Ranjana Mathur Tag: लेख 42 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Ranjana Mathur 28 Sep 2021 · 2 min read "नदियाँ हमारी पोषक" नदियों के अभाव में पृथ्वी पर जीवन अकल्पनीय है। नदियां है तो जीवन है। नदियां हमारा वर्तमान भी हैं और वे हमारा भविष्य भी है। नदियों के प्रदूषित होने से... Hindi · लेख 971 Share Ranjana Mathur 14 Sep 2021 · 4 min read नारी हृदय के पारखी" -शरतचंद्र चट्टोपाध्याय । आलेख शरतचन्द्र चट्टोपाध्याय को कौन नहीं जानता ? आप बांग्ला भाषा के सुप्रसिद्ध उपन्यासकार थे। आपका जन्म प. बंगाल के हुगली जिले के देवानंदपुर गांव में 15 सितंबर 1876 में... Hindi · लेख 1 1 1k Share Ranjana Mathur 26 Jun 2021 · 4 min read पृथ्वी दिवस धरती माता तू भली तासूं भलो न कोय। जीव जन्तु की रक्षा करो रखूँ पगतली तोय।। हम अपने बाल्यकाल से ही प्रातः जागने पर वैसे तो 21 मार्च को मनाए... Hindi · लेख 1 460 Share Ranjana Mathur 26 Jun 2021 · 2 min read एक पत्र- "बेनाम रिश्ते के नाम" जब से होश संभाला तभी से तुझसे ठीक से पहचान हुई और समझ में आने लगा कि तेरा आशीष तो मुझ पर जन्म जन्मांतर से ही है। मेरे कंठ में,... Hindi · लेख 1 1 438 Share Ranjana Mathur 26 Jun 2021 · 8 min read मेरी प्रेरणा - सुषमा स्वराज " आलेख " "नरगिस थी तू वतन की खियाबां की बहार थी। नूरे चमन थी सुषमा तू तो सबकी दिलदार थी।" अद्भुत अप्रतिम व्यक्तित्व की स्वामिनी थी सुषमा स्वराज। आद्योपांत भारत... Hindi · लेख 347 Share Ranjana Mathur 26 Jun 2021 · 4 min read आगमन के पूर्व ही यह कैसी विदाई?? उसके पदार्पण से घर में रोशनी का प्रवेश होता है। उसकी उपस्थिति घर-आंगन की शोभा बढ़ाती है। उसका वजूद घर में चार चांद लगाता है। उसके हाथों के मीठे सृजन... Hindi · लेख 367 Share Ranjana Mathur 26 Jun 2021 · 2 min read आशीष S ?मेरे घर आई एक नन्ही परी? प्रत्येक घर में कोई न की ऐसा खुशनुमा व्यक्तित्व अवश्य होता है जिसके उद्गम की हल्की- सी आहट ही सम्पूर्ण आलय को असीम... Hindi · लेख 387 Share Ranjana Mathur 26 Jun 2021 · 4 min read विश्व तंबाकू निषेध दिवस पर आलेख "धुंध से बाहर निकलो यारों " कहते हैं कि…… "पहले-पहल ये लगता प्यारा, फिर जिव्हा के मुंह लग जाता। केवल तुम न तुम्हारे संग-संग, परिवार का विनाश लाता।।" इस धुएं की महक में न भटको मित्रों।... Hindi · लेख 578 Share Ranjana Mathur 26 Jun 2021 · 5 min read ==वैधव्य नहीं अभिशाप== ==उनका जीवन हो खुशहाल== “मेरे बेरंग सूने संसार का रंगों से क्या वास्ता”?? यह कोई फिल्मी संवाद नहीं बल्कि एक घिसा पिटा वाक्य है जो या तो हमारे देश की हर उस अभागिन जिसका... Hindi · लेख 1 307 Share Ranjana Mathur 26 Jun 2021 · 2 min read परिवार समाज की एक अपरिहार्य इकाई भारत एक विपुल व सुसमृद्ध सांस्कृतिक विरासत का स्वामी एक उच्चतम सांस्कृतिक मूल्यों पर आधारित देश है। "वसुधैव कुटुंबकम "की महान् अवधारणा के मूल में भारत के विज्ञ एवं प्रबुद्ध... Hindi · लेख 620 Share Ranjana Mathur 22 Jun 2021 · 2 min read परिवार- एक अपरिहार्य इकाई आलेख परिवार- एक अपरिहार्य इकाई भारत एक विपुल व सुसमृद्ध सांस्कृतिक विरासत का स्वामी एक उच्चतम सांस्कृतिक मूल्यों पर आधारित देश है। "वसुधैव कुटुंबकम "की महान् अवधारणा के मूल में... Hindi · लेख 1 324 Share Ranjana Mathur 4 Jun 2021 · 4 min read "धुंध से बाहर निकलो यारों " विश्व तंबाकू निषेध दिवस पर लेख ?