भारत की गौरवभूमि में जन्म लिया है
मैंने कभी कुछ नहीं मांगा तुमसे
नव रूप
PRATIBHA ARYA (प्रतिभा आर्य )
*सभी कर्मों का अच्छा फल, नजर फौरन नहीं आता (हिंदी गजल)*
विरह–व्यथा
singh kunwar sarvendra vikram
*हर किसी के हाथ में अब आंच है*
आवारा बादल
पूनम 'समर्थ' (आगाज ए दिल)
धीरे _धीरे ही सही _ गर्मी बीत रही है ।
इरादा हो अगर पक्का सितारे तोड़ लाएँ हम
रूपमाला (मदन ) छंद विधान सउदाहरण
बस कुछ दिन और फिर हैप्पी न्यू ईयर और सेम टू यू का ऐसा तांडव
महाकवि विद्यापति आ महारानी लखिमा देवी: प्रेम प्रसंग!
रख हौसला, कर फैसला, दृढ़ निश्चय के साथ