Er.Navaneet R Shandily Language: Hindi 58 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Er.Navaneet R Shandily 31 May 2024 · 1 min read पल्लवित प्रेम शतपत्र सरीखी गंध में पल्लवित प्रेम हो मेघ से मंडित गगन में संचरित प्रेम हो कुमिदनी कुञ्ज में भृंग मिलन स्नेह हो सार के सजीवता में बस तुम्हारा नेह हो... Hindi · कविता 12 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read व्यथा हमारी दब जाती हैं, राजनीति के वारों जन जन के पीड़ा को मन ने गंतव्य निधि में पाया हैं वाम पंथ धर्म अपनाते नेताओं को हमने पाया हैं सहादत पर वोट मांगते, जनता के दरबारों से व्यथा... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 21 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read मेघनाद लंका का वह गर्व धरोहर, कुल का वह अभिमान हैं इंद्रदेव को जीतने वाला, वह बालक तो बलवान हैं युद्ध को निर्णायक पथ पर, करना उसकी शान हैं आत्मज जी... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 16 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read श्रद्धांजलि समर्पित कुल भूषण प्रतिष्ठ कलश को, मेघ नीर पंकिल किए सुशोभित गृह बाखर मेरे, विशिक चाप् से झील किए आकर प्रपंच के मानवता में, मंगल राहु शनि भूत हुए अरण्य कृशानु,... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 24 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read मन का प्रोत्साहन उपवन खिली बहार थीं, आशाओं के पहने हार थीं स्रोतस्विनी के धार में, अवलम्ब बनी पतवार थीं निराशाओं में आश जगाने, वाली तेरी पहचान थीं किलिष्ट कड़ी घटना को, सुलझाने... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 27 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read शिव जी प्रसंग श्वेत शैल, सिंहासन हिम गिरी, नन्दी की सवारी बाघम्बर का छाला पहनें, महादेव त्रिपुरारी सुशोभित भुजा में बांधे, रुद्राक्ष की माला पहनें हीरा मोती आभूषण, भुजंग मुंड की माला शशिभूषण... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 23 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read संघर्ष मंजिले तड़प रहीं, मिलने को ए सिपाही सोचता क्या हैं तू, बन संघर्ष का राहीं चक्र हैं घटना क्रम, मिश्रित सफल कहानी बहा कर देख ले, तन सीकर का पानी... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 25 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read महाराणा प्रताप मुग़लों के दाँत हुये खटे, मेवाड़ी राज पूतनो से हल्दी घाटी हो गयी घायल, मुगल सिसोदिया राज घरानो से बरछी भाल कटारी लेकर, चेतक के टँकारो से राणा को तो... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 18 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read मुज़रिम सी खड़ी बेपनाह प्यार में गुम शुम बैठी रही मैं सुबह शाम में नैन आँसू उदासी कैसे भेजू पैग़ाम में दिल डूबा हुआ मेहबूब याद में इश्क़ की जंजीर तोड़े किस ख्यालें आजाद में उह... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 22 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read मैं(गाँव) तड़प रहा हूँ पल-पल में वीभत्स का तू धूप लिया हैं मानसिकता अगुण रूप लिया हैं भाई-चारा लूट लिया हैं धन वैभव मन खोट किया हैं जाति-पाती के दल-दल में अनैतिकता के हल-चल में व्यक्ति... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 18 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read द्रौपदी मामा शकुनी की वह चाल द्रुत क्रीड़ा में किया कमाल दास बने बैठे सब पाण्डव छल से जीता हर एक दाव धर्मराज नहीं धर्म निभाये पत्नी को भी दाव लगाये... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 17 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read मेरा हृदय मेरी डायरी कुर्सी मेज़ कलम की यारी अंतर मन में कवि को प्यारी मिश्रित भाव की मेरी शायरी मेरा हृदय, मेरी डायरी ज्योति दीप प्रेरित अभिलाषा प्रकृत भाव की मेरी भाषा सार... