Shekhar Chandra Mitra Language: Hindi 3940 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 7 Next Shekhar Chandra Mitra 31 Mar 2023 · 1 min read कसम है तुम्हें भगतसिंह की कसम है तुम्हें भगतसिंह की किसान का साथ देना होगा अपने देश के सभी मेहनतकश अवाम का साथ देना होगा... (१) अपने वक़्त के जलते हुए सवालों पर होने वाले... Hindi · गीत 509 Share Shekhar Chandra Mitra 30 Mar 2023 · 1 min read दुनिया बदल सकते थे जो दुनिया को बदल सकते थे जो दुनिया ही छोड़कर चले गए उन्हें बुजदिल कहें या संगदिल हमको झकझोर कर चले गए... (१) उनमें तो इतनी हिम्मत थी जान की बाजी... Hindi · गीत 1 245 Share Shekhar Chandra Mitra 29 Mar 2023 · 1 min read विपक्ष आत्मघाती है सत्यानाशी है विपक्ष! सर्वनाशी है विपक्ष!! रेत में शुतुरमुर्ग-सा आत्मघाती है विपक्ष!! विपक्ष जब जितना ही नहीं चाहता तो जनता उसे क्या जिताएगी? भाजपा या आरएसएस नहीं, विपक्ष ख़ुद ही... Hindi · कविता 304 Share Shekhar Chandra Mitra 28 Mar 2023 · 1 min read खुदकुशी नहीं, इंकलाब करो दुनिया के लिए बातिल मत बनो करके खुदकुशी बिस्मिल मत बनो... (१) अपनों की बाबत सोचो तो ज़रा उनकी हसरतों के क़ातिल मत बनो... (२) मुश्किलों से लड़ो वीरों की... Hindi · गीत 1 542 Share Shekhar Chandra Mitra 28 Mar 2023 · 1 min read भूखे भेड़िए सत्ता के भूखे भेड़ियों को होता है पसंद! मासूम भेड़ों और हिरनों के लहू का रंग!! वे चाहते हैं कि होते रहें चारों तरफ! दंगे-फसाद, लूट-मार और युद्ध-जंग! #राजनीति #धर्म... Hindi · कविता 459 Share Shekhar Chandra Mitra 28 Mar 2023 · 1 min read जब-जब तानाशाह डरता है जब-जब तानाशाह डरता है विरोधियों पर हमला करता है उस पर हंसती है सारी दुनिया कैसा-कैसा भेस वह धरता है... (१) हम तो मरेंगे बस एक दिन वह तो हर... Hindi · गीत 198 Share Shekhar Chandra Mitra 28 Mar 2023 · 1 min read मेरे देश के लोग (शेर) भूखमरी से लड़ रहे हैं लोग मेरे देश के! बीमारियों से मर रहे हैं लोग मेरे देश के! तख्त और ताज की मिली-जुली साजिशों से! गट्टरों में सड़ रहे... Hindi · गीत 284 Share Shekhar Chandra Mitra 28 Mar 2023 · 1 min read जय भगतसिंह ऐ भगतसिंह ऐ भगतसिंह हमने किया यह तय भगतसिंह... (१) किसी धर्म का जयकारा नहीं, हम तो करेंगे जय भगतसिंह... (२) हमको विचलित कर न पाएगा कोई लालच या भय... Hindi · गीत 474 Share Shekhar Chandra Mitra 26 Mar 2023 · 1 min read वक़्त के शायरों से एक अपील शायरी करो तो ब्रेख्त की तरह वर्ना बेहतर है कुछ और करो तुम अपने दौर के तक़ाज़ों पर मेरे हम-अस्रों, थोड़ा ग़ौर करो... (१) अपनी गैरत को मत कुचलो अपने... Hindi · गीत 392 Share Shekhar Chandra Mitra 25 Mar 2023 · 1 min read मूर्ख जनता-धूर्त सरकार मूर्ख जनता को मिला करती धूर्त सरकार ही अक़्सर! यहां सयाना वही जो बीच से निकल ले चुपचाप बचकर!! वैसे भी इस अभागे देश का अब कुछ नहीं होने