सुपरस्टार
एक पत्रकार गॉंव, गली, शहर और महानगर में घूम-घूमकर लोगों से पूछ रहा था- “आज भारत में सुपरस्टार बनने का पैमाना क्या है?”
लोगों से जो राय प्राप्त हुई, उसके निष्कर्ष इसप्रकार हैं-
अभिनेता : जो आम आदमी के बीच से उठकर अपने हुनर द्वारा मुकाम प्राप्त करते हैं, वही सुपरस्टार होते हैं।
अभिनेत्री : संक्षेप में कहें तो
प्रतिस्पर्धा + संघर्ष + मुकाम = सुपरस्टार।
राजनेता : शीर्ष नेतृत्व का जिसे आशीर्वाद प्राप्त होता है, वही सुपरस्टार कहलाता है।
जनता : जितना अधिक हो सके अंगों का प्रदर्शन करके जो पब्लिसिटी बटोरने में कामयाब होते हैं, वही सुपरस्टार होते हैं। अब वो दिन दूर नहीं, जब कोई लड़की टॉपलेस हो जाए। ईश्वर ने जब सौन्दर्य दिया है, तो छुपाना क्या? सुपरस्टार बनने का आज यही मापदण्ड है।
आपका क्या कहना है? फरमाइए,,,, कैमरा ऑन है।
(मेरा सप्तम लघुकथा संग्रह : ‘दहलीज’ से)
डॉ किशन टण्डन क्रान्ति
साहित्य वाचस्पति
साहित्य और लेखन के क्षेत्र में
लाइफ टाइम अचीवमेंट अवार्ड प्राप्त।