जय माँ शारदे? आलेख "धुंध से बाहर निकलो यारों " कहते हैं कि…… "पहले-पहल ये लगता प्यारा, फिर जिव्हा के मुंह लग जाता। केवल... Hindi · लेख 291 Share Ranjana Mathur 15 May 2020 · 3 min read हास्य व्यंग्य - एक सेल्फी ले लो यार आज के युग में यह"खुद-खेचूँ"यानि सेल्फी भी बड़ी ही अद्भुत वस्तु है बंधु। सेल्फी "मेरा, मेरे द्वारा, मेरे लिए खींचा गया चित्र है।" पहले अपना चित्र खींचने या खिंचवाने हेतु... Hindi · लेख 1 1 1k Share Ranjana Mathur 21 Feb 2020 · 4 min read जल शक्ति अभियान आज समूचे विश्व सहित भारत में जल संकट के विकराल दौर से गुज़र रहा है। जल संकट से जन मानस त्राहि-त्राहि कर रहा है। वर्तमान समय की इस महाविकट समस्या... Hindi · लेख 1 1 259 Share Ranjana Mathur 31 Mar 2019 · 2 min read बदलते परिवेश में पिता और पुत्री राजा जनक व उनकी दुलारी सुपुत्री सीता आज भी भारतीय संस्कृति में पिता व पुत्री के मध्य स्नेह, प्रेम व वात्सल्य के सामंजस्य के अद्वितीय उदाहरण के रूप में स्थापित... Hindi · लेख 413 Share Ranjana Mathur 31 Mar 2019 · 2 min read साहित्य और सावन कजरारी काली घटाएं... उमड़ते घुमड़ते बादल.... रिमझिम बुंदियां..... भीना भीना मौसम..... सावन शब्द ही अपने आप में बड़ा मनभावन है। मन का सम्बन्ध भावों से और भाव तो साहित्यकार का... Hindi · लेख 1k Share Ranjana Mathur 31 Mar 2019 · 2 min read देश सेवा आज स्वतंत्रता प्राप्ति के इतने लंबे अंतराल के पश्चात यदि हम देश के प्रति लगाव आस्था व निष्ठा के परिप्रेक्ष्य में विश्लेषण करने चलें तो कुछ अकल्पनीय तथ्यों से सामना... Hindi · लेख 367 Share Ranjana Mathur 31 Mar 2019 · 3 min read "अंधविश्वास " एक ही घर के कुल ग्यारह सदस्य जिसमें बच्चे भी सम्मिलित है न जाने किन अंधविश्वासों व आडम्बरों से ग्रस्त हो कर एक साथ काल के गाल में समा गये,... Hindi · लेख 1 255 Share Ranjana Mathur 13 Mar 2019 · 2 min read हास्य-व्यंग्य "कन्यादान की जगह वरदान" बुद्धि जीवी हैं तो कभी सोच कर देखिए कि यदि "कन्यादान" के स्थान "वरदान" होता काश! तो क्या माहौल होता घर-घर का। हर घर अखाड़ा, हर घर में दंगल। जब... Hindi · लेख 257 Share Ranjana Mathur 11 Mar 2019 · 2 min read रिश्तों में कैंची रहिमन धागा प्रेम का, मत तोड़ो चटकाय। टूटे से फिर न जुड़े, जुड़े गांठ पड़ जाय।। वह समय बीत गया जब अपने तो क्या पराए व अनाथ भी घरों में... Hindi · लेख 1 585 Share Ranjana Mathur 10 Mar 2019 · 1 min read उपन्यास क्या है कोई भी लंबी कहानी जो काल्पनिक हो तथा कई पात्रों एवं घटनाओं से युक्त हो उसे उपन्यास कहा जाता है। यह गद्य की वह विधा है जो कथा वस्तु के... Hindi · लेख 636 Share Ranjana Mathur 5 Mar 2019 · 2 min read "देश और हमारा उत्तरदायित्व एक छोटा घर जिसमें पति पत्नी, उनके माता-पिता व बच्चे रहते हैं। घर के मुखिया अर्थात् पिता की निर्णायक भूमिका होती है।