Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
8 Jul 2021 · 1 min read

तस्वीर

दिखती है जो बात तस्वीर में ,
पर नज़ारा तो कुछ और है ।
अदाएं कुछ ,अंदाज़े -बयां कुछ ,
सारा फ़साना कुछ और है ।
तस्वीर तो एक ही है मगर,
इसके पहलु कुछ और है।
शक्ल में ,और सीरत में ,
छुपे राज़ कुछ और है।
दुनियां जो देखती है ,वोह
मुझे जो दिखता कुछ और है।
है कोई बात इस तस्वीर में ज़रूर ,
मेरा नजरिया कहता कुछ और है।
कैसे दिखायुं मैं इसका असली रूप ,
हरपल रंग बदलता ऐसा इसका रुख है।

7 Likes · 6 Comments · 436 Views
Books from ओनिका सेतिया 'अनु '
View all

You may also like these posts

नदी से जल सूखने मत देना, पेड़ से साख गिरने मत देना,
नदी से जल सूखने मत देना, पेड़ से साख गिरने मत देना,
ऐ./सी.राकेश देवडे़ बिरसावादी
"अजनबी बन कर"
Lohit Tamta
आज़ादी की जंग में यूं कूदा पंजाब
आज़ादी की जंग में यूं कूदा पंजाब
कवि रमेशराज
हर ज़ुल्म सितम की अब दीवार गिरा दो तुम,
हर ज़ुल्म सितम की अब दीवार गिरा दो तुम,
Neelofar Khan
I've learned the best way to end something is to let it star
I've learned the best way to end something is to let it star
पूर्वार्थ
Waste your time 😜
Waste your time 😜
Otteri Selvakumar
4331.*पूर्णिका*
4331.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
आबो-हवा बदल रही है आज शहर में ।
आबो-हवा बदल रही है आज शहर में ।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
धड़कनों में प्यार का संचार है ।
धड़कनों में प्यार का संचार है ।
Jyoti Shrivastava(ज्योटी श्रीवास्तव)
आत्मा, भाग्य एवं दुर्भाग्य, सब फालतू की बकबास
आत्मा, भाग्य एवं दुर्भाग्य, सब फालतू की बकबास
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
लिप्सा-स्वारथ-द्वेष में, गिरे कहाँ तक लोग !
लिप्सा-स्वारथ-द्वेष में, गिरे कहाँ तक लोग !
डॉ.सीमा अग्रवाल
जवानी
जवानी
अखिलेश 'अखिल'
फ़ितरत को ज़माने की, ये क्या हो गया है
फ़ितरत को ज़माने की, ये क्या हो गया है
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
विवश लड़की
विवश लड़की
PRATIBHA ARYA (प्रतिभा आर्य )
तुम्हें संसार में लाने के लिए एक नारी को,
तुम्हें संसार में लाने के लिए एक नारी को,
शेखर सिंह
" इस जहां में "
Dr. Kishan tandon kranti
14. O My Birdie !
14. O My Birdie !
Ahtesham Ahmad
मुकाम-२
मुकाम-२
Swami Ganganiya
खोया जो कुछ
खोया जो कुछ
Rashmi Sanjay
मन मेरा एकाकी है
मन मेरा एकाकी है
Sanjay Narayan
""बहुत दिनों से दूर थे तुमसे _
Rajesh vyas
परिवार हमारा
परिवार हमारा
Suryakant Dwivedi
मन  के बंद दरवाजे को खोलने के लिए
मन के बंद दरवाजे को खोलने के लिए
Meera Thakur
मेरे जीवन का सार हो तुम।
मेरे जीवन का सार हो तुम।
Ashwini sharma
आँसू
आँसू
शशि कांत श्रीवास्तव
जरा- जरा सी बात पर,
जरा- जरा सी बात पर,
sushil sarna
इश्क
इश्क
SUNIL kumar
#दुःखद_दिन-
#दुःखद_दिन-
*प्रणय*
अभी नहीं पूछो मुझसे यह बात तुम
अभी नहीं पूछो मुझसे यह बात तुम
gurudeenverma198
कटाक्ष
कटाक्ष
Shekhar Chandra Mitra
Loading...