Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
21 Oct 2024 · 1 min read

4724.*पूर्णिका*

4724.*पूर्णिका*
🌷 जीवन का आधार हो जाते 🌷
22 22 212 22
जीवन का आधार हो जाते ।
देखो जिनसे प्यार हो जाते ।।
दुनिया कहती है यहाँ अपनी।
सपनें भी साकार हो जाते ।।
चाहत दिल की चांदनी सुंदर।
दरिया भी सच पार हो जाते ।।
कहते रहते बात मस्त यारा।
सब देख समझदार हो जाते ।।
चलके छूते आसमां खेदू।
कमजोरी हथियार हो जाते।।
…….✍ डॉ.खेदू भारती “सत्येश”
21-10-2024सोमवार

97 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.

You may also like these posts

आज कल के युवा जितने सोशल मीडिया पर एक्टिव हैं यदि उतने ही अप
आज कल के युवा जितने सोशल मीडिया पर एक्टिव हैं यदि उतने ही अप
Rj Anand Prajapati
विरह की वेदना
विरह की वेदना
surenderpal vaidya
क्या करोगे..
क्या करोगे..
हिमांशु Kulshrestha
अपने माथे पर थोड़ा सा सिकन रखना दोस्तों,
अपने माथे पर थोड़ा सा सिकन रखना दोस्तों,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
आ कान्हा तुझे तिलक लगाऊँ भजन अरविंद भारद्वाज
आ कान्हा तुझे तिलक लगाऊँ भजन अरविंद भारद्वाज
अरविंद भारद्वाज
वो अनजाना शहर
वो अनजाना शहर
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
*नारी सत्य शक्ति है*
*नारी सत्य शक्ति है*
Rambali Mishra
🙅बस एक सवाल🙅
🙅बस एक सवाल🙅
*प्रणय प्रभात*
सावधान मायावी मृग
सावधान मायावी मृग
Manoj Shrivastava
"कष्ट"
Dr. Kishan tandon kranti
मंजिल को अपना मान लिया।
मंजिल को अपना मान लिया।
Kuldeep mishra (KD)
रोजालिण्ड बनाम डेसडिमोना
रोजालिण्ड बनाम डेसडिमोना
Saraswati Bajpai
महाकुंभ के त्रिवेणी महासंगम मंथन से निकली चीजें...!
महाकुंभ के त्रिवेणी महासंगम मंथन से निकली चीजें...!
SPK Sachin Lodhi
4259.💐 *पूर्णिका* 💐
4259.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
माना इंसान अज्ञानता में ग़लती करता है,
माना इंसान अज्ञानता में ग़लती करता है,
Ajit Kumar "Karn"
......?
......?
शेखर सिंह
मिट्टी से मिट्टी तक का सफ़र
मिट्टी से मिट्टी तक का सफ़र
Rekha khichi
भव- बन्धन
भव- बन्धन
Dr. Upasana Pandey
गीत- मिली है ज़िंदगी इसको...
गीत- मिली है ज़िंदगी इसको...
आर.एस. 'प्रीतम'
लिखूँ दो लब्ज वही चुभ जाते हैं
लिखूँ दो लब्ज वही चुभ जाते हैं
VINOD CHAUHAN
10) “वसीयत”
10) “वसीयत”
Sapna Arora
महिलाएं जितना तेजी से रो सकती है उतना ही तेजी से अपने भावनाओ
महिलाएं जितना तेजी से रो सकती है उतना ही तेजी से अपने भावनाओ
Rj Anand Prajapati
सच और झूठ
सच और झूठ
Neeraj Kumar Agarwal
मां-बाप की उम्मीदें
मां-बाप की उम्मीदें
पूर्वार्थ
थोङी थोड़ी शायर सी
थोङी थोड़ी शायर सी
©️ दामिनी नारायण सिंह
साहित्य में बढ़ता व्यवसायीकरण
साहित्य में बढ़ता व्यवसायीकरण
Shashi Mahajan
फिर आई बरसात फिर,
फिर आई बरसात फिर,
sushil sarna
कर्म योग: मार्ग और महत्व। ~ रविकेश झा।
कर्म योग: मार्ग और महत्व। ~ रविकेश झा।
Ravikesh Jha
महाप्रयाण
महाप्रयाण
Shyam Sundar Subramanian
ताकि कोई मोहब्बत में कुछ भी कर गुजरने के लिए मुस्कान और साहि
ताकि कोई मोहब्बत में कुछ भी कर गुजरने के लिए मुस्कान और साहि
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
Loading...