कभी तुम मिलों
नफरते के दौर . .में
ए काश…..
मोहब्बतों की कोई हवा चले
कभी- तुम मिलों
कभी हम मिले
कभी हम मिले
कभी तुम मिलों
ये सिलसिला
यू ही चला चले
कभी तुम कहो
कभी हम कहे
तो रात यू ही ढला करे
कभी तुम सुनो
कभी हम सुने
.तो ये बात से बात
मिला करे
कभी तुम हंसो
कभी हम खुश हो
तो खुशी की कोई हवा
चले जो आहिस्ता आहिस्ता
नफ़रतों को मिटा सके