“कर्म और भाग्य” “कर्म और भाग्य” कर्म सीढ़ी है और भाग्य लिफ्ट। लिफ्ट बन्द हो सकता है, लेकिन कर्म हमेशा ऊँचाई की ओर ले जाता है।