Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
16 Sep 2024 · 1 min read

सच्चे होकर भी हम हारे हैं

गहरी खाई वाले किनारे हैं
सच्चे होकर भी हम हारे हैं

ढिठाई से झूठ बोल जाते हैं
सबको एक सा तोल जातें हैं
जुबां ऐसी की क्या कहा जाए
सबके मन में ज़हर घोल जातें हैं

गर्दिश में लगते सितारे हैं
सच्चे होकर भी हम हारे हैं

कोशिश नाकाम हो गयी है
वो गली बदनाम हो गई है
एक – एक करके दुश्मन हुए
बदले की भावना आम हो गई है

खौलते दिख रहे फब्बारे है
सच्चे होकर भी हम हारे हैं

तु सबको पालने वाला है
सबमें जान डालने वाला है
समय को समय से बदलकर
मौत के मुंह से निकालने वाला है

दोनों हाथ फैलाये तेरे द्वारे है
सच्चे होकर भी हम हारे हैं।

नूर फातिमा खातून “नूरी”
जिला -कुशीनगर
उत्तर प्रदेश

Language: Hindi
40 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
अन्याय करने से ज्यादा बुरा है अन्याय सहना
अन्याय करने से ज्यादा बुरा है अन्याय सहना
Sonam Puneet Dubey
अपना अनुपम देश है, भारतवर्ष महान ( कुंडलिया )*
अपना अनुपम देश है, भारतवर्ष महान ( कुंडलिया )*
Ravi Prakash
बिगड़ता यहां परिवार देखिए........
बिगड़ता यहां परिवार देखिए........
SATPAL CHAUHAN
"मजमून"
Dr. Kishan tandon kranti
जीवन रूपी बाग में ,सत्कर्मों के बीज।
जीवन रूपी बाग में ,सत्कर्मों के बीज।
Anamika Tiwari 'annpurna '
A daughter's reply
A daughter's reply
Bidyadhar Mantry
"My friend was with me, my inseparable companion,
Chaahat
दोहा
दोहा
गुमनाम 'बाबा'
*मनः संवाद----*
*मनः संवाद----*
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
विचार
विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
मुराद अपनी कोई अगर नहीं हो पूरी
मुराद अपनी कोई अगर नहीं हो पूरी
gurudeenverma198
बारिश का मौसम
बारिश का मौसम
ओमप्रकाश भारती *ओम्*
🌹 *गुरु चरणों की धूल*🌹
🌹 *गुरु चरणों की धूल*🌹
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
बाण मां री महिमां
बाण मां री महिमां
जितेन्द्र गहलोत धुम्बड़िया
निष्काम,निर्भाव,निष्क्रिय मौन का जो सिरजन है,
निष्काम,निर्भाव,निष्क्रिय मौन का जो सिरजन है,
ओसमणी साहू 'ओश'
ज़िन्दगी
ज़िन्दगी
Santosh Shrivastava
सबसे प्यारा सबसे न्यारा मेरा हिंदुस्तान
सबसे प्यारा सबसे न्यारा मेरा हिंदुस्तान
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
घूंटती नारी काल पर भारी ?
घूंटती नारी काल पर भारी ?
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
दोहा पंचक. . .
दोहा पंचक. . .
sushil sarna
मैं बेबस सा एक
मैं बेबस सा एक "परिंदा"
पंकज परिंदा
एक ऐसा मीत हो
एक ऐसा मीत हो
लक्ष्मी सिंह
#विषय:- पुरूषोत्तम राम
#विषय:- पुरूषोत्तम राम
Pratibha Pandey
वैसे जीवन के अगले पल की कोई गारन्टी नही है
वैसे जीवन के अगले पल की कोई गारन्टी नही है
शेखर सिंह
भय -भाग-1
भय -भाग-1
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
■ आज का महाज्ञान 😊
■ आज का महाज्ञान 😊
*प्रणय*
संवेदना
संवेदना
नेताम आर सी
*कैसा है मेरा शहर*
*कैसा है मेरा शहर*
Dushyant Kumar
3863.💐 *पूर्णिका* 💐
3863.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
★भारतीय किसान ★
★भारतीय किसान ★
★ IPS KAMAL THAKUR ★
स्थितिप्रज्ञ चिंतन
स्थितिप्रज्ञ चिंतन
Shyam Sundar Subramanian
Loading...