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 18 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read अधूरा मिलन मिलकर भी ना मिल सके आप से दो क्षण ही सही हम जुड़े आप से भीतर भीतर हमें भी ग्लानि हुई मेरे मौन शब्द ना जुबानी हुई सोचा बहुत सा... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 22 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read मीठा जीतना मीठा हो वह घातक विष बन जाता हैं मीठा जीतना मीठा हो वह घातक विष बन जाता हैं सच्चे प्रेम की तीखी बोली, मृत्यु सुनिश्चित करवाता हैं रण कौशल का मूल खिलाड़ी, शून्य गति को जाता हैं मूल... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 18 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read कर्त्तव्य के विरुद्ध हो अटका हुआ हैं सारंग धारा के चाल में भटका हुआ हैं निर्मोही माया के जाल में दोष कैसे मढ़े किसी तनुजा के शीश को अनुचित विभक्ति ग्रहण करें नित्य विष... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 14 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read प्रकृत की हर कला निराली छप्पन भोग सजा दे थाली श्रृंगार सुशोभित करने वाली ममता स्नेह की इनकी प्यारी उपवन की सजा वे क्यारी भू- गर्भ सी क्षमता वाली उपमा सी ये शक्तिशाली प्रकृत की... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 18 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read द्वार खुले, कारागार कक्ष की द्वितीय घड़ी, वह कृष्ण पक्ष की द्वार खुले, कारागार कक्ष की उमड़ घुमड़ घन, शोहर गाते शेषनाग फन, छप्पर छाते माँ यमुना हैं, चरण पखारत लालच नारद, मुनि को आवत... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 19 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read अनमोल दोस्ती अनमोल दोस्ती का अनमोल तू खजाना जीवन सोपान पद का पहचान भी कराना अदृश्य डोर बंधकर, एहसास भी कराना कमजोर जब पड़े तो विश्वास भी जगाना ए दोस्त तू मेरी... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 25 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read दर्द कहूं कैसे दर्द कहूं मैं अपने कैसे सपने दफन हुए हैं जैसे बड़े सिखाएं मर्यादा को भंग करें कानूनी कायदा को नियम विच्छेदन करते जाए छोटो को नया पाठ पढ़ाए गांवों के... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 17 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read तेरा ही आभाव हैं जीवन के दर्पण में खुद का ही गुणगान हैं संताप की धरती में अनेकों बलिदान हैं रहस्य की दुनिया में रहस्य-मयी घाव हैं तूफान के आगोश में डूबने को नाव... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 17 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read तुझे बनाऊँ, दुल्हन घर की कुछ हैं अधूरा कुछ हैं पूरा नव-जीवन का नया सवेरा किस जन्म का रिश्ता तेरा मिलने को मन करता मेरा तू सपना हिय के मंदिर की तुझे बनाऊँ, दुल्हन घर... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 17 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read टूटे हुए पथिक को नई आश दे रहीं हो बुझी हुई आश को विश्वास दे रहीं हो नि:स्वर कलेवर को सास दे रहीं हो बालक अज्ञानी को खास दे रहीं हो टूटे हुए पथिक को नई आश दे रहीं... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 19 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read कैसे पड़े हैं प्रभु पाँव में छाले क्यों बनते हैं बहुत ही भोले अन्तर मन की बात न खोले कालिया नाग को नाथने वाले कैसे पड़े हैं प्रभु पाँव में छाले ऐसा घाव कभी नहीं देखा भक्त... