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27 May 2023 · 1 min read

सोच बदलनी होगी

घर आँगन खुशियाली न हो तो
सोच बदलनी होगी

घर आँगन खुशियाली न हो तो
सोच बदलनी होगी
पेड़ों पर फल ना आयें तो
सोच बदलनी होगी

जब लड़कपन बहक जाए तो
सोच बदलनी होगी
पुष्पों से जब मन भर जाए तो
सोच बदलनी होगी

खुद पर जब यकीन न हो तो
सोच बदलनी होगी
जीवन और लेखन में जब भेद करो तो
सोच बदलनी होगी

लेखक गर पाठक न हो तो
सोच बदलनी होगी
वक्ता जब श्रोता न हो तो
सोच बदलनी होगी

प्रकृति जब रौद्र रूप में आये तो
सोच बदलनी होगी
पंक्षी जब मधुर स्वर न सुनाये तो
सोच बदलनी होगी

जब आदर्श स्वयं को खोजे तो
सोच बदलनी होगी
जब संस्कारों पर आधुनिकता रुपी बादल छाने लगें तो
सोच बदलनी होगी

जब नारी देवी सी न पूजी जाए तो
सोच बदलनी होगी
जब पुस्तकों पर से उठने लगे विश्वास तो
सोच बदलनी होगी

जब पंक्षी निराश दिखें तो
सोच बदलनी होगी
जब झोपड़ी में दीया न रोशन न हो तो
सोच बदलनी होगी

जीवन , जीवन सा न हो तो
सोच बदलनी होगी
देव पुरुष जब जन्म न लें तो
सोच बदलनी होगी

घर आँगन खुशियाली न हो तो
सोच बदलनी होगी
पेड़ों पर फल ना आयें तो
सोच बदलनी होगी

Language: Hindi
3 Likes · 4 Comments · 176 Views
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