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4 Nov 2024 · 1 min read

“अल्फ़ाज़ “

“अल्फ़ाज़ ”
इंसानियत दिल में होती है
हैसियत में नहीं,
ऊपर वाला कर्म देखता है
वसीयत को नहीं।

3 Likes · 4 Comments · 18 Views
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