शिल्पकार
वा पत्थर मा देई चलाये,
चाहे वहिमा जो हुई जाये।
नव नव रूपन मा गढ़ देई,
मन चाहे वा रूप बनाये,
वाहे शिल्पकार कहाये।
वहिके हाथें मा इतने शक्ति,
बहुते कलाकृतियां देई बनाये।
मनुष्यों का भी वा देई बनाए,
प्रभु हमारौ शिल्पकार कहाये।
वा पत्थर मा देई चलाये,
चाहे वहिमा जो हुई जाये।
नव नव रूपन मा गढ़ देई,
मन चाहे वा रूप बनाये,
वाहे शिल्पकार कहाये।
वहिके हाथें मा इतने शक्ति,
बहुते कलाकृतियां देई बनाये।
मनुष्यों का भी वा देई बनाए,
प्रभु हमारौ शिल्पकार कहाये।