Dimpal Khari Language: Hindi 52 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Dimpal Khari 14 Mar 2023 · 1 min read गुजरे वक्त के सबक से गुजरे वक्त के सबक से कल सुधर जाता हैं। गुजरे वक्त में जीकर आज भी गुजर जाता हैं। - डिम्पल खारी Hindi · Quote Writer 1 259 Share Dimpal Khari 3 May 2022 · 1 min read मेरे पिता पिता हैं बरगद की छाया, जिसके नीचे हम पले-बढ़े। कितने भी दुख आये हम पर, पिता ही सम्मुख खड़े रहे। बोली में थी कितनी कटुता, दिल में भरी थी अथाह... “पिता” - काव्य प्रतियोगिता एवं काव्य संग्रह · कविता 5 4 227 Share Dimpal Khari 26 Jan 2022 · 1 min read जय हिन्द हमारा नारा ....... मेरे वतन ,तुझको नमन तेरा हो जयकारा,जय हिन्द हमारा नारा । वीरों ने करे प्राण न्योछावर, मन नहीं उनका हारा जय हो देश के वीर मेरे ,जय हिन्द हमारा नारा... Hindi · कविता 4 389 Share Dimpal Khari 4 May 2021 · 1 min read गीतिका तेरे धोखे से लगता हैं तुझे भी दर्द दे हम भी । तुझे यूँ दर्द में पाकर फिर भी रो दिए हम भी । भरोसा तोड़ा था तुमने दुबारा कर... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 564 Share Dimpal Khari 4 Feb 2021 · 1 min read कुछ ख़त महोब्बत के नाम .... अर्पण है तुझे ,समर्पण है तुझे मेरी जिंदगी के बसंत। यादों में तू,वादों में तू मेरे लफ्जो में तू है अनंत। मीत मेरे तू जीत मेरी, लागी हैं तुझसे प्रीत... "कुछ खत मोहब्बत के" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 12 46 503 Share Dimpal Khari 28 Jul 2020 · 1 min read ग़ज़ल कभी वो हमें खोने से डरते थे, आज मैं उन्हें खोने के डर में जी रही हूँ। ऐसा नही है की चाहत नही उन्हें हमसे , उनकी उम्मीद और ख़्वाहिश... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 11 10 425 Share Dimpal Khari 20 Jun 2020 · 1 min read गलवन के शहीदों को श्रद्धांजलि गलवन में हुए शहीदों को , मेरा कोटि कोटि प्रणाम। प्राण न्योछावर किए देश पर, अमर हो गया उनका नाम । वीर कुंदन,अमर और चंदन, देश भर में मचा हैं... Hindi · कविता 6 6 376 Share Dimpal Khari 23 Mar 2020 · 1 min read कोरोना का ख़ौफ़ कोरोना का ख़ौफ़ है देखो, फैला चारों ओर है देखो। विश्व में इसका आतंक मचा है, दुनिया का जनतंत्र हिला हैं। दुर्गम नही हैं यह बीमारी, सुरक्षा स्वयं की है... Hindi · कविता 9 16 605 Share Dimpal Khari 21 Mar 2020 · 1 min read निर्भया का इंसाफ़ देश की बेटी को अब इंसाफ़ मिला हैं, सात साल बाद न्याय का सूरज निकला हैं। उसकी माँ ने कितना धीरज बाँध रखा था बेटी को न्याय दिलाने का प्रण... Hindi · कविता 8 5 798 Share Dimpal Khari 28 Sep 2019 · 1 min read गज़ल तोड़ी थी जिसकी खातिर हमने हदे सारी, आज उसने ही हमें हद में रहना सिखा दिया। कभी कहते थे प्यार हैं तुमसे , आज प्यार को महज़ खिलौना बना दिया।... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 12 10 453 Share Dimpal Khari 7 May 2019 · 2 min read रिश्तों की कम होती अहमियत .... आज के इस बदलते युग में जहाँ रिश्तों की परिभाषा बदली है साथ साथ रिश्तों की अहमियत भी बदल गयी है ।