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20 posts
एक शाम ठहर कर देखा
एक शाम ठहर कर देखा
Kunal Prashant
मैंने चाहा हर वक्त मन का होना.....मिला नहीं।
मैंने चाहा हर वक्त मन का होना.....मिला नहीं।
Kunal Prashant
हँसता हुआ चेहरा, यू रूठ गया.
हँसता हुआ चेहरा, यू रूठ गया.
Kunal Prashant
न जानें, उस से क्या हैं!
न जानें, उस से क्या हैं!
Kunal Prashant
कैसे क्यों की दुविधा में सारा जीवन कट जाता है
कैसे क्यों की दुविधा में सारा जीवन कट जाता है
Kunal Prashant
एक रोज़ सारी कविताएँ पूरी हो जायेंगी
एक रोज़ सारी कविताएँ पूरी हो जायेंगी
Kunal Prashant
शून्य बनी इकाई है
शून्य बनी इकाई है
Kunal Prashant
जगह
जगह
Kunal Prashant
जाने दिया
जाने दिया
Kunal Prashant
दो पंक्तियां
दो पंक्तियां
Kunal Prashant
मुस्कुरा ना सका आखिरी लम्हों में
मुस्कुरा ना सका आखिरी लम्हों में
Kunal Prashant
एक पूरी सभ्यता बनाई है
एक पूरी सभ्यता बनाई है
Kunal Prashant
पुरातत्वविद
पुरातत्वविद
Kunal Prashant
आंखो के पलको पर जब राज तुम्हारा होता है
आंखो के पलको पर जब राज तुम्हारा होता है
Kunal Prashant
पुनर्जन्म
पुनर्जन्म
Kunal Prashant
तुम्हें नहीं
तुम्हें नहीं
Kunal Prashant
पहला इश्क ए प्रस्ताव
पहला इश्क ए प्रस्ताव
Kunal Prashant
याराना : दोस्ती का
याराना : दोस्ती का
Kunal Prashant
" न जाने कितनो का हाथ वही "
Kunal Prashant
"अभी तो चले थे अपने नन्हे कदम"
Kunal Prashant
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