MITHILESH RAI 503 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 6 Next MITHILESH RAI 5 Oct 2017 · 1 min read मुक्तक अभी रिश्ता दिलों का धड़कनों में चलने दो! अभी #शामे_तन्हाई को रात में ढलने दो! कभी तो मिलेगा हमें भी रास्ता मंजिल का, रोशनी उम्मीद की बेखौफ सा जलने दो!... Hindi · मुक्तक 482 Share MITHILESH RAI 5 Oct 2017 · 1 min read मुक्तक क्यों जिन्दगी में प्यार से डरे हुए हैं लोग? राहों में मददगार से डरे हुए हैं लोग! ठहरी सी परछाइयां हैं मंजिलें बनकर, गमों के कारोबार से डरे हुए हैं... Hindi · मुक्तक 253 Share MITHILESH RAI 2 Oct 2017 · 1 min read मुक्तक गुजरे हुए जमाने की तुम बात न करो! दर्द के अफसाने की तुम बात न करो! कुछ देर तलक होश में रहने दो अभी, जाम के पैमाने की तुम बात... Hindi · मुक्तक 261 Share MITHILESH RAI 1 Oct 2017 · 1 min read मुक्तक काश तुमसे चाहत को बोल पाता मैं भी! काश गाँठें लफ्जों की खोल पाता मैं भी! ठहरी हुई निगाहें हैं मेरी पत्थर सी, काश तेरी बाँहों में डोल पाता मैं... Hindi · मुक्तक 279 Share MITHILESH RAI 29 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तुमको देखकर मेरा दिल मचलता है! तुमको सोचकर मेरा दिल बहलता है! कैसे मैं लगाऊँ जख्मों पर बंदिशें? मुझको गमें-ख्याल दिन रात कुचलता है! मुक्तककार- #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 324 Share MITHILESH RAI 26 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक यूँ ही उम्र तन्हा गुजरती रहेगी! बस तेरा इंतजार करती रहेगी! चाहत तैरती है अश्कों में लेकिन, तेरी याद रगों में चलती रहेगी! मुक्तककार - #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 249 Share MITHILESH RAI 25 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक यादों की करवट से लकीर सी बन जाती है! दिल में तरंगों की तस्वीर सी बन जाती है! जब भी आ जाता है सैलाब तमन्नाओं का, दर्द की कड़ियों की... Hindi · मुक्तक 235 Share MITHILESH RAI 23 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक हार कर भी तेरी कहानी की तरह हूँ! हार कर भी तेरी निशानी की तरह हूँ! ठोकरें खाता रहा हूँ उम्र भर लेकिन, जोशे-जिदंगी में जवानी की तरह हूँ! मुक्तककार-... Hindi · मुक्तक 419 Share MITHILESH RAI 22 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरी चाहत दिल में हरदम रहेगी! करवटें तन्हाई की हरदम सहेगी! बेशुमार गम हैं तेरी बेरुखी के, तेरी याद अश्कों से हरदम बहेगी! मुक्तककार- #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 280 Share MITHILESH RAI 21 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरी चाहत मेरी आदत सी बन गयी है! मेरी जिन्दगी की अमानत सी बन गयी है! पलकों में चलते रहते हैं यादों के कदम, मेरी बंदगी की इबारत सी बन... Hindi · मुक्तक 601 Share MITHILESH RAI 20 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरा कबतलक मैं इंतजार करता रहूँ? तेरी वफा पर मैं ऐतबार करता रहूँ? दफ़न हो गयी है अंधेरों में जिन्दगी, दर्दे-जुदाई में तुमसे प्यार करता रहूँ? मुक्तककार- #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 244 Share MITHILESH RAI 20 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरी यादों की तन्हाई से डर जाता हूँ! तेरी चाहत की परछाई से डर जाता हूँ! टूट गये हैं ख्वाब सभी तेरी रुसवाई से, तेरी जुल्फ की अंगड़ाई से डर... Hindi · मुक्तक 622 Share MITHILESH RAI 18 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक अब तो मंजिलों के भी दाम हो गये हैं! रिश्ते जिन्दगी के नीलाम हो गये हैं! दर्द की लकीरें तैरती हैं अश्कों में, अब तो जख्मों के कई नाम