VINOD CHAUHAN Language: Hindi 333 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 6 Next VINOD CHAUHAN 11 Jun 2022 · 1 min read रूसवा है मुझसे जिंदगी रूसवा है मुझसे जिंदगी खफा है ये जहाँ बतला दे कोई रास्ता अब जाऊँ मैं कहाँ रूसवा है मुझसे जिंदगी.......... वो ना मिले दिल को थी जुस्तज़ू जिनकी मुस्कुराके एक... Hindi · V9द चौहान · गजल 5 4 316 Share VINOD CHAUHAN 10 Jun 2022 · 1 min read बे-इंतिहा मोहब्बत करते हैं तुमसे छुपाना भी चाहो छुपा ना सकोगे मुलाकात जग जाहिर हो चुकी है बे-इंतिहा मोहब्बत करते हैं तुमसे ये बात भी जग जाहिर हो चुकी है बे-इंतिहा मोहब्बत............ तकते हैं यूँ... Hindi · V9द चौहान · ग़ज़ल 1 2 300 Share VINOD CHAUHAN 10 Jun 2022 · 1 min read आईना झूठ लगे चेहरा देखूँ जब अपना नहीं होता यकिन बहुत हैरान हूँ आज क्यूँ आईना झूठ लगे बहुत हैरान हूँ............... आईना देखा है बहुत मैने पहले भी मगर आज देखूं मैं बार... Hindi · V9द चौहान · ग़ज़ल 2 626 Share VINOD CHAUHAN 9 Jun 2022 · 1 min read गंगा से है प्रेमभाव गर गंगा से है प्रेमभाव गर अरे गंगा को मन में उतार लो शुद्ध कर्म अपनाकर सारे गंगा अपने मन में धार लो गंगा से है प्रेमभाव गर.............. क्या होगा गंगा... Hindi · कविता 2 516 Share VINOD CHAUHAN 8 Jun 2022 · 1 min read उसकी मासूमियत उसकी मासूमियत पे हम दिल गंवा बैठे हैं जिंदगी की फिक्र नहीं हम जाँ लूटा बैठे हैं उसकी मासूमियत पे........... रोज होता है दीदार उनका मगर फिर देखो न जाने... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 1 695 Share VINOD CHAUHAN 7 Jun 2022 · 1 min read आदमी आदमी से डरने लगा है आदमी आदमी से डरने लगा है हर घड़ी आहें बस भरने लगा है दुविधा पल रही सबके दिलों में मरने की ख्वाहिश करने लगा है आदमी आदमी से.............. पहले जैसी... Hindi · कविता 3 2 731 Share VINOD CHAUHAN 7 Jun 2022 · 1 min read जिस नारी ने जन्म दिया जिस नारी ने जन्म दिया है उसकी कोंख लजाते क्यों हो जिस आँचल में बचपन बीता उसी से मुँह छिपाते क्यों हो शर्म हया काफूर हुई सब लाज रही ना... Hindi · कविता 8 6 882 Share VINOD CHAUHAN 6 Jun 2022 · 1 min read बचपन में थे सवा शेर जो बचपन में थे सवा शेर जो यौवन आते वो शेर हो गए सच्चाई इन शेरों की सुनिए शादी होते सब ढ़ेर हो गए बचपन में थे......... जाने कैसा जीवन आया... Hindi · हास्य/हास्य-व्यंग्य 5 2 371 Share VINOD CHAUHAN 5 Jun 2022 · 1 min read हम पर्यावरण को भूल रहे हैं वंशों से जो मिलता आया हम सदाचरण वो भूल रहे हैं प्राणवायु मिलती है जिससे हम पर्यावरण को भूल रहे हैं प्राणवायु मिलती़............ दोहन कर रहे नासमझी मे सभ्यता संस्मरण... Hindi · कविता 4 6 639 Share VINOD CHAUHAN 1 Jun 2022 · 1 min read चलो दूर चलें इस जमाने की रूसवाईयो से चलो दूर चलें दिल की मायूस तन्हाईयों से चलो दूर चलें लोग तकते हैं हमें बेगैरत निगाहों से हरदम क्यों रहें इनकी परछाईयों से चलो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 6 6 308 Share VINOD CHAUHAN 31 May 2022 · 1 min read कहो अब और क्या चाहें कहो अब और क्या चाहें तेरे सिवा हम क्यों किसी और को चाहें तेरे सिवा हम कहो अब और क्या चाहें............... तेरा साथ है तो हैं ये खुशियाँ जहाँ की... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 2 315 Share VINOD CHAUHAN 27 May 2022 · 1 min read रूसवा है मुझसे जिंदगी रूसवा है मुझसे जिंदगी खफा है ये जहाँ बतला दे कोई आके अब जाएंं भला कहॉ रूसवा है........... वो ना मिले थी दिल को जुस्तजू जिनकी मुस्कुराके एक बार वो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 2 241 Share VINOD CHAUHAN 23 May 2022 · 1 min read खंडहर हुई यादें खंडहर हुई यादें अब मैं क्या करूं बेअसर हुई फरियादें मैं क्या करूं कहां जाऊं और किसको पुकारुं जिंदा रहूं मैं या कहीं पर जा मरूं जिंदा रहूं............. लोग कहते... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 2 462 Share VINOD CHAUHAN 14 May 2022 · 1 min read चिंता और चिता सोचूं मैं चिता से चिंता भली या चिंता से चिता ना तो ये जाने है ज़माना ना ही मुझको है पता चिंता आए बिना बुलाए सुनो कड़वी है सच्चाई चिता... Hindi · कुण्डलिया 4 6 1k Share VINOD CHAUHAN 14 May 2022 · 1 min read सारी फिज़ाएं छुप सी गई हैं सागर की लहरें रूक सी गई हैं काली घटाएं झुक सी गई हैं जबसे आए हो तुम पास हमारे सारी फिजाएं छुप सी गई हैं सागर की लहरें...... जाग उठी... Hindi · कविता 3 2 795 Share VINOD CHAUHAN 13 May 2022 · 1 min read सच ही तो है हर आंसू में एक कहानी है सच ही तो है हर आंसू में एक कहानी है इसी का नाम तो जिंदगानी है लोग सुनते हैं बहुत गौर से दास्तां सबकी यही तो बस उनकी मेहरबानी है... Hindi · कविता 2 364 Share VINOD CHAUHAN 10 May 2022 · 1 min read दादी मां की बहुत याद आई सपने में दी आज दिखलाई दादी मां की बहुत याद आई सपनों में जब कभी आती है जैसे रूबरु दादी हो जाती है बहुत देर मुझसे बतियाती है फिर खो... Hindi · कविता 5 6 979 Share VINOD CHAUHAN 9 May 2022 · 1 min read मैं परछाइयों की भी कद्र करता हूं अरे अपनों की तो बात ही क्या मैं गैरों से मोहब्बत करता हूं सच कहता हूं इंसान तो क्या परछाइयों की भी कद्र करता हूं जग से नहीं कुछ ले... Hindi · कविता 2 2 389 Share VINOD CHAUHAN 9 May 2022 · 1 min read तेरी आरज़ू, तेरी वफ़ा सब लोग मुझसे पूछते एक ही सवाल है तेरी आरज़ू तेरी वफ़ा का कैसा हाल है वो छेड़ते हैं ले-लेकर के सब नाम तुम्हारा कहते हैं तेरी दिलरूबा बड़ी