खुद बोल उठे
देखी जब इन्साँ की मौका परस्ती
दरवाजे खुद ब खुद बोल उठे
पहले दरवाजे इंसान बन्द करता था
अब अपने आप ही बन्द हो जाते है
देखी जब इन्साँ की मौका परस्ती
दरवाजे खुद ब खुद बोल उठे
पहले दरवाजे इंसान बन्द करता था
अब अपने आप ही बन्द हो जाते है