हो... Hindi · मुक्तक 1 401 Share MITHILESH RAI 17 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरा ख्याल जब कभी मुझको चूमता है! हरतरफ फिजाओं में सावन झूमता है! कबतलक मैं रोकूँगा प्यास धड़कनों की? हर घड़ी दिल में तेरा ख्वाब घूमता है! मुक्तककार- #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 265 Share MITHILESH RAI 16 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक शाम की तन्हाई में खामोशी आ रही है! ख्वाबों और ख्यालों की सरगोशी आ रही है! मुमकिन नहीं है रोकना यादों के कदमों को, दिल में तेरे प्यार की मदहोशी... Hindi · मुक्तक 314 Share MITHILESH RAI 15 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक इसकदर उलझी है जिन्दगी तकदीरों में! हम राह ढूंढते हैं हाथ की लकीरों में! इंसान डर रहा है आशियाँ बनाने से, बंट गयी हैं बस्तियाँ कौम की जागीरों में! मुक्तककार-... Hindi · मुक्तक 273 Share MITHILESH RAI 15 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरे बगैर जिन्दगी बेजान सी रहती है! तेरी बेवफाई से हैरान सी रहती है! मेरी राह थक गयी है अब तो इंतजार की, तेरी चाहत दिल में परेशान सी रहती... Hindi · मुक्तक 269 Share MITHILESH RAI 14 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरी आँखों में झील सी गहरायी है! तेरी अदाओं में कैद अंगड़ायी है! जबसे देख लिया है तेरे रुखसार को, तेरी जिगर में तस्वीर उतर आयी है! मुक्तककार- #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 487 Share MITHILESH RAI 11 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरे बिना मेरी जिन्दगी कटेगी कैसे? तेरे बिना मेरी तिश्नगी मिटेगी कैसे? तेरी बेपनाह चाहत है आज भी दिल में, तेरी आरजू इरादों से हटेगी कैसे? मुक्तककार- #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 330 Share MITHILESH RAI 10 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरा ख्याल क्यों मुझको आता ही रहता है? तेरा ख्याल मुझको तरसाता ही रहता है! तेरी याद जुड़ गयी है साँसों की डोर से, तेरा प्यार मुझको तड़पाता ही रहता... Hindi · मुक्तक 376 Share MITHILESH RAI 10 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक शामें-गम को तेरे नाम मैं करता हूँ! दर्दे-तन्हाई को सलाम मैं करता हूँ! शौक अभी जिन्दा है खुद को जलाने का, बस यही शामों-सहर काम मैं करता हूँ! मुक्तककार-#मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 303 Share MITHILESH RAI 8 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक कुछ लोग खुद को तेरा दीवाना कहते हैं! कुछ लोग खुद को तेरा परवाना कहते हैं! कई लोग ढूँढते हैं पैमानों में तुमको, तेरी अदाओं को शराबखाना कहते हैं! मुक्तककार-#मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 264 Share MITHILESH RAI 7 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक अधूरा सा हूँ मैं तेरे नाम के बिना! तड़पाती यादों की सुबह शाम के बिना! देखकर जिन्दा हूँ तेरी तस्वीरों को, मुझे नींद भी आती नहीं जाम के बिना! मुक्तककार-... Hindi · मुक्तक 277 Share MITHILESH RAI 6 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक खुद की तरह जीने का जूनून रखता हूँ! दिल में अरमानों का मज़मून रखता हूँ! अभी हौसला जिन्दा है पाने का तुमको, खुद में तूफानों को मक़नून रखता हूँ! मुक्तककार-#मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 1 340 Share MITHILESH RAI 5 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक कैसे मैं भूलूंगा तेरे अफसाने को? दर्द बेशुमार हैं मुझको तड़पाने को! हरतरफ बिखरी हुई हैं यादों की लहरें, अश्क बेकरार हैं पलकों में आने