बेमिसाल... Hindi · कविता 2 427 Share VINOD CHAUHAN 9 May 2022 · 1 min read हमने प्यार को छोड़ दिया है जबसे दिल तुने तोड़ दिया है हमने प्यार को छोड़ दिया है जब तक तुमने प्रीत निभाई मैंने भी हर पल रीत निभाई जब तुने दामन छोड़ दिया है हमने... Hindi · कविता 1 331 Share VINOD CHAUHAN 8 May 2022 · 1 min read आंचल में मां के जिंदगी महफूज होती है मां बड़ी ममतामई बहुत मासूम होती है होता है दुख संतान को तो मां भी रोती है मानो हमेशा बात उनकी बात ना टालो आंचल में मां के जिंदगी महफूज... Hindi · कविता 3 2 815 Share VINOD CHAUHAN 8 May 2022 · 1 min read कोई मंझधार में पड़ा हैं कोई तुफान में घिरा है तो कोई मंझधार में पड़ा है आदमी-आदमी से जाने कौनसी तकरार में पड़ा है खुद में खो गए हैं अब सबकी अपनी ही दुनिया है... Hindi · कविता 7 2 606 Share VINOD CHAUHAN 7 May 2022 · 1 min read जेब में सरकार लिए फिरते हैं लोग जुबां पे इश्क और हाथ में प्यार लिए फिरते हैं चुरा के गुलाब कहते हैं हम गुलज़ार लिए फिरते हैं हैरान हूं बहुत देखकर ये फितरत जहां में लोगों... Hindi · कविता 3 4 597 Share VINOD CHAUHAN 7 May 2022 · 1 min read रिश्तों की कसौटी रिश्तों की कसौटी पर जो खरा उतर जाए । जिंदगी उसकी खुदबखुद सुनो संवर जाए ।। जो नहीं करता हैं फिक्र या कद्र रिश्तों की ! उसकी जिंदगी बेबस लहर... Hindi · कविता 2 1k Share VINOD CHAUHAN 5 May 2022 · 1 min read मेरा गुरूर है पिता सुनो मेरा हर्ष,मेरा गर्व और मेरा गुरुर है पिता । मेरी सजल इन अंखियों का कोहिनूर है पिता ।। मेरे पिता को है फक्र मुझपे और फ़िक्र है मेरी ।... “पिता” - काव्य प्रतियोगिता एवं काव्य संग्रह · कविता 47 96 1k Share VINOD CHAUHAN 26 Apr 2022 · 1 min read जंगल में एक बंदर आया जंगल में एक बंदर आया पेड़ों को उसने खूब हिलाया बहुत शरारत करता बंदर नहीं किसी से डरता बंदर हाथी शेर भालू से यारी रहती साथ बंदरिया प्यारी बस्ती बस्ती... Hindi · बाल कविता 2 692 Share VINOD CHAUHAN 26 Apr 2022 · 1 min read देखो हाथी राजा आए देखो हाथी राजा आए लिए सूण्ड में बाजा आए केले इनको बहुत हैं भाते गन्ना बड़े चाव से हैं खाते कानों से ये हवा डुलाए मस्ती में ये कदम बढ़ाए... Hindi · बाल कविता 1 517 Share VINOD CHAUHAN 16 Apr 2022 · 1 min read -:फूल:- -:फूल:- सुंदर फूल बसंती फूल खिलते फूल अद्भुत फूल चुनिंदा फूल मदमस्त फूल महकते फूल मचलते फूल लहराते फूल मुस्कुराते फूल शराफ़त के फूल नजाकत के फूल प्रफुल्लित फूल सदाबहार... Hindi · कविता 3 4 619 Share VINOD CHAUHAN 16 Apr 2022 · 1 min read अश्रु देकर खुद दिल बहलाऊं अरे मैं ऐसा इंसान नहीं किसी के दिल को ठेस पंहुचाऊं ये मेरी पहचान नहीं किसी को रौंद के आगे बढ़ जाऊं ये मेरा अरमान नहीं दूनियां के रंग देख चुका हूं अरे क्या