मुखिया की जिम्मेदारी के साथ साथ उस परिवार के... Hindi · लेख 245 Share Ranjana Mathur 2 Mar 2019 · 1 min read मेरी पसंदीदा मिठाई को पत्र मेरी प्यारी रबड़ी आप के दीदार को मेरा मतलब है स्वाद को तरसती है जिव्हा।आप से भेंट बहुत कम ही हो पाती है। आजकल आप ज्यादातर मौकों पर और शादी... Hindi · लेख 518 Share Ranjana Mathur 13 Jan 2019 · 2 min read प्रेम-एक अलौकिक अनुभूति। ईश्वर द्वारा प्रदत्त वह अलौकिक अनुभूति जो आदिकाल से प्राणी मात्र के पारस्परिक संबंधों को प्रगाढ़ करने में सबसे अधिक मजबूत डोर का कार्य करती आई है वह निश्चित रूप... Hindi · लेख 1 1 319 Share Ranjana Mathur 12 Jan 2019 · 2 min read "क्षण भर जीवन मेरा परिचय।" वे अपना परिचय कुछ इसी तरह से दिया करते थे - - "मिट्टी का तन मस्ती का मन क्षण भर जीवन मेरा परिचय।" जी हाँ, मैं यह सुप्रसिद्ध कवि व... Hindi · लेख 832 Share Ranjana Mathur 9 Jan 2019 · 1 min read "स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत " यह नारा दिया हमारे प्रधानमंत्री जी द्वारा और यह स्वच्छता संबंधी कार्य कलापों के परिदृश्य भी समय समय पर देखने को मिल रहे हैं परन्तु यह प्रयास तब तक अधिकांशतः... Hindi · लेख 427 Share Ranjana Mathur 2 Dec 2018 · 3 min read कैसे हो संस्कारों का हस्तांतरण?? हमें खूब अच्छी तरह से याद है कि मां हर बार होली या दीपावली आने के पांच या सात दिन पहले से ही पकवान बनाने का शगुन कर लेती थीं।... Hindi · लेख 392 Share Ranjana Mathur 24 Apr 2018 · 1 min read यात्रा वृत्तांत (मेरी अविस्मरणीय सर्वप्रिय यात्रा) ०४ मई २००३ को अजमेर से चलकर पूजा एक्सप्रेस ट्रेन द्वारा हम सपरिवार ०५ मई को अपरान्ह १२ बजे के करीब जम्मू पहुंचे। वहां से बस... Hindi · लेख 255 Share Ranjana Mathur 24 Apr 2018 · 2 min read ऐ मेरे वतन के लोगों.. ....… आज के विषय गद्य लेखन पर कवि प्रदीप जी पर मेरी प्रस्तुति। ऐ मेरे वतन के लोगों - - - - - मैंने इस महान कवि की जन्म स्थली पर... Hindi · लेख 1 528 Share Ranjana Mathur 27 Mar 2018 · 2 min read क्या आज भी पुस्तकें हमारी मित्र हैं? ? "किताबी कीड़ा " जी हाँ बचपन में मुझे मेरी बहनें और सहेलियाँ इसी नाम से पुकारा करती थीं। मेरा ही नहीं हमारी आयु वर्ग के सभी लोग उन दिनों पुस्तकों... Hindi · लेख 1 1 234 Share Ranjana Mathur 6 Feb 2018 · 2 min read ?