तो रुक जाते
Jyoti Roshni
ऐसा कहा जाता है कि
ऐसा कहा जाता है कि
Naseeb Jinagal Koslia नसीब जीनागल कोसलिया
*पढ़-लिख तो बेटी गई किंतु, पढ़-लिख कर भी वह हारी है (राधेश्य
*पढ़-लिख तो बेटी गई किंतु, पढ़-लिख कर भी वह हारी है (राधेश्य
Ravi Prakash
मिथ्या इस  संसार में,  अर्थहीन  सम्बंध।
मिथ्या इस संसार में, अर्थहीन सम्बंध।
sushil sarna
3838.💐 *पूर्णिका* 💐
3838.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
संसार का स्वरूप
संसार का स्वरूप
ठाकुर प्रतापसिंह "राणाजी "
वर्ण पिरामिड
वर्ण पिरामिड
Rambali Mishra
ता थैया थैया थैया थैया,
ता थैया थैया थैया थैया,
Satish Srijan
#लघुकथा-
#लघुकथा-
*प्रणय*
सुन मुसाफिर..., तु क्यू उदास बैठा है ।
सुन मुसाफिर..., तु क्यू उदास बैठा है ।
पूर्वार्थ
लोकतंत्र
लोकतंत्र
Kapil Kumar Gurjar
नजरों से गिर जाते है,
नजरों से गिर जाते है,
Yogendra Chaturwedi
हमने किस्मत से आंखें लड़ाई मगर
हमने किस्मत से आंखें लड़ाई मगर
VINOD CHAUHAN
ग़ज़ल
ग़ज़ल
Neelofar Khan
इंतजार
इंतजार
शिवम राव मणि
आज तो मेरी हँसी ही नही रूकी
आज तो मेरी हँसी ही नही रूकी
MEENU SHARMA
चांद सी चंचल चेहरा 🙏
चांद सी चंचल चेहरा 🙏
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
मुक्तक
मुक्तक
डी. के. निवातिया
Loading...