होगा... Hindi · मुक्तक 2 2 402 Share VINOD CHAUHAN 15 Apr 2022 · 1 min read कैसी है ये पीर पराई सूनी सांझ,सूना है मन,सूनी है दिल की गहराई सूने मन को कुछ ना भाए,भाए दिल को तन्हाई खोया है क्या समझ ना आए बस दिल घबराए रोना चाहें अश्रु ना... Hindi · मुक्तक 4 303 Share VINOD CHAUHAN 14 Apr 2022 · 2 min read ये जिंदगी एक उलझी पहेली ये जिंदगी एक उलझी पहेली् कभी संगदिल कभी है सहेली ये जिंदगी एक उलझी पहेली कुछ भी करो पर सुलझती नहीं है जितनी भी समझो उलझती रही है किसी की... Hindi · कविता 3 647 Share VINOD CHAUHAN 13 Apr 2022 · 1 min read आंखों में तुम मेरी सांसों में तुम हो हर जगह पर बस तुम ही तुम हो हर धड़कन में बस तुम ही तुम हो जिसको पूछो बस यही कहता है आंखों में तुम मेरी सांसों में तुम हो Hindi · मुक्तक 1 952 Share VINOD CHAUHAN 13 Apr 2022 · 1 min read मां का आंचल हर संकट में ये मां का आंचल हर दुविधा में ये मां का आंचल सिर पर रहता है हरदम सबके हर पीड़ा में ये मां का आंचल आंधी आए ये... Hindi · कविता 5 2 1k Share VINOD CHAUHAN 12 Apr 2022 · 1 min read ना कर गुरुर जिंदगी पर इतना भी ना कर गुरुर जिंदगी पर इतना भी ये ऐन वक्त पर एक दिन दगा देगी तूं मांगेगा दो घड़ी सांस जिंदगी से ये किसी भी वक्त दामन छुड़ा लेगी ये... Hindi · कविता 4 967 Share VINOD CHAUHAN 12 Apr 2022 · 1 min read तूं अपनी शराफ़त को महफूज रखना तूं अपनी लियाकत को महफूज रखना तूं अपनी इबादत को महफूज रखना मेरी मोहब्बत में नुक्स निकालने वाले तूं अपनी शराफ़त को महफूज रखना Hindi · मुक्तक 1 148 Share VINOD CHAUHAN 12 Apr 2022 · 1 min read तितली सी उड़ान है तितली सी उड़ान है या दूध सा उफ़ान है दो पल का तुफान है ये जिंदगी तुम्हारी...... बचपन सी उमंग है यौवन सी तरंग है बुढ़ापे सा भुजंग है ये... Hindi · कविता 1 491 Share VINOD CHAUHAN 12 Apr 2022 · 1 min read पंख कतर डाले हैं डूबे हुए जहान का हाय मैं कैसा बशिंदा हूं कहां जाऊं मैं कैसे जाऊं बेबस सा परिंदा हूं उड़ने लगा हूं ये देखकर मुझको जकड़ लिया पंख कतर डाले मेरे... Hindi · मुक्तक 1 2 143 Share VINOD CHAUHAN 12 Apr 2022 · 1 min read ना वो हवा ना वो पानी है अब नित रोज़ नई कहानी है अब ना वो हवा ना वो पानी है अब लोग खो गए हैं भ्रम के सायों में ना वो बचपन ना वो जवानी है अब... Hindi · कविता 1 351 Share VINOD CHAUHAN 6 Apr 2022 · 1 min read तूं हकीकत है मेरी मैं तो सिर्फ फ़साना हूं जानेमन मैं तेरी हर अदा का दिवाना हूं तूं शमां-ए-महफिल है मैं तेरा परवाना हूं तुझको इस बात का अहसास हो ना हो तूं हकीकत है मेरी मैं तो सिर्फ... Hindi · मुक्तक 2 173 Share VINOD CHAUHAN 5 Apr 2022 · 1 min read फूलों ने महकना तुमसे ही सीखा ये तारों ने चमकना तुमसे सीखा चिड़ियों ने चहकना तुमसे सीखा