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 21 Share Er.Navaneet R Shandily 16 May 2024 · 1 min read कर्ण कुंती संवाद पाँव रुके मन नहीं हैं माने ब्रह्म पहर में चली मनाने सरिता के तट पर जा करके फैलाई आँचल खुद धरके सत्य कहूँ या मांगू भीक्षा तेरे हाथों कुल की... Poetry Writing Challenge-3 · कविता 1 27 Share Er.Navaneet R Shandily 8 May 2024 · 2 min read मेरी (ग्राम) पीड़ा मुझे (ग्राम) अपने स्वार्थ में इतना डुबो सा दिया गया हैं कि मुझे (ग्राम) अग्नि में भी झोंकने से यहाँ राजनीति चाटुकार नहीं चूक रहे हैं, मुझे (ग्राम) अपने स्वयं... Hindi · आलेख 2 47 Share Er.Navaneet R Shandily 22 Apr 2024 · 1 min read लोकतन्त्र के हत्यारे अब वोट मांगने आएंगे लोकतन्त्र के बनिया बकड़ अपना रंग सजाएंगे जनता को वह मूर्ख बनाकर अपना रंग जमाएंगे गली गली के चौराहों पर नोट बाटने आएंगे लोकतन्त्र के हत्यारे अब वोट मांगने आएंगे... Hindi · कविता 3 56 Share Er.Navaneet R Shandily 5 Apr 2024 · 1 min read प्रेम पल्लवन रिश्तें कहाँ अपने रहें वह दूर जाते दिख रहें अहम् के परिवेश में अमानवता के पालन सीख रहे जिज्ञासा माया मिलन, प्रेम पारितोषक अब कहा हैं तृप्त जोगी संतृप्त सुदृढ़... Hindi · कविता 2 49 Share Er.Navaneet R Shandily 27 Feb 2024 · 1 min read अर्थी पे मेरे तिरंगा कफ़न हो माथे पे सौंधी मिट्टी का चंदन हो अर्थी पे मेरे तिरंगा कफ़न हो सारा समर्पण कर के चला हूँ आँचल भू के मिट्टी में पला हूँ जेष्ठ के दोपहरी में... Hindi · कविता 2 136 Share Er.Navaneet R Shandily 21 Jan 2024 · 1 min read जय श्री राम भूमण्डल में गूंज रहा हैं राम नाम जयकारा सरयू के पावन तट पर अयोध्या नगरी प्यारा केसरी रंग से सजा हुआ हैं गली गली चौराहा पटल बिंदु से पूर्ण सजा... Hindi · Hindi Poem ( हिन्दी कविता ) · Quote Writer 2 115 Share Er.Navaneet R Shandily 16 Sep 2023 · 5 min read माँ आज भी जिंदा हैं अद्भुत अनावरण परिपूर्णता गुरुता से परिपूर्ण दोषों को क्षमा करने वाली ही जो प्रकृत हैं वही तो माँ हैं, अपने संतान से इच्छापूर्ति ना रखने वाली धरोहरणी जननी हैं, सदा... Hindi 1 124 Share Er.Navaneet R Shandily 30 Jul 2023 · 1 min read सावन में संदेश प्रकृति की सारी उपमाएं, लालिमा बिछाए झांके लावण्य रूप अनुपम छवि, पिया मिलन को ताके छत पर बैठी देख रहीं वह, प्रकृति की अटखेली विरह सोच में डूब गई वह,... Hindi · कविता 1 439 Share Er.Navaneet R Shandily 15 May 2023 · 2 min read सिया राम विरह वेदना ऋतु बसंत नभ मेघ गरजते, वसुधा पर रचि हरि माया तरु आसीन ओट धरि जननी, उद्विग्न हृदय रघुराया मेघ दृश्य चक्षु प्रस्त्रवण सम, करे घोर धर वर्षा कृपानिधि, सिंधु सुता,... Poetry Writing Challenge · कविता 1 469 Share Er.Navaneet R Shandily 15 May 2023 · 6 min read दोस्ती पर वार्तालाप (मित्रता की परिभाषा) तन्मय अपने मौसी के गाँव शादी में गया हुआ था, उसकी दोस्ती वहाँ पर अपने मौसी के जेठानी के बहन की लड़की संध्या और ननद की लड़की मनीषा से हो... दोस्ती- कहानी प्रतियोगिता · कहानी/एकांकी 2 284 Share Er.Navaneet R Shandily 19 Apr 2023 · 1 min read तप त्याग समर्पण भाव रखों तप त्याग समर्पण भाव रखों कटु वचनों का भी स्वाद चखों रत्नाकर सा गहरा सहृदय रखों विचलिन मन को भी बाध्य रखों निष्ठुर पाषाण चक्षु ना रखना अंतः कलश को... Hindi · Quote Writer · कविता 587 Share Er.Navaneet R Shandily 7 Feb 2023 · 1 min read मुक्तक झूठा प्यार नहीं, इंसान होता हैं जो रूठे नहीं, वह भगवान होता हैं उपवन के हँसी में, वह माली महान होता हैं खोजता मिट्टी में खुश्बू,वह भारतीय किसान होता हैं... Hindi · Quote Writer · मुक्तक 1 413 Share Er.Navaneet R Shandily 6 Feb 2023 · 1 min read छोटा सा परिवेश हमारा जीवन का संघर्ष सहारा चमके ओक मुकुट हमारा बालक मातृ-पिता को प्यारा कितना प्यारा, कितना न्यारा छोटा सा परिवेश हमारा अम्बर में सारंग मतवाला मस्ती में उछली जयमाला यश-कृति पूज्यवर... Hindi · Quote Writer · कविता 1 401 Share Er.Navaneet R Shandily 31 Jan 2023 · 1 min read मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम सरयू नदी के तट पर विराजमान पावन धाम