जब एक बच्चे का जन्म होता है तभी से... Hindi · लेख 9 2 2k Share Dimpal Khari 19 Feb 2019 · 1 min read पुलवामा के शहीद पुलवामा का हाहाकार, मचा देश भर मे हैं आज । भूल में बैठें हैं जन सारे, आतंक का हो गया आग़ाज़। उन माँओं की आँख से , आँसू निरंतर बहते... Hindi · कविता 7 474 Share Dimpal Khari 1 Nov 2018 · 1 min read मेरी माँ माँ की ममता का कोई मोल नहीं, माँ जैसा कोई अनमोल नही। कभी सागर की गहराई सी , कभी पर्वत की ऊंचाई सी । कभी गंगा जैसी सुरसरिता , सब... "माँ" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 18 112 1k Share Dimpal Khari 2 Sep 2018 · 1 min read बाल मज़दूरी..... एक नन्ही सी जान का, हो गया जीवन कुर्बान। देख जूझती बीमार माँ को, और बहन का भूखा पेट। नन्हे हाथ में ले ली कुदाल, चल पड़ा बाल मजदूरी की... Hindi · कविता 8 6 540 Share Dimpal Khari 21 Aug 2018 · 1 min read राखी का त्यौहार आया पावन राखी का त्यौहार, हैं ये भाई बहन का प्यार। सूनी कलाई पर भाई की , जब बहन की राखी सजती हैं। अपनी रक्षा करने का बस, वचन वो... Hindi · कविता 7 308 Share Dimpal Khari 2 Aug 2018 · 1 min read 15 अगस्त पर्व आजादी का...... 15 अगस्त आया पर्व आजादी का , दिन था वह अंग्रजो की बर्बादी का। शहीद हुए थे वीर शूरमा , आजाद कराने भारत को। नम हो जाती है आँखे सबकी,... Hindi · कविता 9 526 Share Dimpal Khari 29 Jul 2018 · 1 min read दर्द का आलम हमें ..... बैठे थे तन्हा, जहन में ख्याल आया कई दफा, करीब थे जो शख्स मेरे आज हैं वो क्यूँ खफ़ा। खामोशिया उनकी हमें ये मर यूं ही डालेंगी, तोड़ कर फिर... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 6 2 331 Share Dimpal Khari 13 Jul 2018 · 2 min read बलात्कार में ज़िम्मेदार सोशल मीडिया .... आज दुनिया में बलात्कार का औसत बड़ी तेजी से बढ़ता जा रहा हैं। लोग एक दूसरे पर कीचड़ उछाल रहे हैं परंतु यह मानने से कतराते की हैं कि इस... Hindi · लेख 8 507 Share Dimpal Khari 11 Jul 2018 · 1 min read हँसी लबों से छूट गयी ..... हँसी मेरे लबों से कही छूट सी गयी, खुशियां न जाने क्यूँ हमसे रूठ सी गयी। जी रहे हैं तन्हा हम अपनी जिंदगी, साथ अपनों का था जैसे खुदा की... Hindi · कविता 6 444 Share Dimpal Khari 22 Jun 2018 · 1 min read गज़ल अनजानी राहों में अनजाने शहरों में , मेरे हमदम घूरती निगाहें बहुत हैं। किस डगर हम चले ऐ मेरे हमनशीं , हर कदम यहाँ निशाने बहुत हैं। चाहे रहे हम... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 6 2 370 Share Dimpal Khari 22 Jun 2018 · 1 min read एक माँ की व्यथा....... एक दुखियारी माँ के दिल की व्यथा मैं सुनाऊ, हँसकर भी क्या गुजरे उसपर ये तुम्हे मैं बताऊ। बच्चो के लिए सब कुछ सहती हैं वो, दर्द अपना न किसी... Hindi · कविता 6 6 1k Share Dimpal Khari 10 Jun 2018 · 1 min read चली जो कलम....... चली जो कलम तो अफसाना लिख गया, ये तो मेरे प्यार का फ़साना लिख गया। कितनी शिद्दत है मेरे प्यार में, प्यार बिकता नही किसी बाजार में। हो ही जाता... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 569 Share Dimpal Khari 6 Jun 2018 · 1 min read पैसा पैसे से अपने भी दूर हो जाते हैं, पैसे का ये कैसा खेल देखो। कभी हुए थे जो दुश्मन , उनका फिर तुम मेल भी देखो। सबसे अहम् हैं माना... Hindi · कविता 5 368 Share Dimpal Khari 5 Jun 2018 · 1 min read फैशन का दौर हाय!