राकेश चौरसिया Language: Hindi 114 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid राकेश चौरसिया 24 Mar 2024 · 2 min read "पारंपरिक होली और भारतीय संस्कृति" त्योहारों का जीवन में बड़ा महत्व हैं। त्योहार मतलब उत्सव, आनंद। इसके आने-जाने से जीवन पर सकारात्मक प्रभाव पड़ते है। नई उर्जा का प्रवाह होता है। इससे जुड़े विचारों की... Hindi · लेख 1 39 Share राकेश चौरसिया 13 Mar 2024 · 1 min read "लागैं बसंत के प्रीति पिया" लागैं बसंत के प्रीति पिया, मन हमरो प्रीति शीला बनि गइलैं। आमवां-महुआं के बौरन लागे, खेत-सीवान हरा होइ गइलैं। सरसों सिवान फुलाईन लागे, हमरो मनवा भ्रमर बनि गइलैं। बिन सजन... Hindi · अवधी · छंद 1 54 Share राकेश चौरसिया 13 Mar 2024 · 1 min read "मधुमास बसंत" आय गयौ मधुमास पिया, अब आन लगी मोहि याद तुम्हारी। सखियन के तन भीग रहे, मन जाति नहीं मोहि तन से निकाली। दिनन के दिन बीत रहे अब, जात नहि... Hindi · अवधी · छंद 1 37 Share राकेश चौरसिया 9 Mar 2024 · 1 min read "आओ चलें, मतदान करें" आओ चलें, मतदान करें, देशहित में कुछ काम करें। अपने अधिकारों को समझे, निर्भय होकर समर में उतरें। खिले जिससे राष्ट्र की आभा, हम उन सत्कर्मों से गुजरें। जात -... Hindi · कविता 1 74 Share राकेश चौरसिया 16 Feb 2024 · 1 min read "सरस्वती बंदना" तम हर मन का मेरे,ज्योति मय जीवन कर दे। वर दे वीणा वादिनि, झंकार मय स्वर कर दे।। शब्दों का प्रसार पावन लय, छंद कविता में भर दे। सहज सार... Hindi · प्रार्थना 1 73 Share राकेश चौरसिया 28 Jan 2024 · 1 min read "हमने पाई है आजादी प्राणों की आहुति देकर" हमने पाई है आजादी प्राणों की आहुति देकर चोट खाए कंटकों से, रक्त से विरक्ति होकर हमने पाई है आजादी प्राणों की आहुति देकर नयनों से सपने छुटे, मन के... Hindi · गीत 1 68 Share राकेश चौरसिया 28 Jan 2024 · 1 min read "कितनी नादान है दिल" कितनी नादान है दिल, है मासूम भी लौटकर तेरे गलियों में फिर आ गए यादों के धूप में छांव कहीं दूर है हम तुम्हें चाहकर भी नहीं पायेंगे दिल के... Hindi · गीत 1 71 Share राकेश चौरसिया 21 Jan 2024 · 1 min read "मैं ही हिंदी हूं" मैं विश्व का जन प्रतिनिधि। भारत का गौरव गान हूं। हर धड़कन में बसने वाली। मैं ही तो हिंदुस्तान हूं ।1 मैं हूं सकल संपदा, निधि मैं ही ज्ञान- विज्ञान... Hindi · कविता 1 124 Share राकेश चौरसिया 21 Jan 2024 · 1 min read "मेरे तो प्रभु श्रीराम पधारें" खुशियों का अंबार लिए, जीवन का आधार लिए। क्षीरसागर विश्राम स्थली, रुप एक साकार लिए। जो दिव्य चेतना के हैं पोषक, वही अयोध्या धाम पधारें। मेरे तो प्रभु श्रीराम पधारें,... Hindi · कविता 1 119 Share राकेश चौरसिया 14 Jan 2024 · 1 min read "अयोध्या की पावन नगरी" अयोध्या की पावन नगरी, अब त्रेता का सतयुग लगे, विश्वास जगा है जन मानस में, अहो भाग्य! अब राम मिले। कमलनयन के मूक