Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
20 Feb 2024 · 1 min read

बसंत

रचना शीर्षक —बसन्त

उल्लास है ,उमंग है, रंग में बसन्त है
ध्यान ,कर्म ,धर्म, मर्म ज्ञानऔर प्रसंग है।।
बजती है बीणा ,डमरू बजता मृदंग है
बहती बयारों में कण कण माँ भारती
चरणों की धूल और फूल है।।

उल्लास है उमंग है रंग में बसंत है
ध्यान ,कर्म ,धर्म ,मर्म ज्ञान और प्रसंग है।।
साध्य साधना के पग पग आराधना के
गूँजते साज और संगीत है।।

उल्लास है उमंग है रंग में बसंत है
ध्यान ,कर्म ,धर्म ,मर्म ज्ञान और प्रसंग है।।
कोयल की मधुर गान आम की
डाली के बौर मधुबन और सुगंध है।।
सुबह संध्या की लाली
चाँद की चाँदनी
नवचेतना का संचार संदेस है।।
उल्लास है उमंग है रंग में बसंत है
ध्यान ,कर्म ,धर्म ,मर्म ज्ञान और प्रसंग है।।
हरियाली झूमती खेतों की बाली
धन धान्य किसान मजदूर का
अभिमान मुस्कान का गांव और देश है।।

उल्लास है उमंग है रंग में बसंत है
ध्यान ,कर्म ,धर्म ,मर्म ज्ञान और प्रसंग है।।
शक्ति की भक्ति माँ के वात्सल्य
का स्नेह प्रसाद का प्रवाह अनमोल
है।।

उल्लास है उमंग है रंग में बसंत है
ध्यान ,कर्म ,धर्म ,मर्म ज्ञान और प्रसंग है।।
सांसो में आश विश्वास
धड़कनों में उठती तरंग है।।

उल्लास है उमंग है रंग में बसंत है
ध्यान ,कर्म ,धर्म ,मर्म ज्ञान और प्रसंग है।।
भाग्य भगवान का आगमन
सत्य अर्थ मार्यादा का गुण गान
का जागृति जागरण परिवेश है।।
उल्लास है उमंग है रंग में बसंत है
ध्यान ,कर्म ,धर्म ,मर्म ज्ञान और प्रसंग है।।

Language: Hindi
Tag: गीत
121 Views
Books from नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
View all

You may also like these posts

रंगीन सी जिंदगी
रंगीन सी जिंदगी
Shutisha Rajput
#संघर्षशील जीवन
#संघर्षशील जीवन
Radheshyam Khatik
बेटी की ताकत पहचाने
बेटी की ताकत पहचाने
D.N. Jha
बेटा राजदुलारा होता है?
बेटा राजदुलारा होता है?
Rekha khichi
तारों जैसी आँखें ,
तारों जैसी आँखें ,
SURYA PRAKASH SHARMA
जब रात बहुत होती है, तन्हाई में हम रोते हैं ,
जब रात बहुत होती है, तन्हाई में हम रोते हैं ,
Neelofar Khan
Upon the Himalayan peaks
Upon the Himalayan peaks
Monika Arora
किसी तरह की ग़ुलामी का ताल्लुक़ न जोड़ इस दुनिया से,
किसी तरह की ग़ुलामी का ताल्लुक़ न जोड़ इस दुनिया से,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
#पितरों की आशीष
#पितरों की आशीष
वेदप्रकाश लाम्बा लाम्बा जी
आत्म साध्य विचार
आत्म साध्य विचार
Neeraj Mishra " नीर "
मुक्तक
मुक्तक
पंकज परिंदा
कमजोर नहीं हूं मैं।
कमजोर नहीं हूं मैं।
अभिषेक पाण्डेय 'अभि ’
"एजेंट" को "अभिकर्ता" इसलिए, कहा जाने लगा है, क्योंकि "दलाल"
*प्रणय*
प्रकृति की सुंदरता देख पाओगे
प्रकृति की सुंदरता देख पाओगे
Sonam Puneet Dubey
महबूब से कहीं ज़्यादा शराब ने साथ दिया,
महबूब से कहीं ज़्यादा शराब ने साथ दिया,
Shreedhar
मैं कहां हूं तुम कहां हो सब कहां हैं।
मैं कहां हूं तुम कहां हो सब कहां हैं।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
''गॉव की वो लड़की करती है प्यार मुझे''
''गॉव की वो लड़की करती है प्यार मुझे''
शिव प्रताप लोधी
14. बात
14. बात
Lalni Bhardwaj
कुमार ललिता छंद (वार्णिक) 121 112 2 7
कुमार ललिता छंद (वार्णिक) 121 112 2 7
Godambari Negi
गम के आगे ही खुशी है ये खुशी कहने लगी।
गम के आगे ही खुशी है ये खुशी कहने लगी।
सत्य कुमार प्रेमी
मुस्किले, तकलीफे, परेशानियां कुछ और थी
मुस्किले, तकलीफे, परेशानियां कुछ और थी
Kumar lalit
ग़ज़ल
ग़ज़ल
आर.एस. 'प्रीतम'
"दास्तान"
Dr. Kishan tandon kranti
जीवित रहने से भी बड़ा कार्य है मरने के बाद भी अपने कर्मो से
जीवित रहने से भी बड़ा कार्य है मरने के बाद भी अपने कर्मो से
Rj Anand Prajapati
रेस
रेस
Karuna Goswami
*13 जुलाई 1983 : संपादक की पुत्री से लेखक का विवाह*
*13 जुलाई 1983 : संपादक की पुत्री से लेखक का विवाह*
Ravi Prakash
नारी है नारायणी
नारी है नारायणी
Namita Gupta
*कलमें इतिहास बनाती है*
*कलमें इतिहास बनाती है*
Shashank Mishra
3043.*पूर्णिका*
3043.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
धनिकों के आगे फेल
धनिकों के आगे फेल
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
Loading...