को! रचनाकार-#मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 441 Share MITHILESH RAI 4 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक आज भी तेरे लिए हम यार बैठे हैं! तेरी चाहत में गिरफ्तार बैठे हैं! कोई डर नहीं है जुल्मों के दौर का, हर जख्म के लिए हम तैयार बैठे हैं!... Hindi · मुक्तक 1 325 Share MITHILESH RAI 4 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरी तस्वीर को सीने से लगा रखा है! तेरी चाहतों को पलकों में सजा रखा है! रोकना मुमकिन नहीं है तेरी आरजू को, तेरी तमन्ना को साँसों में बसा रखा... Hindi · मुक्तक 510 Share MITHILESH RAI 3 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक तेरी तस्वीर को सीने से लगा रखा है! तेरी चाहतों को पलकों में सजा रखा है! रोकना मुमकिन नहीं है तेरी आरजू को, तेरी तमन्ना को साँसों में बसा रखा... Hindi · मुक्तक 296 Share MITHILESH RAI 2 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक कौन है जो दुनिया में नाकाम नहीं होता! कौन है जो दुनिया में बदनाम नहीं होता! डरता नहीं है बेबसी के खौफ़ से कभी, वक्त के बाजारों में नीलाम नहीं... Hindi · मुक्तक 535 Share MITHILESH RAI 2 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक मेरा गम लबों पर तेरा नाम ले आता है! मेरी तमन्नाओं का अंजाम ले आता है! जब मुझको तड़पाती है सरगोशी यादों की, मेरी ख्वाहिशों में नशा-ए-जाम ले आता है!... Hindi · मुक्तक 307 Share MITHILESH RAI 1 Sep 2017 · 1 min read मुक्तक जख्मों को भूल जाऊँ दिलशाद करूँ कैसे? तेरे गम से खुद को आजाद करूँ कैसे? तेरे बगैर कोई एह्सास नहीं मुझको, चाहत की दस्तक को बर्बाद करूँ कैसे? मुक्तककार-#मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 267 Share MITHILESH RAI 30 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक मुझे गुजरा हुआ ज़माना याद आता है! मुझे गुजरा हुआ अफसाना याद आता है! वो ख्वाहिशों की रूह से लिपटी हुयी रातें, मुझे तेरा क़रीब आना याद आता है! मुक्तककार-... Hindi · मुक्तक 390 Share MITHILESH RAI 28 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक क्यों सामने हो तुम मगर दूरी बरकरार है? दरमियाँ रिवाजों की मजबूरी बरकरार है! बेखौफ़ तमन्नाऐं घेर लेती हैं मुझको, तेरी आरजू दिल में अधूरी बरकरार है! मुक्तककार-#मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 277 Share MITHILESH RAI 26 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक गमों को दिल में छुपाना आसान नहीं है! शमा यादों की बुझाना आसान नहीं है! जब भी छूट जाते हैं हमसफर राहों में, अकेले लौट कर आना आसान नहीं है!... Hindi · मुक्तक 1 431 Share MITHILESH RAI 24 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक जब भी जुल्मों-सितम की इन्तहाँ होती है! भटकी हुई चाहत की जुस्तजू रोती है! हर वक्त सताती है तन्हाई ख्यालों को, दर्द की रातों में जिन्दगी कब सोती है? मुक्तककार-... Hindi · मुक्तक 209 Share MITHILESH RAI 22 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक तुमको किसी से कभी तो प्यार होगा! जिन्दगी का हर-पल बेकरार होगा! घेर लेगी दिल को जब भी तन्हाई, तुमको हमसफर का इंतजार होगा! मुक्तककार-#मिथिलेश_राय (#मात्राभार_21) Hindi · मुक्तक 297 Share MITHILESH RAI 20 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक तेरी आरजू से मुँह मोड़ नहीं पाता हूँ! तेरी तमन्नाओं को छोड़ नहीं पाता हूँ! यादों में ढूंढ लेता हूँ तस्वीरें तेरी, तेरे प्यार से रिश्ता तोड़ नहीं पाता हूँ!... Hindi · मुक्तक 425 Share MITHILESH RAI 19 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक तेरी यादों की जब भी आहट होती