वाला!... Hindi · कविता 505 Share Shekhar Chandra Mitra 25 Mar 2023 · 1 min read इंक़लाब आएगा गैरत को अपनी बेचकर आख़िर क्या पा जाएगा! तू यहां भी पछताएगा तू वहां भी पछताएगा!! कोई लाख सितम कर ले कोई लाख जुलम कर ले! लेकिन इंक़लाब आता है... Hindi · कविता 159 Share Shekhar Chandra Mitra 25 Mar 2023 · 1 min read कहां गए वे शायर? सच पर से पर्दा उठाने वाले शायर कहां गए! सत्ता का चेहरा दिखाने वाले शायर कहां गए!! अपनी क़लम से तलवार का काम लेते हुए! व्यवस्था की नींव हिलाने वाले... Hindi · कविता 2 441 Share Shekhar Chandra Mitra 24 Mar 2023 · 1 min read धर्मगुरु और राजनेता इंसानी चेतना के क़ातिल ये धर्मगुरु और राजनेता! हमारी बर्बादी में शामिल ये धर्मगुरु और राजनेता! विज्ञान और तकनीकी से नौजवानों को दूर करके! उनको बना रहे हैं जाहिल ये... Hindi · कविता 313 Share Shekhar Chandra Mitra 24 Mar 2023 · 1 min read आपातकाल वैसे तो हमारे देश में कोई भी कमी नहीं है! लेकिन जहां होना था जिसे वह वहीं नहीं है!! जनता गुलाम रहने की अपनी पुरानी आदत से! जल्दी छुटकारा पाएगी... Hindi · कविता 177 Share Shekhar Chandra Mitra 24 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह का आख़िरी खत ज़िंदगी हो तो ऐसी हो कि मौत को भी इश्क़ हो जाए! मौत हो तो ऐसी हो कि ज़िंदगी को भी रश्क हो जाए! मैं इस काल कोठरी से लिख... Hindi · कविता 1 255 Share Shekhar Chandra Mitra 24 Mar 2023 · 1 min read घंटा हिलाने वाली कौमें सहराओं में बादल बरसाकर फसलें नहीं उगाया करती हैं! सितारों से आगे जाकर अपनी बस्तियां नहीं बनाया करती हैं!! तुम्हें मालूम भी है भगतसिंह ने क्या कहा था फांसी के... Hindi · कविता 151 Share Shekhar Chandra Mitra 23 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह:एक मुक्त चिंतक अगर आप धार्मिक आतंक से भरे हुए हैं तो! अगर आप जातीय घमंड से भरे हुए हैं तो! आपके लिए नहीं हैं बिल्कुल ही भगतसिंह! अगर आप वर्गीय पाखंड से... Hindi · कविता 255 Share Shekhar Chandra Mitra 23 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह भगतसिंह से हुए हम यूं ही नहीं मुतासिर! कुछ बात तो थी ही उस बंदे में आख़िर! सिस्टम के लिए वह कितना बड़ा चैलेंज था! जेल में रहकर ही उसने... Hindi · कविता 419 Share Shekhar Chandra Mitra 23 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह दरबार सजाना नहीं आता था भगतसिंह को! जयकार लगाना नहीं आता था भगतसिंह को! अपने दौर की नंगी सच्चाइयों से डर कर! निगाहें चुराना नहीं आता था भगतसिंह को! #विद्रोही... Hindi · कविता 474 Share Shekhar Chandra Mitra 23 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह ने कहा था रौंदे हुए ख़्वाबों की बात करो! कुचले हुए जज़्बों की बात करो!! भगवान की बकवास को छोड़कर! इंसान के मुद्दों की बात करो!! #भगतसिंह #चिंतक #विचारक #हल्ला_बोल #विद्रोही #इंकलाब #क्रांतिकारी... Hindi · कविता 359 Share Shekhar Chandra Mitra 22 Mar 2023 · 1 min read पूजा नहीं, सम्मान दें! न बेटियां सुरक्षित न माताएं सुरक्षित! हमारे देश में तो बस गाएं सुरक्षित! अपने को आप भाग्यशाली मानिएगा! अगर अपनी बहनें रख पाएं सुरक्षित! #औरत #लड़की #स्त्री #महिला #देवी #पूजा... Hindi · कविता 346 Share Shekhar Chandra Mitra 22 Mar 2023 · 1 min read सच की ताक़त इस मौत की वादी में भी तू ज़िंदगी का जश्न मना! आज नहीं तो कल तुझे आख़िर वैसे भी है मरना! सच की ताक़त के आगे झूठ की औकात ही... Hindi · कविता 220 Share Shekhar Chandra Mitra 22 Mar 2023 · 1 min read कहे तो क्या कहे कबीर जब मिट गई हो किसी की गैरत जब मर गया हो किसी का ज़मीर आख़िर कहे तो क्या कहे कबीर आख़िर करे तो क्या करे कबीर... (१) इस देश को... Hindi · गीत 309 Share Shekhar Chandra Mitra 22 Mar 2023 · 1 min read विद्रोही मज़हब की कसौटी पर कसने के लिए तैयार नहीं हूं मैं! सियासत के इशारे पर नाचने के लिए तैयार नहीं हूं मैं! सुरक्षा, सुविधा और स्थिरता के मोह में दूसरों... Hindi · कविता 252 Share Shekhar Chandra Mitra 20 Mar 2023 · 1 min read घुटता है दम आख़िर क्या कभी सोचा तुमने क्यों मरा करते हैं मरने वाले! ऐ सांसों पर लगाकर पाबंदी जीने की नसीहत करने वाले! धर्म, सभ्यता और संस्कृति की हमें देंगे दुहाई किस... Hindi · कविता 383 Share Shekhar Chandra Mitra 20 Mar 2023 · 1 min read महाड़ सत्याग्रह मनोस्थिति के बदलते ही परिस्थिति बदल जाती है! क्या धरती-क्या आकाश सबकी गति बदल जाती है!! इस देश के नौजवान अब यह अच्छी तरह समझ लें! परिणति भी बदल जाती... Hindi · कविता 174 Share Shekhar Chandra Mitra 20 Mar 2023 · 1 min read सत्य को सूली तुम संभल जाओ अब भी वर्ना! तुम्हें बहुत पड़ेगा महंगा!! जुल्मतों का दौर है दुनिया में हुक़्मरानों को कुछ मत कहना!! #राजनीति #धर्म #तानाशाही #कवि #असहिष्णुता #ईशनिंदा #आलोचना #बुद्धिजीवी #चोट... Hindi · कविता 628 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Mar 2023 · 1 min read सुधर जाओ, द्रोणाचार्य कहीं ऐसा न हो कि ख़ामख़ाह यहां एक और इंकलाब आए! अब हमारे गुस्से की लपेट में यह ज़ुल्मत का सम्राज्य आए! आख़िर कितना बर्दाश्त करेगा कोई एकलव्य ऐसी हकमारी!... Hindi · कविता 184 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Mar 2023 · 1 min read कुर्सी खाली कर चल कुर्सी खाली कर उठ कुर्सी खाली कर तेरा बहुत हुआ नाटक कुर्सी खाली कर... (१) तूने खाई थीं जो कसमें तूने किए थे जो वादे कैसे उनसे गया पलट... Hindi · गीत 296 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Mar 2023 · 1 min read गुलामी की ट्रेनिंग पहले तो हुई ब्रेन वाशिंग फिर सोशल कंडीशनिंग! आज की नहीं, कल की नहीं, हफ़्ते, महीने या साल की नहीं, जनता को दी गई गुलामी की यहां पीढ़ी दर पीढ़ी... Hindi · कविता 453 