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22 Dec 2024 · 1 min read

विश्व साड़ी दिवस

प्रत्येक वर्ष 21 दिसम्बर को विश्व साड़ी दिवस के रूप में मनाया जाता है। इसका उद्देश्य साड़ी की सुन्दरता, सांस्कृतिक महत्व और स्थाई विरासत को दुनिया भर में प्रचारित-प्रसारित करना है। यह दिवस सम्पूर्ण विश्व के लोगों को साड़ी का सम्मान करने के लिए एक मंच पर लाता है।

साड़ी एक ऐसा परिधान है, जो सदियों से भारतीय परम्परा का प्रतीक रहा है। साड़ी देहात से लेकर शहरों और महानगरों से लेकर विश्व की जानी-मानी हस्तियों और अभिनेत्रियों का पसन्दीदा परिधान रही है। हर एक के द्वारा पहनी जाने वाली साड़ियाँ एक नई कहानी कहती हैं। बावजूद साड़ी का प्रचलन कम होता जा रहा है, जो चिन्ता का विषय है।

वस्तुतः साड़ी पहनी हुई नारी का जो सौन्दर्य निखर कर आता है, वह काफी खूबसूरत होता है। साड़ी नारीत्व को पूर्णता प्रदान करती है। यह धारण करने वाले से लेकर देखने वाले तक को सुखद अहसास से सराबोर कर देती है। मेरे चन्द अल्फ़ाज़ :

ऐ नारी, पहन कर तो देखो
साड़ी सबसे न्यारी,
कोई भी नारी पहने इसको
लगती सबसे प्यारी।

डॉ. किशन टण्डन क्रान्ति
साहित्य वाचस्पति
भारत भूषण सम्मान प्राप्त
हरफनमौला साहित्य लेखक।

Language: Hindi
Tag: लेख
20 Views
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