दर्शन को, मन आतुर ज्यो उपवासी, रघुनंदन... Hindi · कविता 1 81 Share राकेश चौरसिया 30 Nov 2023 · 1 min read "प्यास धरती की" क्रूर हो रहा मेह का आवरण क्यों? सुलग रही है आज धरा बेहाल हो, हो गई बिमुख संवेदनाएं प्रकृति की, तैर रहा वायुमंडल में कण धुल की। प्यासा है सावन... Hindi · कविता 2 189 Share राकेश चौरसिया 27 Nov 2023 · 1 min read "मेरे पाले में रखा कुछ नहीं" मेरे पाले में रखा कुछ नहीं। पर देख ले मुझे दुःख नहीं। वे सपने खरीदते-बेचते है। पर पाते कभी वो सुख नहीं। वक्त,पाल्हा अक्सर बदलते है। निश्शंक तेरे कब समुख... Hindi · ग़ज़ल 2 121 Share राकेश चौरसिया 27 Nov 2023 · 1 min read "हर खुशी के लिए एक तराना ढूंढ लेते हैं" हर खुशी के लिए एक तराना ढूंढ लेते हैं। हम फिज़ा है खुद आसियाना ढूंढ लेते हैं। डुबते हुए सूरज सा सितारे है अपने। फिर भी जीने का एक बहाना... Hindi · ग़ज़ल 1 156 Share राकेश चौरसिया 27 Nov 2023 · 1 min read "वो चमन के फूल क्यों मुरझाने लगे हैं" वो चमन के फूल क्यों मुरझाने लगे हैं। वक्त से पहले टूटकर बिखर जाने लगे है। क्या खता? जो मान लें हम बात उनकी। उठकर नजरों से, फिर गिर जाने... Hindi · ग़ज़ल 2 131 Share राकेश चौरसिया 27 Nov 2023 · 1 min read "गरीबी मिटती कब है, अलग हो जाने से" गरीबी मिटती कब है, अलग हो जाने से। ज़ख्म पूजते नहीं चोट पे चोट खाने से। वो खानदानी असर है बात बन ही जाती। आग बूझती नहीं जानबूझकर लगाने से।... Hindi · ग़ज़ल 1 139 Share राकेश चौरसिया 26 Oct 2023 · 1 min read "ऐ वतन, ऐ वतन, ऐ वतन, मेरी जान" ऐ वतन, ऐ वतन, ऐ वतन, ऐ वतन, मेरी जान, ऐ वतन, तुमसे खिलें आंखों में सपने हजार तुमसे ही संचित है अपना अधिकार बिन तेरे नही जंचती जीवन का... Hindi · कविता 1 227 Share राकेश चौरसिया 26 Oct 2023 · 1 min read "पथ प्रिय रघुनंदन का" "जिस पथ पर मैं चलता हूं, वह पथ रागी हो प्रदर्शन का। जिस पथ का अनुरागी हूं, वह पथ भावी हो दर्शन का। जिस पथ का उच्चारण करूं, वह पथ... Hindi · कविता 1 192 Share राकेश चौरसिया 26 Oct 2023 · 1 min read "पर्व विजयादशमी का" मन में उपजे भ्रांतियों के, मैं गढ़ को कैसे घहराऊं। एक अंदर भी है अपने रावण, कैसे इसे हराऊं।। विजया दशमी के पावन पर्व पर, बुराईयों का परित्याग करें। अपने... Hindi · कविता 1 137 Share राकेश चौरसिया 26 Oct 2023 · 1 min read "जीवन का कुछ अर्थ गहो" जीवन का कुछ अर्थ गहो दुर्लभ मानव तन व्यर्थ न हो जन्म मिला कुछ काज करो कल नहीं, अभी आज करो हो सार्थक प्रयास, निरर्थ न हो दुर्लभ मानव तन... Hindi · कविता 2 217 Share राकेश चौरसिया 26 Oct 2023 · 1 min read "हर बार जले है दीप नहीं" अटल सा प्रण लिये प्राणी चले प्रण कर चाल मतवाली नव अंकुर का पता नहीं स्व रंग सजे होली,दिवाली, तू गान प्रेम का गाता चल कविता में छंद बंधे जैसे... Hindi · कविता 1 92 Share राकेश चौरसिया 26 Oct 2023 · 1 min read "तब जाकर कुछ लिखता हूं" जो भी मैं कुछ लिखता हूं घनीभूत स्मृति के बादल जब पीर बनते हैं आंसू तब आंसूओं को पीता हूं तब जाकर कुछ लिखता हूं। विविध रंग जीवन की छाया... Hindi · कविता 1 73 Share राकेश चौरसिया 12 Oct 2023 · 1 min read "कुटुंब विखंडन" कुटुंब विखंडन की बातें, एक दिन देखा जाएगा। कहानी बने या उपन्यास, एक दिन लिखा जाएगा। घुट रही मनुष्यता जिसमें अंकित है अभय पहचान। निराधार विखंडित पृष्ठभूमि का एक दिन... Hindi · कविता 1 140 Share राकेश चौरसिया 6 Oct 2023 · 1 min read "तुम हो पर्याय सदाचार के" तुम हो पर्याय सदाचार के बरसाते रस सदा प्यार के खिले रुप सदा सलोना मुख मंडल पर तेज बिछौना तुम बिन है सारा जग सूना मात-पिता का तुम हो गहना... Hindi · बाल कविता 122 Share राकेश चौरसिया 6 Oct 2023 · 1 min read हम है बच्चे भोले-भाले हम है बच्चे भोले-भाले रहते है हरदम मतवाले रोज करते सैर सपाटे पापा हमको साथ घुमाते मम्मी हमको सुबह जगाती सूरज के जगने से पहले। हम है सबके मन के... Hindi · बाल कविता 1 63 Share राकेश चौरसिया 26 Sep 2023 · 1 min read "काश! हमारे भी पंख होते" अंबक में सपने लेकर पार सात समंदर जाते घूम घाम कर शाम तल घर वापस आ आते। सैर करते खूब गगन का हम भी पक्षी बन जाते सपनों के इंद्रजाल... Hindi · बाल कविता 1 96 Share राकेश चौरसिया 24 Sep 2023 · 1 min read "सूखा सावन" सूख गया आवरण बादल का आज क्यों, तप रही है आज वसुधा बेसुध हो, मर गई संवेदनाएं सब ऋतुराज की, उड़ रहें हवाओं में बस कण धूल की। प्यासा है... Hindi · कविता 2 110 Share राकेश चौरसिया 22 Sep 2023 · 1 min read "हम स्वाधीन भारत के बेटे हैं" हम स्वाधीन भारत के बेटे हैं, हिंदी हमारी भाषा है, नित्य गगन में लहराये तिरंगा, यही हमारी अभिलाषा है। हम हैं मां भारती के वीर सपूत , आओ, अमृत महोत्सव... Hindi · कविता 1 108 Share राकेश चौरसिया 22 Sep 2023 · 1 min read "मौत" ताप तन का मिटा रहा तन में शीतलता जगा रहा छलें पांव छालों ने इतने फूंक-फूंक कर बुझा रहा। मौत ने कुछ हारा नहीं जीवन से बड़ा कुछ प्यारा नहीं... Hindi · कविता 1 80 Share राकेश चौरसिया 22 Sep 2023 · 1 min read "अर्धांगिनी" दासी नहीं, प्रिय! चरणों का तुम प्रेम सधित पावन नारी तुम अर्धांगिनी, प्रीति का सागर तुम सदियों से मन भावन प्यारी।। तुम कदम मिला चलने वाली कुल की बाधा हरने... Hindi · कविता 1 96 Share राकेश चौरसिया 22 Sep 2023 · 1 min read "भारत का गौरव गान है हिंदी" भारत का गौरव गान है हिंदी। हम सब की पहचान है हिंदी। रग-रग में दौड़ रही है जो। सूर, तुलसी, रसखान है हिंदी। युगों-युगों का भान है हिंदी। स्वर्णिम, युग... Hindi · कविता 1 100 Share राकेश चौरसिया 25 Aug 2023 · 1 min read "चांद पे तिरंगा" अमेरिका, चीन, रसिया ने जब अपना मिशन व्यर्थ किया तब चांद पर जाकर हमने ही पानी का पता लगाया। फिर दौड़े पीछे सारे, सब काम छोड़ अन्तरिक्ष की ओर लगता... Hindi · कविता 2 260 Share राकेश चौरसिया 8 Jun 2023 · 6 min read "हिंदी एक राष्ट्रभाषा" किसी भी देश की भाषा उस देश की पहचान होती है, और उस देश की ताकत भी, जो वहां के जनमानस को एक सूत्र में बांधे रखने में एक महत्वपूर्ण... Hindi · लेख 1 245 Share राकेश चौरसिया 26 May 2023 · 1 min read "प्रार्थना" हे ईश्वर ! रखो सबको सलामत, सदाचार सबमें मिले, कुछ ज्ञान भरो जीवन में, नेक राह पर सब चलें। निर्भय हो विश्व जहां, सबमें हो मानवता का संचार , बैरी... Poetry Writing Challenge · कविता 1 141 Share राकेश चौरसिया 26 May 2023 · 1 min read "चंद क्षणों में" तूने चंद क्षणों में, जीवन भर की खुशी दे दी, मन का एहसास बदल दिया, होठों पर हंसी दे दी। आज लग रहा ऐसा कि, साकार हुए मेरे सपने, इससे... Poetry Writing Challenge · कविता 1 91 Share राकेश चौरसिया 26 May 2023 · 1 min read "देशभक्ति की अलख" देशभक्ति की अलख, हृदय में जलाकर देख। तब तू भी वतन का रखवाला,देशभक्त कहलायेगा। राष्ट्रप्रेंम की भावना, अंतर में जगा कर देख। अपने अन्दर भी एक नेक इन्सान पायेगा। अपने... Poetry Writing Challenge · कविता 1 111 Share राकेश चौरसिया 26 May 2023 · 1 min read "मेरे बचपन की यादें" मन क्यों विचलित होता है, याद कर मेरा वो दिन, काश! लौट आता फिर से, बीत गया है, जो बचपन। बचपन की यादें सारी, अनंत टीस पहुंचाती है, बीते दिनों... Poetry Writing Challenge · कविता 1 114 Share राकेश चौरसिया 26 May 2023 · 1 min read "बचपन" एक अद्भभुुत कहानी जीवन का, कैसे तुम्हें बता पाऊंगा? हृदय में उदित असीम पीड़ा, नहीं भुला पाऊंगा। भयभीत है मन अब, अपनी ही परछाई से, जो बीत गया बचपन, आजीवन... Poetry Writing Challenge · कविता 2 122 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "दु:ख के साये अच्छे थे" वे दु:ख के साये अच्छे थे, जिस वक्त ने तेरा साथ निभाया, उस सुख की कल्पना व्यर्थ है जीवन में, जिसने तेरे नयनों की प्यास बढ़ाया। वो आंखें कितनी व्याकुल... Poetry Writing Challenge · कविता 1 131 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "हमें छोड़कर बीच में न जाना बाबा" हमें छोड़कर बीच में न जाना बाबा। तुम्हीं हो एक युग को दर्शाते, विगत काल की याद दिलाते, हतोत्साहित को प्रोत्साहित करते, एक युग अंत का विषाद भरते, हमें अपनी... Poetry Writing Challenge · कविता 1 188 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "नफरत बांटने वालों" नफ़रत बांटने वालों, ये मुहब्बत की रुसवाई है, चलो देख लेते है , कितनों पर बात आई है। होठों पर चाह, मन में नफरत की गहराई है, तू जिसे अपना... Poetry Writing Challenge · कविता 1 203 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "कोयल की कूक" कू-कू-कू क्यों करती हो कोयल? मुझको आज बता दो तुम! वृक्ष-वृक्ष, टहनी-टहनी, एक धुन में गाती