हम समझ रहे ये सब राज है क्या फूलों ने महकना तुमसे ही सीखा Hindi · मुक्तक 1 229 Share VINOD CHAUHAN 5 Apr 2022 · 1 min read कहां चला अरे उड़ कर पंछी कहां चला अरे उड़ कर पंछी मैं फिर होंगा हरा भरा लौट आएंगी फिर से बहारें फल फूलों से हरा भरा वक्त सभी में आता है पंछी कभी अच्छा कभी... Hindi · कविता 4 5 619 Share VINOD CHAUHAN 5 Apr 2022 · 1 min read कांटों पर उगना सीखो आज बगिया में था सम्मेलन फूलों का और कलियों का लिए शिकायत खड़े हुए थे सब अपनी मंडलियों का कमल सुने फूलों की दूविधा दूर खड़ा हो पानी में तितली... Hindi · कविता 4 566 Share VINOD CHAUHAN 5 Apr 2022 · 1 min read मै बगिया का फूल नहीं पर फूलों सा मुस्काता हूं मैं जंगल का मोर नहीं पर सुंदर नाच दिखाता हूं मैं झरनों सी उमंग लिए हूं मिठे गीत सुनाता हूं दुख करने से क्या मिलना जीवन की सच्चाई है मैं... Hindi · मुक्तक 2 155 Share VINOD CHAUHAN 5 Apr 2022 · 1 min read डगर कठिन हो बेशक मैं तो कदम कदम मुस्काता हूं वक्त मिले तो आकर सुनना मैं गीत सुरिले गाता हूं जीवन की तहजीब बताकर दिल अपना बहलाता हूं नहीं और कोई चाहत दिल में बस होंठों पर गीत रहें डगर... Hindi · मुक्तक 3 2 597 Share VINOD CHAUHAN 5 Apr 2022 · 1 min read मेरी जिंदगी के राजदार हमराज तुम्ही हो मैं शब्द हूं सच्च है मगर आवाज तुम्ही हो मेरी जिंदगी के राजदार,हमराज तुम्ही हो मैं कुछ नहीं हूं बिन तेरे मेरी जिंदगी तुझसे मैं सुर हूं किसी गीत का... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 172 Share VINOD CHAUHAN 4 Apr 2022 · 1 min read अरे दिल के रिश्ते टूट ना जाएं संगदिल बन कोई लूट ना जाए कहीं ये मोहब्बत रूठ ना जाए डर लगता कहीं किसी बात पर अरे दिल के रिश्ते टूट ना जाएं Hindi · मुक्तक 1 138 Share VINOD CHAUHAN 4 Apr 2022 · 1 min read हम इस महफ़िल में ना आएंगे हम तेरी महफ़िल से रूसवा हुए हैं हम इस महफ़िल में ना आएंगे इल्ज़ाम दिया तुमने दिल तोड़ने का हम अपना ही दिल ना बहलाएंगे Hindi · मुक्तक 1 130 Share VINOD CHAUHAN 4 Apr 2022 · 1 min read हम जार जार रो लिए हासिल हुआ कुछ भी नहीं हम बेशुमार रो लिए हासिल हुआ कुछ भी नहीं हम जार-जार रो लिए वे चल दिए मुंह मोड़ कर हमको तड़पता छोड़ कर बहुत बेकरार... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 190 Share VINOD CHAUHAN 4 Apr 2022 · 1 min read मन का कंवल भी खिल जाएगा हर उलझन का हल मिल जाएगा आज नहीं तो कल मिल जाएगा ख़ुदा के संग कर कर्म की पूजा मन का कंवल भी खिल जाएगा Hindi · मुक्तक 1 173 Share VINOD CHAUHAN 4 Apr 2022 · 1 min read खुद से है अजी प्यार जरूरी कभी जीत कभी हार जरूरी खुद से है अजी प्यार जरूरी जाग भी जा ओ सोने वाले वक्त के संग रफ्तार जरूरी Hindi · मुक्तक 1 236 Share Previous Page 6 Next