Posts Poetry Writing Challenge 305 authors · 6209 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 4 Next Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read मधु मालती छंद आए अयोध्या राम हैं। सांचा प्रभू का नाम है।। दीपों सजी दीपावली। काली निशा देखो टली।। हर द्वार नौबत हैं बजीं। नवदीप से नगरी सजी।। हरिक दीप में उजास दो।... Poetry Writing Challenge 1 237 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read सुमित्र (रसाल) छंद…… मरीचि दिनकर की,भरती है जग में उमंग। विभोर है प्रकृति,चहुंदिश उठ रही तरंग।। वितान पीत वर्ण,जिसका आदि और न अंत। बिखेर कर सुंगध,झूमता आ गया बसंत।। रंजना माथुर अजमेर राजस्थान... Poetry Writing Challenge 1 279 Share Ghanshyam Poddar 15 Jun 2023 · 1 min read शिलालेख बेटे ! उठाओं उत्कर्णक और लिखों पाषाणों पर एक नया इतिहास सच सच l सोचो मत की कि पत्थर दिल वाले या सत्य का सामना न कर सकने वाले विकलांग... Poetry Writing Challenge · कविता 1 206 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read महसूस मैं अपने संग में होता हुआ, दगा महसूस करता हूं कभी कभी अपने आप को ठगा महसूस करता हूं वोही छल करते हैं जिन्हें मैं सगा महसूस करता हूं कभी... Poetry Writing Challenge · 25 कविताएं · कवि आजाद मंडौरी · कविता · ग़ज़ल · हिंदी कविताएं 2 175 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read सायली छंद - - - 🌺🍀 मेहनत कभी भी न जाती व्यर्थ देती सदा सुपरिणाम 🌺🍀 यदि हो तुम एक श्रमशील पुरुष कदम चूमेगी सफलता 🌺🍀 माँ तेरा श्रम करता है निर्माण एक नागरिक का... Poetry Writing Challenge 1 212 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read अमत्ता घनाक्षरी डमरू घनाक्षरी का ही एक रूप दिनकर चमकत नभ नव दमकत। खग गण विचरत स्वर मधुर करत। झिरझिर झरझर जलद बरस कर। तड़ित चमक कर पड़त जगत पर। अब बहत... Poetry Writing Challenge 2 282 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read जिंदगी जिंदगी में, अटखेलियां बहुत हैं सुलझाते रहो पहेलियां बहुत हैं खुशियों को आमंत्रित करो ज़रा इच्छाओं को नियंत्रित करो ज़रा हौंसलों को बुलन्द करके जिओ इस जीवन से द्वंद करके... Poetry Writing Challenge · 25 कविताएं · कवि आजाद मंडौरी · कविता · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका 2 202 Share Mohini Tiwari 15 Jun 2023 · 1 min read मजदूर जो हैं बेबस , लाचार , विकल दिखता नहीं जिनके दुःखों का हल । मिलती नहीं जिन्हें भरपेट रोटी खुशियाँ जिनकी तिनकों-सी छोटी । जो लहू भरे पगों से गिरते-पड़ते... Poetry Writing Challenge 1 81 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read मनहरण घनाक्षरी विषय - बेटी बेटी है स्वर्ग की परी बेटी बगिया है हरी बेटी से ही पीढ़ी तरी मान उसे दीजिए। बेटी पूजा की महक बेटी खुशी की चमक पंछियों की... Poetry Writing Challenge 139 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read वो नेक हैं तो नेक सही वो नेक हैं तो नेक सही, हम फेक हैं तो फेक सही रिश्ता बहुत पक्का टूटा, खुदा का है ये लेख सही गरूर में अंधा ना बन तू, नैन खोल... Poetry Writing Challenge · 25 कविताएं · कवि आजाद मंडौरी · कविता · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका 1 66 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read तोमर छंद पितु मात के अहसान, चुक पाना न आसान। माँ साक्षात भगवान, कर दे हमें सब दान। निस्वार्थ उनका प्यार,प्रभु भी गए हैं हार। मिले उनका आशीष,नत उनके सम्मुख शीश। न... Poetry Writing Challenge 2 116 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read गैरों से संपर्क जब से तुम्हारा, गैरों से सम्पर्क हो गया है तब से ही हमारे 'रिश्ते में फ़र्क हो गया है तेरे अंदाज़ से तो लगता है तुम मज़े में हो पर... Poetry Writing Challenge · 25 कविताएं · कवि आजाद मंडौरी · कविता · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका 1 64 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read तिलका छंद…. (विश्व पर्यावरण दिवस पर ) बरखा बरसे न जिया तरसे। शुचि वायु बहे दुख ही न रहे। चिड़िया चहकें बगिया महके। खिलते फुलवा खुश हो मनवा। मकरंद भरा उड़ता भंवरा।... Poetry Writing Challenge 1 110 Share Mohini Tiwari 15 Jun 2023 · 1 min read चल अकेला... चल अकेला, बढ़ अकेला बढ़ अकेला, चल अकेला । चाह तेरी, मार्ग तेरा काम न आएगा मेला चल अकेला, बढ़ अकेला ...। प्राण-तन सब छक चुके हैं बूंद न मिलती... Poetry Writing Challenge 179 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read उल्लाला छंद सवित किरण जगमग भयी, हलचल मची है पनघट। जगत नियन्ता खोल दो मनमोहन अब नयन पट। मुरली अधरन साजती, गल बैजंती माल है। मोर मुकुट मोहक छवि, वह गिरधर गोपाल... Poetry Writing Challenge 100 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read वागीश्वरी सवैया विधाता पिता है सभी का दुखों को मिटाता दया चाहते हैं सभी। सवेरा वही है निशा भी वही है कभी छांव है धूप भी है कभी। हमारे चहुंओर विस्तीर्ण ये... Poetry Writing Challenge 106 Share Sûrëkhâ 15 Jun 2023 · 1 min read निकाल देते हैं *निकाल देते हैं* रिश्तों का संतुलित अनुपात निकाल देते थे। प्यार से नफ़रत की औकात निकाल देते थे।। जिस तरह निकाल देते हैं दालों से पत्थर- पुराने लोग बिगड़ी हुई... Poetry Writing Challenge · इंसानियत · कविता · प्रेम में अखरना · रिश्तो में उदारता · साहित्यपीडिया 6 2 146 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read मेरा जिगर कई बार छोला है उसने मेरा जिगर कई बार छोला है उसने मेरी जिदंगी में ज़हर घोला है उसने मैं बस, सिर्फ़ और सिर्फ़ तुम्हारी हूं मुझसे कई बार झूठ बोला है उसने कभी जो... Poetry Writing Challenge · 25 कविताएं · कवि आजाद मंडौरी · कविता · ग़ज़ल · गीत 2 1 85 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read "गीता छंद" रिमझिम गिरें हैं फुहारें,बह रही मधुर बयार। दादुर मयूर पपीहरा,गाएं मेघ मल्हार।। सरिता गिरि कानन प्रमुदित, और शीतल पवमान। पावस का हुआ आगमन,ऋतु के नए प्रतिमान।। श्यामल मेघावरि नभ में... Poetry Writing Challenge 84 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read मुक्तक मुक्तक - - भोर से पहले आ पहुँचा घर-घर ये प्यारा हुड़दंग। सबके मुखों पर लिपटा है लाल गुलाबी पीला रंग।। होली आई प्रेम नेह की भूलो बैर शत्रुता को,... Poetry Writing Challenge 82 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read इश्क़ जंजाल सब्र करते नहीं बनता कुछ हाल ही ऐसा है इश्क-ए-उल्फ़त का कुछ ख्याल ही ऐसा है लाखों कोशिशें करली हैं, सुलझाने की मैने कबसे उलझा हुआ हूं, ये सवाल ही... Poetry Writing Challenge · 25 कविताएं · कवि आजाद मंडौरी · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका · हिंदी कविताएं 2 1 115 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read ताटंक छंद मधुर मधुर दीपक तुम जलना, आएगी जब दीवाली। सारे तम ही मिट जाएंगे, बीत गईं रातें काली।। पर्व तभी जब सब हँसते हों,हर घर किलकारी गूँजे। हर घर बसे समृद्धि... Poetry Writing Challenge 67 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read दोहे दोहे…. त्राहिमाम क्रंदन करे,मानव दुखी अपार। एक आस तुझ पर टिकी, कर दे बेड़ा पार।। सृष्टि जगत नियन्ता की, हर इक कण है खास। मूढ़ मनुज न धैर्य रखा, खड़ी... Poetry Writing Challenge 88 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read बिछड़न जिस दिन तुम मुझे, बीच सड़क पर छोड़ गई थी उसी दिन तुम सारे रिश्ते नाते मुझसे तोड़ गई थी काफी देर अफ़सोस में खड़ा रहा था मैं उस दिन... Poetry Writing Challenge · कवि आजाद मंडौरी · कविता · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका · शायरी 2 1 101 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read त्रिलोकी छंद……. (1) उगते रवि को नमन,नियम संसार का। स्वार्थी है यह जगत,मोल क्या प्यार का।। (2) बोलो मीठे बैन,बने बिगड़े काज। बात प्रेम से बने, बोल मनुहार का।। (3) बैरी अपना... Poetry Writing Challenge 96 Share सुकृति 15 Jun 2023 · 1 min read Victory Find your own way Through the darkness Cause' you are the only one Who can beat your fears As no one else can. And one day, The darkness will be... Poetry Writing Challenge 70 Share Mohini Tiwari 15 Jun 2023 · 1 min read भीख सुबह-सुबह एक भिखारी बैठ गया दहलीज पर दहलीज पर भिखारी ! मैं बोला खीजकर ; अरे हटो, जाओ कुछ काम करो मेहनत की खाओ, फिर आराम करो दर-दर बैठ जाना,... Poetry Writing Challenge 143 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read लावणी छंद......... क्षितिज हुआ है रक्तिम देखो, रवि किरणों की है लाली। गुंजित विहगवृंद चहकार , उपवन महकी हर डाली।। प्राची की मधुमय पुरवाई, चहुंओर डाला डेरा। देवालय घंटी सुमधुर है, जागो... Poetry Writing Challenge 82 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read इश्क़ का हिसाब एक मुलाकात, हुज़ूर करेंगे तुम्हारा हिसाब जरूर करेंगे जिस में फूले फिरते हो, वो तुम्हारा अहम भी चूर करेंगे तुमने जो फितूर पाला है वो तुम्हारा, वहम भी दूर करेंगे... Poetry Writing Challenge · Pyar Ka Ehsas · कवि आजाद मंडौरी · कविता · ग़ज़ल/गीतिका · हिंदी कविताएं 2 90 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read पंचचामर छंद जपो नमः शिवाय को हरेक पीर मेटते। जटा धरे मयंक वो दुःख को समेटते।। गले सजे भुजंग माल, मात गंग शीश है। कृपालु भक्त की पुकार माँगती अशीष है।। सजी... Poetry Writing Challenge 74 Share Sûrëkhâ 15 Jun 2023 · 2 min read चलो दो हाथ एक कर ले *चलो दो हाथ एक कर ले* आज फिर किसी का साथ कर ले मुनासिब नही की वो साथ चल पायेगा!मगर जरा सी तुम पहल कर दो शुरू ;शायद! वो चला... Poetry Writing Challenge · उम्मीद · कविता · कविता प्रेमाची · कोशिश · साथी 5 3 382 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read दोहे----- प्रकृति पुत्र महाकवि सुमित्रानंदन पंत पर दोहे (1) कौसानी एक ग्राम था,हरीतिमा की गोद। बाल सुमित्रा ने किया,जहां आमोद प्रमोद।। (2) पितु थे गंगा दत्त जी, सरस्वती थी मात। नाम... Poetry Writing Challenge 75 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read सताता है इश्क़ वक्त बेवक्त मुझे, सताता है इश्क़ कांटे की तरह चुभ जाता है इश्क़ जब से चोट इश्क़ में खाई गहरी मन को अब नहीं भाता है इश्क़ जो इश्क़ मेरी... Poetry Writing Challenge · Challange · Poem · इश्क़ · कवि आजाद मंडौरी · कविता 3 90 Share सुकृति 15 Jun 2023 · 1 min read Friends Sometimes they scold you Sometimes they scare you Sometimes they give joy to you But at last, They say goodbye to you. They make you happy They correct you on... Poetry Writing Challenge 83 Share Shyam Tiwari 15 Jun 2023 · 1 min read गीत 28 गीत ***** इस नदी की व्यथाओं को, कौन समझेगा ।। शिराओं में नहीं सूरज, गली में रह गई गोरज, पत्थरों के जंगलों में, कौन पनपेगा ।। 