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Mar 2023 · 1 min read कालजई रचना उस निर्णायक मौक़े पर जब मानवता की चीखों से हिल उठी थी यह धरती और इस देश या समाज को तुम्हारी सबसे ज़्यादा ज़रूरत थी, तुम एक दरबारी शायर बनकर... Hindi · कविता 187 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Mar 2023 · 1 min read सच बोलने की हिम्मत जिसे कोई लालच नहीं वही सच बोल सकता है! जिसे किसी से डर नहीं वही सच बोल सकता है!! अपने देश और समाज के जलते हुए सवालों पर! जिसे थोड़ा... Hindi · कविता 545 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Mar 2023 · 1 min read जंगल का रिवाज़ यही सदियों से रहा है किसी जंगल का रिवाज़! भेड़ियों से मिलकर ही कोई शेर करता है राज!! और भी आदमख़ोर हो उठता है वह हैवान! बस एक बार ख़ून... Hindi · कविता 149 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Mar 2023 · 1 min read कार्ल मार्क्स ऐ दुनिया के मजदूरों एक हो! गोलियां अफ़ीम की फेंक दो!! आख़िर कैसे न टूटेंगी ज़ंजीरें इंक़लाब की आग में सेंक दो!! #कार्लमार्क्स #कम्यूनिस्ट #श्रम #सर्वहारा #मजदूर #गरीब #हक #शोषित... Hindi · कविता 350 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Mar 2023 · 1 min read परवाज़ की कोशिश बुलंदियां छूने में नाकाम एक परिंदा! अहले-चमन में बदनाम एक परिंदा!! पूरी कोशिश तो की हमने परवाज़ की! लेकर मरा होंठों पर मुस्कान एक परिंदा!! #challenge #हौसला #हिम्मत #प्रेरणा #नौजवान... Hindi · कविता 512 Share Shekhar Chandra Mitra 13 Mar 2023 · 1 min read दुआ तुम हमेशा यूं ही मुस्कुराती रहो यह दुआ है मेरी गुनगुनाती रहो... (१) तुम फूलों में रहो एक कली की तरह किसी पतझर में भी खिलखिलाती रहो... (२) मंदिर में... Hindi · गीत 219 Share Shekhar Chandra Mitra 12 Mar 2023 · 1 min read किसी नौजवान से ऐ थके-हारे सेनानी और ज़रा-सा ज़ोर लगा हो चुकी ज़ंजीर पुरानी और ज़रा-सा ज़ोर लगा... (१) बस्स थोड़ी ही देर में अब ख़त्म होने वाली यह ज़ुल्म की आख़िरी निशानी... Hindi · गीत 230 Share Shekhar Chandra Mitra 12 Mar 2023 · 1 min read आज भी औरत जलती है यहां कल भी औरत जलती थी यहां आज भी औरत जलती है यह आदमखोर तहज़ीब है जो मासूमों के ख़ून पर पलती है... (१) उस शातिर क़ौम के ज़ुल्मों का... Hindi · गीत 206 Share Shekhar Chandra Mitra 12 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह की क़लम आंसू में लहू मिलाकर लिखे हैं गीत हमने प्यार में चोट खाकर लिखे हैं गीत हमने... (१) अपने दौर के सभी जलते हुए सवालों पर दूसरों को चुप पाकर लिखे... Hindi · ग़ज़ल 225 Share Shekhar Chandra Mitra 11 Mar 2023 · 1 min read मैं आग लगाने आया हूं जो सदियों से सोए हुए बस उन्हें जगाने आया हूं मूर्दों की इस बस्ती में मैं आग लगाने आया हूं... (१) मज़हब के रखवालों ने तुम्हारा बेड़ा ग़र्क़ किया इनसे... Hindi · गीत 458 Share Shekhar