प्रेम के बहुत चेहरे हैं
प्रेम के बहुत चेहरे हैं,
कुछ मधुर और कोमल,
कुछ उग्र और जुनूनी।
प्रेम के बहुत चेहरे है,
कोई है मीठा सा शहद,
कोई है कड़वी सी औषधी।
प्रेम के बहुत चेहरे है,
पर हर चेहरा है प्रेम का,
हर चेहरा है प्यारा।
– सुमन मीना (अदिति)
प्रेम के बहुत चेहरे हैं,
कुछ मधुर और कोमल,
कुछ उग्र और जुनूनी।
प्रेम के बहुत चेहरे है,
कोई है मीठा सा शहद,
कोई है कड़वी सी औषधी।
प्रेम के बहुत चेहरे है,
पर हर चेहरा है प्रेम का,
हर चेहरा है प्यारा।
– सुमन मीना (अदिति)