स्वस्थ तन
स्वस्थ तन को जांचे कैसे
क्या कुछ करने है उपाय
प्रतिदिन करके आठ जतन
तंदरुस्ती शरीर खुद ही बताय
बिना मेहनत के हो पेट सफा
तो पाचन अच्छा है बना
पोष्टिक भोजन सेवन करके
सभी अंग खुश खुश हो जाए
कडी भूख की रोज हो आमद
बिन उसके ना भोजन धारण
श्रम शरीर जो करे नियमित
पेट सुधा भी रहे व्यवस्थित
नींद मुक्त हो चिंताओ से
जिसे सीख ले नवजातो से
बिस्तर पडते ले आगोशो मे
गहन निद्रा दे हर रोग भगाय
चमकदार हो अपनी त्वचा
दाग मुँहासे से दूर सदा
भीतर ना हो रुग्ण जरा भी
खिली कांति से रूप खिला
शरीर भार बढे ना कभी
ग्रहण वसा मात्रा थोडी
चुस्ती फुर्ती बनी रहे सदा
बुढापा फिर ना बने सजा
अंग दुखे जो समय समय पर
बतलावे यह रोग कही पर
दूर करने का एक उपाय
कर्मठ जीवन ही राह दिखाए
आठ मे से पांच प्रहर
ऊर्जा से भर रहे ठहर
हंसते निबटे रोज के काज
आराम ना पल भर आए याद
आशावान बने यह जीवन
सकारात्मक सोच पाये यौवन
दुनिया मे फिर बढता जाए
प्रफुल्लित मन और स्वस्थ तन
संदीप पांडे “शिष्य “