हो। कौन तुम्हारा दोस्त है कोयल? किसको तुम बुलाती हो? क्या कोई बिछड़ गया... Poetry Writing Challenge · बाल कहानी 1 148 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "हमें अन्नदान देती हो" हे धरती मां! तेरी ह्रदय कितना विशाल है? हम अनगिनत चोट पहुंचाते हैं, पर कुछ नहीं कहती हो, हम कुछ भी डाल देते है गर्भगृह में, अपने रख लेती हो।... Poetry Writing Challenge · कविता 1 107 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "प्रीति मधुशाला की" ऐसी प्रीति लगी हाला की, मधुशाला दिखा दिया, नष्ट कर डाला जिस्म अपना, अस्तित्व मिटा दिया। जीने की लालसा ने, पीना सीखा दिया, कौन,किसको पीता है? ये भी बता दिया।... Poetry Writing Challenge · कविता 2 112 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "प्रेम" तीव्र आवाज मंद हो रहें, हृदय में पीड़ा पनप रहा, जीने का राह तलाश रहा, प्रेम सौंदर्य क्यों हार रहा? अनंत टीस, उफान हृदय में, जीने का हक छीन रहा,... Poetry Writing Challenge · कविता 1 82 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "मन" अस्थि मांस औ रक्तहीन, बिजल सा मैं चंचल हूं, स्वतंत्र हूं कहीं भी, स्थिर नहीं रहता हूं। रोक न सका कोई भी, जिसके उत्पन्न तीव्र वेग को, खामोश मस्तिष्क में... Poetry Writing Challenge · कविता 1 137 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "बीच सभा, द्रौपदी पुकारे" बीच सभा, द्रौपदी पुकारे, हे गिरधर! तुम कहां पधारे ? है समर्पित सब हाथ तुम्हारे, तुम बिन संकट कौन उबारे? दुष्ट दुशासन खींच रहा चीर , बेबस अबला तन हारे... Poetry Writing Challenge · कविता 1 243 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "पुरखों के जमाने के हो बाबा" तुम तो पुरखों के जमाने के हो बाबा। साथ खेले, खाए, बचपन बिताए हो बाबा, प्यार, तकरार, वाद-विवाद, सब निभाए हो बाबा, तुम तो पुरखों के जमाने के हो बाबा।1... Poetry Writing Challenge · कविता 1 191 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "मुट्ठी भर खुशियां" मुट्ठी भर खुशियां लेकर, निकल पड़े बांटने को। पीड़ा अपनी दे दो सारा, सुख, चैन मेरा ले लो, साध लगाए नयनों में, निकल पड़े खोजने को। मन में न अहंकार,... Poetry Writing Challenge · कविता 2 176 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "परिवार" परिस्थितियों के बीच, प्रतिभा, चंचलता को खोकर, अतिरिक्त कुछ नजर नहीं शेष, न तो एहसास पनपते है, बस याद आते हैं तो, वो बचपन के दिन, जो अब कल्पना मात्र... Poetry Writing Challenge · कविता 1 184 Share राकेश चौरसिया 16 May 2023 · 1 min read "शौक से सारी दुनिया" शौक से सारी दुनिया, खड़ी है तलवार की धार पर। विनाश काले, विपरीत बुद्धि , सुई नहीं काल है, अटल है माथे की रेखा, नाच रहा अभिमान पर । देख!... Poetry Writing Challenge · कविता 1 239 Share Page 1 Next