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7 Apr 2018 · 1 min read

गजल/गीतिका

ख़याल से ये रिश्ता पुराना लगता है
माहौल यहाँ का बहुत सुहाना लगता है

यहाँ मदद को रहते हैं तैयार सभी
यहाँ का अपनापन ही अपना लगता है

साथ सभी का रहता मुश्किल में यहाँ
हमें नहीं कोई बहाना लगता है

भाई बहनों में आपस में प्रेम यहाँ
बहनों का भी दिल दिवाना लगता है

सब करते मुझको जी भर प्यार यहाँ
मुझको बचपन का जमाना लगता है।
#पं._संजीव_शुक्ल_सचिन

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