मर्यादा पुरुषोत्तम श्री रामचंद्र की जन्मस्थली अयोध्या, श्री राम प्रभु समाज को कर्त्तव्यता का वह पाठ बता गए हैं, कि कर्त्तव्य ही... Hindi · लेख 1 531 Share Er.Navaneet R Shandily 14 Jan 2023 · 2 min read सफ़र यात्राएं अनेक कठिनाईयों से भरा होता हैं, जहां अनेक प्रकार समस्याओं से जुझना होता हैं, समस्याओं से बहुत ही सूझ बूझ से सामना करना होता हैं, नए स्थान शहर में... Hindi · संस्मरण 1 177 Share Er.Navaneet R Shandily 11 Jan 2023 · 1 min read मुक्तक बीते समय से अब, बात कहा होती हैं सार्थक हो कर्म तो तक़दीर कहा सोती हैं क़िस्मत कहा कि बीते लम्हों में खो जाएं खुश क़िस्मत कहा कि उन बांहों... Hindi · मुक्तक 2 173 Share Er.Navaneet R Shandily 8 Jan 2023 · 1 min read अनुभव विफल कितना भी हो तुम, लड़ना सीखना होगा गति अति मंद हो तो भी, चलना सीखना होगा निश्चित निरंतर अभ्यास में, तपना सीखना होगा साधक को सार्थकता में, पलना सीखना... Hindi · कविता 2 143 Share Er.Navaneet R Shandily 6 Dec 2022 · 3 min read यथार्थ से दूर "सेवटा की गाथा" आदर्श स्तम्भ आदर्श ग्राम्य सेवटा के आदर्श स्तंभ कहें जाने वाले आदरणीय श्री राम रत्न पाण्डेय जी जिनकी आयु एक सौ तीन वर्ष पूर्ण कर, हम सभी ग्राम्य वासियों का आदर्श बने... Hindi · लेख 1 196 Share Er.Navaneet R Shandily 4 Dec 2022 · 5 min read यथार्थ से दूर "सेवटा की गाथा" डॉ.अनिल कुमार पाण्डेय आई.ए.एस. ग्रामीण परिवेश आधुनिक युग में वहीं छाया वृत्तियों से ढका हुआ, सुनहरा सौंदर्य पर्यावरण वाला अरुणोदय मई आभा पूर्वजों के श्रम सीकर से सजा हुआ, अपरूप... Hindi · लेख 1 600 Share Er.Navaneet R Shandily 29 Nov 2022 · 1 min read श्रृंगार करें मां दुल्हन सी, ऐसा अप्रतिम अपरूप लिए मातृ भूमि पर, जीवन अर्पण, पुष्प समर्पित थाली है ग्रीव ग्रीवा में, जयमाला की, हार पहनने वाली है उत्तर में श्वेत हिम गिरी सा, मुकुट प्रकाशित धूप लिए श्रृंगार करें... Hindi · कविता 1 226 Share Er.Navaneet R Shandily 25 Nov 2022 · 1 min read आपकी यादों में हां गुनगुनाता हूं हां मुस्कुराता हूं आपकी यादों में, यूं गुम हो जाता हूं ना तंज कसता हूं ना रंज रखता हूं आपकी यादों में, यू नज्म पढ़ता हूं ना... Hindi · कविता 2 184 Share Er.Navaneet R Shandily 10 Nov 2022 · 1 min read कैसे प्रेम इज़हार करूं त्याग उर भीतर आदर तब अब है, कर्त्तव्य मेरा एक ढाल कुल भूषण उष्णीष प्रतिष्ठा, सम्रांजक रखा संभाल त्याग समर्पण वज्र मेरे, फिर जीती बाज़ी हार थरूं पग पर अपने... Hindi · Daily Writing Challenge · कविता 2 1 249 Share Er.Navaneet R Shandily 27 Oct 2022 · 7 min read भोजपुरी भाषा संस्कृत शाखा से उद्घृत आर्यवर्त की प्रिय भाषा भोजपुरी जो कई देश की राष्ट्र भाषा बन गई है, वह आज भी अपने घर में एक राज भाषा का दर्जा नहीं... Hindi · लेख 1 524 Share Er.Navaneet R Shandily 21 Oct 2022 · 1 min read एक झलक फूल चुभते ही रहे, पर कांटों को, बिछाया नहीं हमने जिसे माँगा खुदा से , उसको कभी पाया नहीं हमने नींद में जागे हुए, सपनों को सजाया नहीं हमने बीते... Hindi 3 1 318 Share Er.Navaneet R Shandily 25 Sep 2022 · 1 min read सोचता हूं कैसे भूल पाऊं तुझे सपना सोते हुए ना, दिखाओ मुझे अपनी यादों से, अब ना, सताओ मुझे चाह कर भी ना, अपना कह पाऊं तुझे सोचता हूँ मैं कैसे, भूल पाऊँ तुझे बैठे -... Hindi · कविता 3 1 239 Share Er.Navaneet R Shandily 19 Sep 2022 · 1 min read एहसास एक आश लगी जो तुझसे, सार नदी में डूब रहीं अपनी नई कहानी सारी, चर्चा में वह खूब रहीं सपने दफ़न निराले अपने, ख्वाबों में मजबूरी थी आस - पास... Hindi · कविता 4 297 Share Er.Navaneet R Shandily 31 Jul 2022 · 1 min read विधवा की प्रार्थना सम्मान में न जाने, कैसा मिला अभिशाप है आश के विश्वास में, मुझको मिला संताप है लाली-वाली बिंदियाँ छूटी, छूटा पाव महावर का क्या कसूर मेरा था गिरिवर, छूटा साथ... Hindi · कविता 3 1 551 Share Page 1 Next