🔥🔥 अनमना मन तनी... Poetry Writing Challenge 1 86 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read मधु मालती छंद आए अयोध्या राम हैं। सांचा प्रभू का नाम है।। दीपों सजी दीपावली। काली निशा देखो टली।। हर द्वार नौबत हैं बजीं। नवदीप से नगरी सजी।। हरिक दीप में उजास दो।... Poetry Writing Challenge 85 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read दुर्मिल सवैया सबसे मिलना अपनेपन से, सबमें वह ईश्वर ही रहता। सब ही उसकी मरजी पर है,मन साफ रखो वह है कहता।। अब छांव रहे बिखरी बिखरी,हर मानव धूप न हो सहता।... Poetry Writing Challenge 79 Share सुकृति 15 Jun 2023 · 1 min read वह कठपुतली अब भाग चली वह कठपुतली अब भाग चली धागों में बंधी थी जो वह कठपुतली अब भाग चली हीरों से जड़ी थी जो। तोड़ के हर डोर जिससे वह बंधी थी अपनी कमान... Poetry Writing Challenge 79 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read सार छंद - - नीहार सजित पल्लव पल्लव,झरे तुषार अनूठा दिखता अलसाया सा विहान लागे दिनकर रूठा शाख-शाख तुहिनों के मौक्तिक,दिप दिप दमक रहे हैं कंपन से थर्राते पंछी,इत उत भटक रहे हैं। सर्दी... Poetry Writing Challenge 63 Share Mohini Tiwari 15 Jun 2023 · 1 min read मोहब्बत मोहब्बत - किसी सरोवर के जल में - छुपी मचलती तरंग ; तोड़कर अपने तट की सीमाएँ , रूप ले लेती है भयंकर झंझावात का - जब समाज की कुरीतियाँ... Poetry Writing Challenge 117 Share Ajad Mandori 15 Jun 2023 · 1 min read रात का दामन रात के दामन में, तारे बहुत हैं जगमगाते लगते प्यारे बहुत हैं बहुत रुलाती है बहुत हंसती है रंगीली रात के, नज़ारे बहुत हैं ये दवा भी बनी गवाह भी... Poetry Writing Challenge · कवि आजाद मंडौरी · कविता · कहानी · ग़ज़ल 3 110 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read द्रुतविलम्बित छंद विहग वृंद उमंगित शोर है। उदित भानु तरंगित भोर है।। क्षितिज रक्तिम प्रकृति घेरता। अतुल दृश्य विहान बिखेरता।। गगन शोभित है खग वृंद से। पवन के थपके मृदु मंद से।।... Poetry Writing Challenge 78 Share Mahender Singh 15 Jun 2023 · 1 min read हलके किरदार किरदार ही हल्के थे हलुआ सुस्वादिष्ठ मगर एक चुटकी रेत मिट्टी किरकिरा भरे हुआ,शर्त बस एक थी, वहीं के वहीं पारखी पस्त थे, लोक लुभावने वायदे, कसीदे पढ़ते नारद, छुपा... Poetry Writing Challenge 219 Share Priya princess panwar 15 Jun 2023 · 1 min read ऐसा क्यो होता है ? बहुत मासूम होता है वो जब पैदा होता है अपनी भोली आँखों से दुनिया देखता है फिर हर कदम पर झूठ और फरेब का स्वाद चखता है, दुःखी होता है... Poetry Writing Challenge 2 144 Share Rajesh vyas 15 Jun 2023 · 1 min read यही है चाह हमारी _ गीत हे ईश्वर वरदान दो हमको_काम सभी के आ जाएं। दुर्गुण निकसे सद्गुण उपजे भाव हमे यही भा जाए।। यही है चाह हमारी _लगे हमें दुनिया प्यारी।। (१) भूलों को हम... Poetry Writing Challenge · गीत 1 213 Share Mahender Singh 15 Jun 2023 · 1 min read चित्त में जो शेर है टहलते बादलों का सौंदर्य टकराव से उत्पन्न गर्जना बादलों की गड़गड़ाहट तीव्र गर्जना के साथ अर्चना छुपी है इसमें भी संरचना मन विक्षुब्ध लुप्त तृष्णा छोड़ ना दे कहीं हृदय... Poetry Writing Challenge 264 Share Anil chobisa 15 Jun 2023 · 1 min read कलम टूटी हुई कलम को त्रुटि लिए शब्दों को अशुद्ध व्याकरण को बिखरे मन के भाव को मत रौंदना कभी टुटे फूटे काव्य को यही इतिहास की सच्ची गवाही है बाकी... Poetry Writing Challenge · कविता 207 Share ओमप्रकाश भारती *ओम्* 15 Jun 2023 · 1 min read आओ चलें नर्मदा तीरे आओ चलें नर्मदा तीरे हम सब घूमें धीरे-धीरे मोक्षदायिनी पाप हरणी मेकलसुता सुखकरणी गांव शहर किनारे पावन सुंदर घाट भक्त जोहते मकर संक्रांति की बाट लगी भीड़ जैसी वहां बाजार... Poetry Writing Challenge 2 257 Share Mohini Tiwari 15 Jun 2023 · 1 min read कितना सहज है .... कितना सहज है एक पुरुष के लिए , एक पुष्प और नारी को तोड़कर बिखेर देना । कोई प्रतिरोध या टकराव नहीं तोड़कर बिखेरने में - दोनों अपने माली के... Poetry Writing Challenge 276 Share Ranjana Mathur 15 Jun 2023 · 1 min read गुपाल/भुजंगिनी छंद विदा निशीथ उतरा विहान। व्योम गुंजित खग वृंद गान।। वसुंधरा सज रही अनूप। अंबरांत का नया स्वरूप।। सजित सृष्टि अप्रतिम निखार। उठो सवेरा रहा पुकार।। कलरव नदी निनाद तरंग। दर्शित... Poetry Writing Challenge 204 Share Previous Page 4 Next