होली के बहाने
नफरत को सुला प्रीत दिलों में जगा लें होली के बहाने,
छोड़ जाए जो प्यार का पैगाम,उस रंग को लगा लें होली के बहाने।
लाल,पीला,नीला,हरा सबका होता अपना रंग,
आ हर रंग को आजमा लें होली के बहाने।
कहीं देवर-भाभी तो कहीं बुजुर्ग जोड़ी करे ठिठौली,
याद जरा करलें वक्त वो मलचला होली के बहाने।
ना बचकानी हरकत हो और ना फूहड़ता,
मस्ती का निराला उत्सव मना लें होली के बहाने।
जिंदगी उलझ गई कमलेश जीवन की उलझन में,
आ हर उलझन को सुलझा लें होली के बहाने।
कमलेश गोयत