आंखें ? " सूरत और सीरत" जी हाँ इन दोनों को ही सर्वाधिक प्रभावित करने वाली अहम किरदार है हमारी आंखें। आंखें यानि नयन, चक्षु, नेत्र, अंखियाँ, नैना, निगाहें और न जाने... Hindi · लेख 324 Share Ranjana Mathur 6 Feb 2018 · 1 min read मित्रता एक वटवृक्ष मेरे दृष्टिकोण से अच्छे और सच्चे दोस्तों का मिलना सौभाग्य की बात होती है। मित्रता वह वटवृक्ष है जिसके तले दो प्राणी दोस्त के रूप में पारस्परिक स्नेहिल अपनत्व की... Hindi · लेख 1 261 Share Ranjana Mathur 15 Nov 2017 · 2 min read === खुशी === खुशी एक ऐसा अनोखा एहसास है जो व्यक्ति की आंतरिक इच्छा से जुड़ा होता है। यदि मन में उमंग है /ललक है/ जीने की चाह है /उत्साह है तो चारों... Hindi · लेख 608 Share Ranjana Mathur 5 Nov 2017 · 5 min read ====उनका जीवन भी हो खुशहाल==== "मेरे बेरंग सूने संसार का रंगों से क्या वास्ता"?? यह कोई फिल्मी संवाद नहीं बल्कि एक घिसा पिटा वाक्य है जो या तो हमारे देश की हर उस अभागिन जिसका... Hindi · लेख 296 Share Ranjana Mathur 4 Oct 2017 · 3 min read ?कच्ची है माटी जैसी चाहे गढ़िए? प्रायः यह देखा गया है कि स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद से लेकर अभी तक भारतवासियों के ऊपर से अंग्रेज़ी भाषा व पाश्चात्य तौर तरीकों का भूत उतरा नहीं बल्कि सर... Hindi · लेख 423 Share Ranjana Mathur 30 Sep 2017 · 1 min read ¡¡ विज्ञान सम्मत भारतीय संस्कृति ¡¡ हमारे विशाल भारत देश की संस्कृति अत्यन्त समृद्धिशाली,विज्ञान सम्मत एवं गौरवपूर्ण अतुल्य ज्ञान का विहंगम और अनूठा संगम है। भारतीय संस्कृति में प्रचलित समस्त परम्पराएं, प्रथाएं, रीति रिवाज वह धार्मिक... Hindi · लेख 452 Share Ranjana Mathur 14 Sep 2017 · 3 min read आओ सोचें ! यदि करते हैं हम हिन्दी से प्यार। सभी भारतवासियों को आज दिनांक 14सितम्बर 2017 को " हिन्दी दिवस " एवं दिनांक 14 सितम्बर 2017 से 28 सितंबर 2017 तक " हिन्दी पखवाड़ा "की हार्दिक बधाईयाँ । यह... Hindi · लेख 526 Share Ranjana Mathur 11 Sep 2017 · 2 min read कसें लगाम नन्हे निर्दोष बालक की स्कूल में चाकू से गोद कर हत्या ? मासूम अबोध बालिका के साथ स्कूल के भीतर अमानवीय घृणित कुकृत्य ? स्कूल में धूप में दौड़ लगवाते... Hindi · लेख 541 Share Ranjana Mathur 8 Sep 2017 · 1 min read कौन उत्तरदायी ? ब्लू व्हेल गेम से हो रही आत्महत्याएं और इस से उपजे भय के लिए कौन उत्तरदायी है ? उत्तर दायित्व हैं बच्चों के अभिभावक। पाश्चात्य संस्कृति व सभ्यता का अंधानुकरण... Hindi · लेख 1 666 Share Ranjana Mathur 3 Sep 2017 · 1 min read विश्वास पिछले कुछ वर्षों में कन्या भ्रूण हत्या की घटनाएं बढ़ने तथा बेटी के प्रति समाज में बढ़ती जागरूकता के चलते अधिक- तर रचनाकारों की लेखनी बेटी के पक्ष में... Hindi · लेख 525 Share Ranjana Mathur 30 Aug 2017 · 1 min read उगता हुआ कवि मेरी दोहिती पावनी (चुनमुन) अभी मात्र दो वर्ष की है। पता नहीं इतनी नन्ही - सी जान के भीतर कौन सा कवि ह्रदय विराजमान है कि वह बातें भी अनेकों... Hindi · लेख 368 Share Ranjana Mathur 30 Aug 2017 · 2 min read क्या औचित्य है हिन्दी दिवस का ? आज हम भारत वासियों को अंग्रेजों की पराधीनता से मुक्ति प्राप्त किए हुए 70 वर्ष व्यतीत हो चुके हैं। इतने लम्बे अंतराल के पश्चात् भी हम "अंग्रेजों" की गुलामी से... Hindi · लेख 442 Share