है! दिल में जैसे कोई घबराहट होती है! साँसों की रफ्तार बढ़ जाती है जिस्म में, धड़कन में चाहत की गर्माहट होती है!... Hindi · मुक्तक 232 Share MITHILESH RAI 18 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक जो आती है लबों पर बात तुम वही तो हो! जो तड़पाती है मुलाकात तुम वही तो हो! ठहरी हुई है आग अभी चाहत की दिल में, जो जागी हुई... Hindi · मुक्तक 220 Share MITHILESH RAI 16 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक तुमसे मुलाकात कभी जो हो जाती है! जैसे दिल में अंगड़ाई रो जाती है! मयकदों में ढूंढता हूँ यादों के निशां, मेरी नींद पैमानों में खो जाती है! रचनाकार-#मिथिलेश_राय (#मात्रा_भार_23) Hindi · मुक्तक 490 Share MITHILESH RAI 14 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक तेरे बगैर तन्हा जमाने में रह गया हूँ! तेरी यादों के आशियाने में रह गया हूँ! हरवक्त तड़पाती है मुझे तेरी बेरुख़ी, तेरे ख्यालों के तहखाने में रह गया हूँ!... Hindi · मुक्तक 230 Share MITHILESH RAI 12 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक आरजू तेरी बुला रही है मुझे! याद भी तुमसे मिला रही है मुझे! किसतरह मैं रोकूँ दिल की तड़प को? आग चाहत की जला रही है मुझे! मुक्तककार-#मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 383 Share MITHILESH RAI 11 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक आओ फिर से एक बार नादानी हम करें! नजरों में तिश्नगी की रवानी हम करें! जागी हुई है दिल में चाहत की गुदगुदी, आओ फिर से जख्मों की कहानी हम... Hindi · मुक्तक 520 Share MITHILESH RAI 9 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक मुझको तेरी याद अभी फिर आयी है! चाहत की फरियाद अभी फिर आयी है! मुझको ढूंढ रही है तन्हाई फिर से, तस्वीरे-बरबाद अभी फिर आयी है! मुक्तककार-#मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 322 Share MITHILESH RAI 7 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक तुम देखकर भी मुझको ठहरते नहीं हो! तुम सामने मेरे कभी रहते नहीं हो! बेचैनियों का शोर है ख्यालों में मगर, तुम अपनी जुबां से कभी कहते नहीं हो! मुक्तककार-... Hindi · मुक्तक 248 Share MITHILESH RAI 6 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक तेरे लिए हम तन्हा होते चले गये! तेरे लिए हम खुद को खोते चले गये! पास जब भी आयी है यादों की चुभन, तेरी ही चाहत में रोते चले गये!... Hindi · मुक्तक 256 Share MITHILESH RAI 4 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक तेरा नाम कागज पर बार-बार लिखता हूँ! तेरे प्यार को दिल में बेशुमार लिखता हूँ! टूटेगा न सिलसिला तेरी तमन्नाओं का, तेरे ख्यालों पर गमें-बेकरार लिखता हूँ! मुक्तककार- #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 258 Share MITHILESH RAI 2 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक ख्वाबों की हकीकतें रिश्ते तोड़ देती हैं! रिश्तों की जरूरतें तन्हा छोड़ देती हैं! ख्वाहिशें जमाने की तड़पाती हैं दिल को, जिन्दगी की मुश्किलें राहें मोड़ देती हैं! #महादेव_की_मुक्तक_रचनाऐं' Hindi · मुक्तक 223 Share MITHILESH RAI 1 Aug 2017 · 1 min read मुक्तक हर शाम मुझे तेरी कमी महसूस होती है! अपनी हर धड़कन में नमी महसूस होती है! डगमगाता हूँ जब भी मैं जाम की महफिल में, हरतरफ़ जख्मों की जमीं महसूस... Hindi · मुक्तक 226 Share MITHILESH RAI 30 Jul 2017 · 1 min read मुक्तक दिन गुजर जाएगा मगर रात जब होगी! तेरी चाहत से मुलाकात तब होगी! सिसकियाँ ख्यालों की तड़पाएगीं कबतक? तुमसे दिल की रू-ब-रू बात कब होगी? मुक्तककार- #मिथिलेश_राय Hindi · मुक्तक 647 Share Previous Page 6 Next