वादा किया था हमने
वादा किया था हमने
मिले न मिले
फिर भी साथ निभाएँगे
राह अलग अलग ही सही
पर चलते जाएँगें
तुम कहीं थक कर रुक गए
तो हम भी रुक जाएँगें
नदी के दो किनारों की तरह
साथ साथ चलते जाएँगें
बात हो न हो चुप्पी ही समझ जाएँगें
तुम आँखों से पूछ लेना हर बात
हम आँखों आँखों में समझाएँगे
जब कभी होंगे तनहा, बेबस
एक दूजे के काम हम आएँगें
एक दूजे के रास्ते में न आयें
पर मुसीबत में दौड़े चले आएँगे
रखेंगे सब कुछ दिल में
अपने राज किसी को न बताएँगे
सब समेटेंगे ख़ुद में
बस दुनिया को नही दिखाएँगे
जब हो जाएँगे हर बंधन
हर ज़िम्मेदारी से मुक्त
तो एक बार फिर पास हम आएँगे
अपनी दुनिया सजाएँगे
पर तब तक रखना अपना ख़्याल तुम
हम मर कर भी जी जाएँगे