Chandra Mitra 11 Mar 2023 · 1 min read जय हिन्द वाले हम तो जय हिन्द वाले हैं ज़लज़लों में डेरा डाले हैं... (१) कैसे टूटेंगे इतनी जल्दी वे जो तूफ़ानों के पाले हैं... (२) तुम हमारे पैरों को देखो इनमें सदियों... Hindi · ग़ज़ल 246 Share Shekhar Chandra Mitra 11 Mar 2023 · 1 min read बेइंतहा इश्क़ तेरा इश्क सचमुच इश्क है तो पूरी जात से क्यों न हो सारे मुल्क सारे समाज सारी कायनात से क्यों न हो... (१) खूनी इंक़लाब के बाद तानाशाही आती है... Hindi · गीत 203 Share Shekhar Chandra Mitra 11 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह का क़र्ज़ शहीद भगतसिंह का क़र्ज़ है हम पर एक और इंक़लाब फ़र्ज़ है हम पर... (१) जब तक जुल्मतों का दौर है मुल्क में हर आती-जाती सांस मर्ज़ है हम पर...... Hindi · गीत 188 Share Shekhar Chandra Mitra 10 Mar 2023 · 1 min read रिसते हुए घाव ये सभ्यता के सौदागर ये संस्कृति के ठेकेदार! तुम औरतों के अपराधी हम शूद्रों के गुनहगार! हिंदू राष्ट्र और राम राज्य क्या भर सकेंगे हमारे घाव! हुआ नहीं इस सिस्टम... Hindi · कविता 348 Share Shekhar Chandra Mitra 10 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह के ख़्वाब सरदार भगतसिंह देख रहे हो न तुम आज के हिंदुस्तान को जिस पर तुम्हें था बहुत भरोसा क्या हुआ उस नौजवान को... (१) अदब से लेकर मीडिया और पुलिस से... Hindi · गीत 201 Share Shekhar Chandra Mitra 10 Mar 2023 · 1 min read भगतसिंह मरा नहीं करते हक़ मेरा ईमान है, लोगों सच मेरा पैग़ाम है, लोगों... (१) जिसको तुम सज़ा मानते हो मेरे लिए ईनाम है, लोगों... (२) मैं शाहीन हूं मेरा ठिकाना पिंजरा नहीं, आसमान... Hindi · गीत 244 Share Shekhar Chandra Mitra 9 Mar 2023 · 1 min read बवंडर इधर क़ातिल उधर लूटेरे जत्था बदलकर क्या होगा! व्यवस्था को बदले बिना सत्ता बदल कर क्या होगा! अच्छी तरह हमें उनका इलाज़ करना होगा वर्ना! वे मूतते रहेंगे ऐसे ही... Hindi · कविता 244 Share Shekhar Chandra Mitra 9 Mar 2023 · 1 min read अपने-अपने राम अपने-अपने राम हैं अपने-अपने काम हैं आपके हैं राम कौन आपके हैं काम कौन... (१) एक राम हैं कबीरों के एक राम हैं वजीरों के आपके हैं राम कौन आपके... Hindi · गीत 526 Share Shekhar Chandra Mitra 9 Mar 2023 · 1 min read कबीर के राम रोम-रोम में जो रमता वही राम है कबीरों का ज़र्रे-ज़र्रे में जो बसता वही राम है फकीरों का... (१) किसी मंदिर या मस्जिद का मोहताज नहीं है वह चप्पे-चप्पे में... Hindi · गीत 579 Share Shekhar Chandra Mitra 8 Mar 2023 · 1 min read अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस प्रतिभा, परिश्रम और आत्म-संयम! नारी उन्नति के बस तीन हैं मंत्र!! इन्हें सिद्ध कर अपने जीवन में तुम बदल डालो यह प्राचीन तंत्र!! #WomensDay #सफलता #महिलादिवस #औरत #स्त्री #आत्मनिर्भरता #कामयाबी... Hindi · कविता 477 Share Previous Page 7 Next