फैशन का ये दौर देखों, कलियुग कैसा घनघोर देखों। कपडों के नाम पर हद बदल गई फटी जींस फैशन में चल गई। तन ढकता नही अब , फैशन के कपड़ो... Hindi · कविता 5 1 484 Share Dimpal Khari 1 Jun 2018 · 1 min read बेटी के जन्मदिन पर दिल की दुआ आई घर में मेरे, छोटी सी गुड़िया मेरी। खुशियों की बहार, संग लायी हैं मेरी। दामन में न हो कोई गम तेरे, माँ बाप का आशीष हैं संग तेरे। तेरी... Hindi · कविता 4 1k Share Dimpal Khari 26 May 2018 · 1 min read वृक्ष धरा पर अनमोल हैं वृक्ष धरा पर अनमोल हैं, बिन वृक्ष दुनिया डांवाडोल हैं। स्वयं धूप में रहकर के , हमको छाया देते हैं। अपनी जड़ी बूटियों से , निरोगी काया देते हैं। आँखों... Hindi · कविता 6 1 492 Share Dimpal Khari 23 May 2018 · 1 min read गाँव इन शहरों से तो , ये गाँव ही अच्छे हैं। बोली चाहे हो खड़ी, पर दिल उनके सच्चे हैं। गांव में मिलता हैं, मिलनसार का भाव। शहरों में तो है,... Hindi · कविता 5 1 533 Share Dimpal Khari 21 May 2018 · 1 min read वीर सिपाही इस भारत के वीर सिपाही, तुम देश की शान बढ़ाओगे। कितनी भी कठिनाई आये, तुम सबको दूर भागाओगे। जनता का विश्वास हो तुम, भारत माँ की आस हो तुम। कोई... Hindi · कविता 4 273 Share Dimpal Khari 21 May 2018 · 1 min read अपना जब कोई दूर जाता हैं........ अपना जब कोई दूर जाता हैं, ये दिल कितना टूट जाता हैं। याद में उनकी हम रोये हर पल, प्यारी थी उनकी हर गल। लौट के आओगे तुम कब, ये... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 288 Share Dimpal Khari 20 May 2018 · 1 min read जिंदगी सब कुछ कह जाती हैं जिंदगी के उजियारों में , सत्ता के गलियारों में । ये लब कुछ कहे न कहे, ख़ामोशी सब कुछ कह जाती हैं। अपनी जिंदगी की , खुशिया लुटाये बैठे हैं।... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 332 Share Dimpal Khari 20 May 2018 · 1 min read कमी कुछ भी नही कमी कुछ भी नही, फिर भी कमी सी लगती हैं। ये आसमां ये जमीं , कुछ थमी सी लगती हैं। बहती हुई कश्ती को एक किनारा चाहिए। इस बेनाम जिंदगी... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 2 285 Share Dimpal Khari 19 May 2018 · 1 min read मेरे पिता पिता हैं बरगद की छाया, जिसके नीचे हम पले-बढ़े। कितने भी दुख आये हम पर, पिता ही सम्मुख खड़े रहे। बोली में थी कितनी कटुता, दिल में भरी थी अथाह... Hindi · कविता 4 440 Share Dimpal Khari 19 May 2018 · 1 min read काश ,हम छोटे हो जाते..... काश ,हम फिर छोटे हो जाते , गोद में माँ की फिर सो पाते। माँ की ममता का आँचल, अब याद बहुत आता हैं। कभी छोटे थे अब बड़े हो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 252 Share Dimpal Khari 19 May 2018 · 1 min read आई आँधी आई आँधी, आई आँधी आसमान में बिजली कौंधी। बिजली हो गई घर की गुल, खिड़की भी गई सारी खुल। अम्बिया भी अब पेड़ से झड़ गयी, पतंग हमारी सर सर... Hindi · कविता · बाल कविता 4 1 285 Share Dimpal Khari 17 May 2018 · 1 min read बिटिया मम्मी की मैं जान हूँ, पापा का अरमान हूँ। भईया की मैं हूँ गुड़िया, सबकी आफत की पुड़िया। दादा-दादी की राजदुलारी, नाना-नानी की बिटिया प्यारी। सबका बनता मुझसे जहां, सबकी... Hindi · कविता 5 2 555 Share Dimpal Khari 17 May 2018 · 1 min read ऐसे तुम इंसान बनो ढूंढ लेते हैं जो गम में भी खुशी, उनके होठों से न दूर होती हंसी। हौसले भी हो जिनके बुलंद, मार्ग न हो उनके कभी बंद। ऐसे तुम इंसान बनो........ Hindi · कविता 4 378 Share Dimpal Khari 16 May 2018 · 1 min read सितारों की दुनिया आसमां है ये सितारों से भरा, राज हैं इनमें कोई गहरा। सितारे भी कहते हैं कहानी अपनी, टिमटिमाते हुए जुबानी अपनी। कहती हैं माँ एक है इनमें तेरा भी सितारा,... Hindi · कविता 4 1 377 Share Dimpal Khari 15 May 2018 · 2 min read सफलता की सीढ़ी चारो तरफ माहौल ग़मगीन था। एक तरफ सफ़ेद कपडे में लिपटा शव रखा था,सभी की आँखों से आंसू बह रहे थे ।