या तुझको याद करूं
जब तू नहीं थी
खुद से बात किया करता था
कभी तन्हाइयों में, कभी खामोशियों में
दिल से दिल की बात
साझा कर लिया करता था
वक्त की परतें खोलकर
गुजरे पल को याद किया करता था
जिन्दगी में तेरा आना क्या हुआ
यहां खुद को भूलने लगे हैं हम
अब तू ही बता
खता क्या है इसमें मेरी
खुद को भूल जाऊं या
तुझको याद करूं