हर एक समस्या हल होगी
आज न हो पाई,कल होगी
हर एक समस्या हल होगी
नम होंगे जब तेरे नैना
मेरी भी आँख सजल होगी वो
कभी कभी तू आना आगे
मेरी भी कभी पहल होगी
नदी मिलेगी सागर से जब
कुछ तो उसमें हलचल होगी
जिसे मुहब्बत कहते हैं हम
कोई न जाने किस पल होगी