यह मात्र 18 बरस का लड़का रमेश था। अपने... Hindi · कहानी 5 452 Share Dimpal Khari 15 May 2018 · 1 min read प्रेम समर्पण मेरा सब कुछ अर्पण तुझको, मेरा प्रेम समर्पण तुझको। सब कुछ खोकर पाया तुझको। नही चाह अब कुछ भी मुझको। अपना सब कुछ वार दिया, तूने क्या इकरार किया। फिर... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 317 Share Dimpal Khari 14 May 2018 · 1 min read बरखा का मौसम बरखा का मौसम जब-जब आया, मीत कोई बिछड़ा फिर याद आया। सपने दिल कई संजोने लगा, मन भी कही गुनगुनाने लगा। कभी साथ थे हम उनके सदा, निभा न सके... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 303 Share Dimpal Khari 14 May 2018 · 1 min read नारी शोषण जमाना चाहे कितना बदला , पर बदले नहीं अभी इंसान। हर क्षेत्र में नारी आगे, फिर भी नही मिलता सम्मान। अहोदा चाहे ऊँचा हो गया, सोच का स्तर वही रहा।... Hindi · कविता 3 311 Share Dimpal Khari 12 May 2018 · 1 min read जिंदगी के बसंत अर्पण है तुझे ,समर्पण है तुझे मेरी जिंदगी के बसंत। यादों में तू,वादों में तू मेरे लफ्जो में तू है अनंत। मीत मेरे तू जीत मेरी, लागी हैं तुझसे प्रीत... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 483 Share Dimpal Khari 11 May 2018 · 1 min read आदमी का जिस्म..... आदमी का जिस्म है जो, इससे ही बनता जहाँ। नहीं हैं ये चिरस्थायी, सबको मिटना हैं यहाँ आना -जाना हैं ये क्रम, जिंदगी भी है एक भ्रम। किस क्षणिक ये... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 414 Share Dimpal Khari 10 May 2018 · 1 min read बारिश बारिश का शोर हैं, बादल घनघोर हैं। दम दम जो बिजली दमकी, डर से जो ऐसे छिपे, मानो कोई चोर हैं। झम-झम जो आँधी चली, दौड़े बच्चे गली-गली। बूंदे जो... Hindi · कविता · बाल कविता 4 1 272 Share Dimpal Khari 9 May 2018 · 1 min read एक फौजी की माँ की पुकार लौट आओ अब तुम बीत गए कई साल, छोटी बहना करती हैं मुझसे कई सवाल। कब आएंगे मेरे भईया रक्षाबंधन निकल गया, न कोई संदेशा आया करुणा क्रंदन विफल गया।... Hindi · कविता 3 422 Share Dimpal Khari 9 May 2018 · 1 min read जिंदगी का सहारा जिंदगी को जिंदगी का सहारा चाहिए, वो सहारा भी हमे बस तुम्हारा चाहिए। टूटे सपने टूटी आशा, झूठी हैं अब हँसी। तन्हा-तन्हा हैं जिंदगी, तन्हा- तन्हा हर ख़ुशी। बीच दरिया... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 2 314 Share Dimpal Khari 8 May 2018 · 1 min read 4G का जमाना यह 4Gका जमाना हैं अब रिश्तों को भी 4G में ही निभाना हैं। दिल से दिल का रिश्ता ख़त्म हुआ, अब फेसबुक ,वाट्सअप ही प्रथम हुआ। वाट्सअप पर ही लोग... Hindi · कविता 5 2 612 Share Dimpal Khari 8 May 2018 · 1 min read कन्याभूर्ण हत्या बेटों की चाहत में बेटियों को कोख में मार दिया जाता हैं। जिंदगी जीने से पहले ही मौत का उपहार दिया जाता हैं। बेटियों को बोझ समझते है जो ,... Hindi · कविता 4 637 Share Dimpal Khari 8 May 2018 · 1 min read बिछड़े यार मेरा यार ये कहाँ चला , क्यों बिछड़ गया ये क्या हुआ। न हम कहे न वो कहे , कैसा ये समां बंधा हुआ। अपना साया बनाकर हमे जब तू... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 301 Share Dimpal Khari 7 May 2018 · 1 min read मेरा बचपन बचपन का जब जिक्र हुआ ताजा हो गई सब यादे। जब निश्छल मन था मेरा अब हो गए झूठे वादे। कभी अश्कों भरी आँखे , कभी हँसते हुए चहरे ।... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 646 Share Page 1 Next